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1 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869 ALL INDIA PRELIMS TEST SERIES – 2019 (CSAT - 5) उर पुˑका उर:1)(d) ाा: माना ेक मूʞ के नोटो की सा x है तब, x + 5x + 10x = 480 16x = 480 x = 30 इसकिए, नोटो की कुि सा, 3x = 3 × 30 = 90 अतः, किकʙ (d) सही उर है उर:2)(b) ाा : एक घटे घटे की सुई 1 इकाई घूमेगी (अा ात 10 से 11) इसका अा है 12 360 का घूान = एक घटे 30 किी इसकिए, 5 घटे तय किी (अा ात सुबह 10 बजे से दोपहर 3 बजे तक) = 30 × 5 = 150 किी (3 से 4) के लिए ीकरण: माना फुटबािर, टेकनस ििाडी, बाˋेटबाि ििाडी, ििबाि ििाडी, किकेट ििाडी और हॉकी ििाडी को F, T, B, V, C और H से दकशात कया जाता है इस कार, पहिे कन से - फुटबाि ििाडी, टेकनस ििाडी के बायी ओर बैठा हआ है अतः हम पाते : इसके अकतर, ििबाि ििाडी बाˋेटबाि ििाडी के सामने बैठा हआ है यह दो तरीको से सभि है : इसके अकतर, हॉकी ििाडी, किकेटर और बाˋेटबाि ििाडी के बीच बैठा हआ है इस कार, हमारे पास दो सभि बैठक ʩिाए : उर:3)(d) ाा: फुटबॉि ििाडी के सामने बैठा ʩ या तो किकेट या हॉकी ििता है उर:4)(b) ाा: हॉकी और बॉिीबाि ििने ििििाकडयो के बीच बैठा ʩ किकेट ििता है उर:5)(c) ाा: सिा , हम कदए गए कनो को कनɻकिित चार ाऱपो से कसी एक पररिकतात करने की आिʴकता है - सभी, नही , कुछ या कुछ-नही तʮात् हम सबध ाɑ करने के किए िआरे ि बनाते कॉफी अपने आप एक भाषा है सभी कॉफी भाषा है भाषा सफिता का औजार है सभी भाषा सफिता है /सफिता का औजार है इससे कनɻ आरे ि बनाया जा सकता है आरे ि से 1. माɊ कनʺषा किाी भाषा के एक बडे घेरे कनकहत और भाषा सफिता का एक औजार है 2. अमाɊ कनʺषा 3. माɊ कनʺषा आरे ि से हमारे पास सभी किाी भाषाए कनʺषा कहˣे , सभी ऱपो को कुछ ऱपो पररिकतात
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उत्त ुस्तिका - Amazon Web Services · ी र्े। इकिए किकल्प (d) ी उत्त ै। किकल्प (a) ित ै। इ र

May 10, 2020

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1 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

ALL INDIA PRELIMS TEST SERIES – 2019

(CSAT - 5)

उत्तर पुस्तिका

उत्तर:1)(d)

व्याख्या: माना कक प्रते्यक मूल्य के नोटोों की सोंख्या x है।

तब, x + 5x + 10x = 480

16x = 480

x = 30

इसकिए, नोटोों की कुि सोंख्या, 3x = 3 × 30 = 90

अतः, किकल्प (d) सही उत्तर है।

उत्तर:2)(b)

व्याख्या : एक घोंटे में घोंटे की सुई 1 इकाई घूमेगी (अर्ाात 10

से 11)

इसका अर्ा है कक 12

360

का घूर्ान = एक घोंटे में 30 किग्री।

इसकिए, 5 घोंटे में तय किग्री (अर्ाात सुबह 10 बजे से दोपहर

3 बजे तक) = 30 × 5 = 150 किग्री।

प्रश्न (3 से 4) के लिए स्पष्टीकरण: माना कक फुटबािर,

टेकनस स्तििाडी, बासे्कटबाि स्तििाडी, िॉिीबाि स्तििाडी,

किकेट स्तििाडी और हॉकी स्तििाडी को F, T, B, V, C और

H से प्रदकशात ककया जाता है।

इस प्रकार, पहिे कर्न से- फुटबाि स्तििाडी, टेकनस

स्तििाडी के बायी ों ओर बैठा हुआ है। अतः हम पाते हैं:

इसके अकतररक्त, िॉिीबाि स्तििाडी बासे्कटबाि स्तििाडी के

सामने बैठा हुआ है। यह दो तरीकोों से सोंभि है:

इसके अकतररक्त, हॉकी स्तििाडी, किकेटर और बासे्कटबाि

स्तििाडी के बीच में बैठा हुआ है। इस प्रकार, हमारे पास दो

सोंभि बैठक व्यिस्र्ाएों हैं:

उत्तर:3)(d)

व्याख्या: फुटबॉि स्तििाडी के सामने बैठा व्यस्तक्त या तो

किकेट या हॉकी िेिता है।

उत्तर:4)(b)

व्याख्या: हॉकी और बॉिीबाि िेिने िािे स्तििाकडयोों के बीच

बैठा व्यस्तक्त किकेट िेिता है।

उत्तर:5)(c)

व्याख्या: सिा प्रर्म, हमें कदए गए कर्नोों को कनम्नकिस्तित चार

प्रारूपोों में से ककसी एक में पररिकतात करने की आिश्यकता

है- सभी, नही ों, कुछ या कुछ-नही ों। तत्पश्चात् हम सोंबोंध प्राप्त

करने के किए िेन आरेि बनाते हैं।

कॉफी अपने आप में एक भाषा है → सभी कॉफी भाषा है।

भाषा सफिता का औजार है → सभी भाषा सफिता

है/सफिता का औजार है।

इससे कनम्न आरेि बनाया जा सकता है।

आरेि से –

1. मान्य कनष्कषा। किद्यार्ी भाषा के एक बडे घेरे में कनकहत हैं

और भाषा सफिता का एक औजार है।

2. अमान्य कनष्कषा

3. मान्य कनष्कषा। आरेि से हमारे पास सभी किद्यार्ी भाषाएों हैं।

कनष्कषा कहसे्स में, सभी रूपोों को कुछ रूपोों में पररिकतात

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2 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

ककया जा सकता है। किद्यार्ी भाषा के बडे घेरे में कनकहत हैं।

इस प्रकार हम सुरकित रूप से कह सकते हैं कक कुछ

भाषाओों को किद्याकर्ायोों द्वारा जाना जाता है।

उत्तर:6)(b)

व्याख्या:

आरेि से -

1. अमान्य कनष्कषा। कनमााता और बाइकसा परस्पर अनन्य समूह

हैं।

2. मान्य कनष्कषा। कदए गए िाक्य के सभी रूपोों को कुछ रूपोों में

पररिकतात ककया जा सकता है या हम प्रत्यि रूप से देि

सकते हैं कक कनमााताओों का समूह, समृद्ध व्यस्तक्तयोों के समूह

का एक कहस्सा है।

3. मान्य कनष्कषा। अकभनेताओों और कनमााताओों के समूह के बीच

एक ओिरिैप है।

उत्तर:7)(d)

व्याख्या: सिाप्रर्म एक राष्ट्र द्वारा जीते गए कुि मेििोों में

ब्ाोंज मेिि का प्रकतशत ज्ञात करें :

कनािा के किए: 100

82

34

= 41.46%

नू्यजीिैंि के किए: 100

45

17

= 37.78%

नाइजीररया के किए: 100

36

14

= 38.89%

द. अफ्रीका के किए: 100

40

17

= 42.5%

अतः, द. अफ्रीका के किए जीते गए कुि मेििोों में ब्ाोंज मेिि

का प्रकतशत सिााकधक है।

नोट : यहाों हमें कनािा और नू्यजीिैंि के किए मान ज्ञात

करने की आिश्यकता नही ों है क्योोंकक हम केिि अििोकन

और तुिना कर यह ज्ञात कर सकते हैं िे कनकश्चत रूप से द.

अफ्रीका के मान से नीचे हैं।

नू्यजीिैंि 45

17

< द. अफ्रीका 40

17

, चूोंकक नू्यजीिैंि के मामिे

में हर का मान अकधक है।

कनािा 82

34

< द. अफ्रीका 40

17

, कजसे 80

34

के रूप में भी

कििा जा सकता है), चूोंकक कनािा के मामिे में हर का मान

अकधक है।

उत्तर:8)(c)

व्याख्या: ऑस्ट्र ेकिया द्वारा जीते गए ब्ाोंज मेििोों की सोंख्या =

46

अब, इोंग्लैंि ने कनकश्चत रूप से ऑस्ट्र ेकिया से अकधक मेिि

जीते हैं। अतः, हमें इसे ज्ञात करने की आिश्यकता नही ों है।

कनािा द्वारा जीते गए मेििोों की सोंख्या = 32 + 16 + 34 =

82

भारत द्वारा जीते गए मेििोों की सोंख्या = 15 + 30 + 19 =

64

नू्यजीिैंि द्वारा जीते गए मेििोों की सोंख्या = 14 + 14 + 17

= 45

द. अफ्रीका द्वारा जीते गए मेििोों की सोंख्या = 13 + 10 + 17

= 40

नाइजीररया द्वारा जीते गए मेििोों की सोंख्या = 11 + 11 + 14

= 36

अतः, ऑस्ट्र ेकिया द्वारा जीते गए ब्ाोंज मेििोों की सोंख्या

नू्यजीिैंि, द. अफ्रीका और नाइजीररया की पदक ताकिका से

अकधक है। इस प्रकार, किकल्प (c) सही है।

उत्तर:9)(a)

व्याख्या: माना कक आम के ि.मू. एिों कि. मू. को िमशः CP

एिों SP द्वारा दशााया जाता है।

8 आमोों का ि.मू. = 12 रु.

इसकिए, 1 आम ि.मू. = 8

12

= 2

3

रु.

सार् ही, 12 आम का कि. मू. = 8 रु.

इसकिए, 1 आम का कि. मू. = 12

8

= 3

2

रु.

इसकिए, हाकन का प्रकतशत =

=

100

2

33

2–

2

3

=

100

2

36

4–9

= 100

3

2

6

5

=

1009

5

= 55.5 %

उत्तर:10)(b)

व्याख्या: किकर्ा की िोंबाई = 4 कमनट में तय की गयी दूरी =

60

410006

= 400 मी.

इसकिए, िेत्र का िेत्रफि = 2

1

× (किकर्ा)2 =

4004002

1

= 80,000 मी.

उत्तर:11)(a)

व्याख्या: इस प्रकार, A और D िृद्ध भारतीय मकहिाएों हैं। इस

प्रकार, A और D दोनोों िोंबी हैं।

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3 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

A मकहिा िृद्ध भारतीय

B पुरुष युिा गैर-भारतीय

C मकहिा युिा भारतीय

D मकहिा िृद्ध भारतीय

E पुरुष युिा गैर-भारतीय

F पुरुष िृद्ध गैर-भारतीय

अतः, A और D िृद्ध भारतीय मकहिाएों हैं। इसकिए A और D

दोनोों िोंबी हैं।

उत्तर:12)(c)

व्याख्या: केिि Q ही P और T के बीच बैठा हुआ है।

इसकिए, P, Q और T की दो सोंभि व्यिस्र्ाएों हैं, अर्ाात,

PQT या TQP के रूप में। इसके अकतररक्त, चूोंकक R, T की

बायी ों ओर है और S, P के दायी ों ओर है, अतः दो सोंभि

व्यिस्र्ाएों हैं - RPQTS और RTQPS

ये दोनोों व्यिस्र्ाएों प्रश्न में दी गयी शतों को सोंतुष्ट् करती हैं।

इसके अिािा, S, इन दोनोों व्यिस्र्ाओों में सबसे दायी ों ओर

है। इस प्रकार, उत्तर S है।

उत्तर:13)(b)

व्याख्या: िषा 1979 एक साधारर् िषा है और इसकिए इसमें 1

किषम कदन है। इसकिए, 10 जनिरी 1980 का कदन 10

जनिरी, 1979 के कदन से एक कदन बाद का कदन है। चूोंकक 10

जनिरी, 1980 के कदन शकनिार र्ा, अतः 10 जनिरी 1979

को शुििार होना चाकहए।

अब, 7 कदन पीछे, अर्ाात 3 जनिरी 1979 को भी शुििार

होना चाकहए। इसकिए, 1 जनिरी 1979 को बुधिार होना

चाकहए।

उत्तर:14)(c)

व्याख्या: माना कक मूि कमश्रर् में दूध और पानी की मात्रा

िमशः 2x और x िीटर है।

अब, 0.9 िीटर का कमश्रर् कनकाि किया जाए।

0.9 िीटर के कमश्रर् में, दूध की मात्रा = 9.0

3

2

= 0.6

िीटर और पानी की मात्रा = 0.3 िीटर।

इस प्रकार, कों टेनर में शेष दूध = 2x – 0.6

और कों टेनर में शेष पानी = x – 0.3

अब 0.9 िीटर पानी कमिाया जाए।

इस प्रकार, नए कमश्रर् में पानी की मात्रा = x – 0.3 + 0.9 =

x + 0.6

यह कदया गया है कक नए कमश्रर् में दूध और पानी का अनुपात

3:2 है।

इस प्रकार, 2

3

6.0x

6.0–x2

या 4x – 1.2 = 3x + 1.8

या x = 3 िीटर

अब, कों टेनर का आयतन = 2x + x = 3x = 3 × 3 = 9

िीटर।

इस प्रकार किकल्प (c) सही है।

उत्तर:15)(c)

व्याख्या: गित औसत = (प्रारोंभ में उपयोग की गयी 30

सोंख्याओों का योगफि)/30 = 45 (i)

अब, 50 को गिती से 80 के रूप में पढ़ किया गया र्ा।

इस प्रकार, हमें समीकरर् (i) के अोंश में 80 को 50 में

बदिना चाकहए, अर्ाात अोंश के मान को 80 – 50 = 30 से

कम करते है।

सही औसत = (प्रारोंभ में उपयोग की गयी 30 सोंख्याओों का

योगफि – 30)/30 = (प्रारोंभ में उपयोग की गयी 30

सोंख्याओों का योगफि)/30 – 30/30 = 45 – 1 = 44

उत्तर:16)(b)

व्याख्या: दोनोों सुइयाों एक दूसरे के किपरीत 1 am और 2

am, 2 am और 3 am, 3 am और 4 am, 4 am और 5

am, और 5 am और 6 am पर होोंगी। इसकिए कुि 5 बार।

उत्तर:17)(d)

व्याख्या: पररचे्छद में स्पष्ट् रूप से यह उले्लि ककया गया है

कक सुभाष चन्द्र बोस ने अपने अध्यापक की कपटाई की र्ी

क्योोंकक उसने भारतीय छात्रोों के किरुद्ध नस्ली कटप्पर्ी की र्ी।

इसकिए हम यह मान सकते हैं कक िह नस्लीय भेदभाि का

किरोधी रे्। इसकिए किकल्प (d) सही उत्तर है।

किकल्प (a) गित है। इस पररचे्छद से यह नही ों माना जा

सकता कक िह महात्मा गााँधी के कसद्धान्ोों के किरुद्ध रे् या

नही ों। इसी प्रकार हम इस पररचे्छद से उनके प्रकतशोध में

किश्वास करने के सम्बन्ध में भी कुछ नही ों कह सकते। इसकिए

किकल्प (b) भी गित है। किकल्प (c) भी गित है क्योोंकक

पररचे्छद से यह स्पष्ट् नही ों है कक िह छात्र नेता रे् या नही ों।

उत्तर:18)(a)

व्याख्या: पररचे्छद में इस बात की चचाा की गयी है कक ककस

प्रकार अफ्रीकी देशोों की सीमाएों अफ्रीकी शासकोों तर्ा

अफ्रीकी िोगोों की सुकिग्य सहमकत के कबना तय कर दी गयी

र्ी ों। इसमें यह भी उले्लि है कक अफ्रीका के कचे्च माि का

दोहन औपकनिेकशक शस्तक्तयोों द्वारा ककया गया र्ा। इस प्रकार

किकल्प (a) सही उत्तर है।

पररचे्छद से यह कनष्ककषात नही ों ककया जा सकता कक

अकधकााँश स्र्ाकनक शासक कनरिर रे् या नही ों। इसके

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4 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

अकतररक्त, यकद हम कहें कक अकधकााँश शासक कनरिर रे् तो

उस कर्न से पररचे्छद का कनष्कषा प्राप्त नही ों होता। इस

प्रकार, किकल्प (b) सही नही ों है।

उसी प्रकार, किकल्प (c) भी गित है। पररचे्छद में शुल्क की

कोई चचाा नही ों की गयी है। किकल्प (d) भी सही नही ों है।

पररचे्छद में “बाजार” या पूोंजीिाद” की कोई चचाा नही ों की गयी

है।

उत्तर:19)(c)

व्याख्या: पररचे्छद के अनुसार, “अिग-अिग बातोों पर बि

कदए जाने के सार्, तर्ा ककर्त “उच्च कनष्पादन काया-

प्रर्ाकियाों...” के सहारे के रूप में समान आधारभूत कसद्धाोंत

ही पाए जाते हैं। यहााँ समान आधारभूत तत्व का सोंबोंध

“पारोंपररक नौकरशाही सोंरचना से स्वतोंत्र होने के किए ककए

गए किकिध प्रयत्ोों” से है, तर्ा “टीमोों” (प्रार्कमकतापूिाक

िॉस-फों क्शनि), पाश्वीय सोंिादोों, शे्रर्ीिम के (पूर्ा उनू्मिन

नही ों तो) नू्यनीकरर् तर्ा कनयमोों के कम से कम प्रयोग से है।

इसकिए, किकल्प (c) सत्य है।

किकल्प (a) असत्य है चूाँकक पररचे्छद के अनुसार “यद्यकप

नौकरशाही का सोंबोंध सरकार से जोडा जाता है, िह ककसी भी

बडे सोंगठन का अोंग हो सकती है”। किकल्प (b) असत्य है।

इस प्रकार के सामान्यीकरर् नही ों ककए जा सकते। इसके

अकतररक्त, पररचे्छद में कही ों भी नौकरशाही को

िािफीताशाही तर्ा भ्रष्ट्ाचार से ग्रि नही ों बताया गया है।

इसकिए, किकल्प (d) असत्य है।

उत्तर:20)(a)

व्याख्या: किकल्प (a) सही है। पररचे्छद के अनुसार िायु

शोधक योंत्रोों की प्रौद्योकगकी अन्य कारकोों जैसेकक एक

अत्यकधक हिादार घर पर भी कनभार करती है। इसका अर्ा है

की यह एक स्वयों में पृर्क प्रौद्योकगकी नही ों है।

किकल्प (b) असत्य है। पररचे्छद में इस अकभकर्न से इनकार

ककया गया है। इसके अनुसार, जि-शोधक योंत्रोों से एकदम

उिट, िोग स्वयों को अशुद्ध िायु से दूर नही ों कर सकते।

किकल्प (c) असत्य है। पररचे्छद में केिि यह कहा गया है कक

िायु-शोधक प्रौद्योकगकी के प्रभािी रूप से काया करने के किए

हिादार घर की आिश्यकता होती है। इसका यह अर्ा नही ों है

कक भारतीयोों के पास हिादार घर उपिब्ध हैं या नही ों।

किकल्प (d) भी असत्य है। पररचे्छद में, जि-शोधक योंत्र के

रूप में एक्वागािा का उदाहरर् प्रदान ककया गया है। ककनु्

इससे यह कनष्कषा नही ों कनकािा जा सकता कक एक्वागािा

सिााकधक प्रकसद्ध ब्ाोंि है।

उत्तर:21)(a)

व्याख्या: किकल्प (a) सत्य है। पररचे्छद का प्रर्म िाक्य

पयााप्त प्रमार् प्रिुत करता है। इसकिए, एक अन्कनाकहत

धारर्ा है कक इस सोंबोंध में प्रामाकर्क शोध ककए गए हैं कजनसे

ये प्रमार् प्राप्त हुए हैं।

किकल्प (b) असत्य है। पररचे्छद के अनुसार, प्रभािी नीकतगत

पहिोों या कायों की आिश्यकता है। यह स्पष्ट् नही ों है कक इस

प्रकार के नीकतगत कदम उठाए जा रहे हैं या नही ों। इस प्रकार

की कोई पूिा-धारर्ा भी नही ों कनधााररत की जा सकती।

किकल्प (c) असत्य है, चूोंकक पररचे्छद के अनुसार, राष्ट्र ीय आय

में िृस्तद्ध के सार् पयाािरर्ीय कनष्पादन में िृस्तद्ध आिश्यक नही ों

है। यहााँ यह पूिा-धारर्ा की गयी है कक अचे्छ पयाािरर्ीय

कनष्पादन के किए प्रयास ककए जाने की आिश्यकता होती है।

इस प्रकार, दोनोों सार्-सार् चि सकते हैं। कदए गए कर्न में

इसकी ठीक किपरीत पूिा-धारर्ा की गयी है। किकल्प (d) भी

असत्य है। पररचे्छद के अनुसार, सुधार अत्योंत महाँगा तर्ा

असोंभि भी हो जा सकता है। इसका अर्ा यह नही ों है कक

भारत ऐसी प्रौद्योकगककयोों का किकास नही ों कर सकता। भारत

द्वारा स्वयों के बि-बूते ऐसी प्रौद्योकगककयोों का किकास करने के

बािजूद उन्हें बडे िर पर प्रयोग में िाया जाना अत्योंत महाँगा

कसद्ध हो सकता है।

उत्तर:22)(b)

व्याख्या: किकल्प (a) असत्य है। पररचे्छद से इस सोंबोंध में

कनष्कषा प्राप्त ककया जा सकता है। ककनु् केिि

पाइर्ागोररयन प्रमेय ही केिि केन्द्रीय किषय नही ों है। यह

पररचे्छद में कदए गए दो दृष्ट्ान्ोों में से एक है।

किकल्प (b) सत्य है। स्वयों प्रर्म िाक्य में ही कहा गया है कक

ऐसे बहुत से िोजोों कजनका शे्रय यूरोपीय किद्वानोों को प्रदान

ककया जाता है, उनका हि भारत में पहिे ही िोज किया गया

र्ा। तत्पश्चात, पररचे्छद में इस तका के समर्ान में दो उदाहरर्

प्रिुत ककए गए हैं। इस प्रकार, यह केन्द्रीय भाि है।

किकल्प (c) असत्य है। पररचे्छद में र्ोडे से िोजोों की बात की

गयी है। इसमें, सामान्य रूप से, प्राचीन भारतीय किद्वानोों तर्ा

उनके यूरोपीय समकिोों के बीच कोई तुिना नही ों प्रिुत की

गयी है। किकल्प (d) भी असत्य है। यह पररचे्छद का केन्द्रीय

भाि नही ों है। इसके अकतररक्त, केिि दो उदाहरर्ोों के बि

पर यह नही ों कहा जा सकता कक भारत में कनयकमत रूप से

अकद्वतीय गकर्तीय प्रकतभाएों उत्पन्न होती रही हैं।

उत्तर:23)(c)

व्याख्या: किकल्प (a) भी असत्य है। पररचे्छद में अोंतरााष्ट्र ीय

समझौतोों के पारस्पररक आदान-प्रदान की नही ों बस्तल्क मानि

मूल्योों के पारस्पररक आदान-प्रदान की अनुशोंसा की गयी है।

अर्ाात, प्रते्यक मनुष्य को दुसरे मनुष्य के मानिाकधकार का

अिश्य सम्मान करना चाकहए। किकल्प (b) भी असत्य है।

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5 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

पररचे्छद में भारतीय सोंकिधान तर्ा किधान प्रकिया की चचाा

नही ों की गयी है।

किकल्प (c) सत्य है। पररचे्छद के अनुसार, किश्व के बहुत से

देशोों के द्वारा इन सािाभौकमक मूल्योों को मान्यता प्रदान ककया

जाना उनके कियान्वयन की कदशा में प्रर्म कदम है जो सबसे

उसका सम्मान करने का आह्वान करती है। प्रते्यक व्यस्तक्त के

पास उसका शोषर् न ककए जाने का अकधकार है। एक

युस्तक्तसोंगत अनुमान मानिाकधकारोों का उल्लोंघन न होने

(दुष्प्रयोग के किरुद्ध अकधकार) सोंबोंधी समझौते को यर्ार्ा

रूप देना है।

किकल्प (d) भी असत्य है। पररचे्छद में इस बात की अनुशोंसा

की गयी है कक मानि मूल्योों को सािाभौकमक पहचान कमिनी

चाकहए। इस प्रकार, िेिक इस बात से सहमत हो सकता है

कक मानि मूल्योों को सािाभौकमक रूप से नागररकोों के मूि

अकधकारोों के रूप में मान्यता प्रदान की जानी चाकहए। ककनु्

किकल्प (d) इसके ठीक किपरीत है।

उत्तर:24)(c)

व्याख्या: कर्न (1) गित है। ग्रीन-हाऊस में किषारु्ओों के

प्रिेश के तीन मुख्य मागा हैं: सोंिकमत पौध सामग्री, व्यस्तक्त

और सोंिाहक। स्वस्र् ग्रीन-हाऊस प्रबन्धन में पहिी दो

आशोंकाओों पर ध्यान देना चाकहए।

कर्न (2) सही है। ग्रीन-हाऊस में प्रिेश करने िािे प्रते्यक

व्यस्तक्त में अपने हार्ोों या िस्त्ोों के द्वारा सोंिमर् प्रिेश कराने

की िमता होती है।

कर्न (3) सही है। “..सोंिाहक किषारु् के सार् या कबना किषारु्

के प्रिेश कर सकते हैं, िेककन िे कफर भी समस्या उत्पन्न कर

सकते हैं।“

उत्तर:25)(c)

व्याख्या: (a) गित है। कुछ किषारु् बीजोों में होते हैं, अर्ाात

बीजोों के कुछ (प्रायः बहुत कम) प्रकतशत में जीिारु्ओों की

उपस्तस्र्कत होती है। और अोंकुरर् के कुछ समय पश्चात ही

पौधे सोंिकमत हो जाते हैं। बीज स्वयों किषारु् नही ों फैिाते हैं,

परनु् िे उसके स्रोत के रूप में काया करते हैं।

(b) गित है। ग्रीन-हाऊस के पास उगने िािी सस्तियाों या

घास भी सोंिाहकोों को आककषात कर सकती हैं और ग्रीन

हाउस में प्रिेश करने िािे बहुसोंख्य सोंिाहकोों का स्रोत हो

सकती हैं। ये सोंिाहक के स्रोत हैं, किषारु् के नही ों।

(c) सही है। गौर् रूप से, TMV जैसे किषारु्, स्वस्र् पौधोों को

स्पशा करने से पहिे सोंिकमत पौधोों को स्पशा करने से फैिते

हैं

(d) गित हैं। ग्रीन-हाऊस में प्रिेश करने िािे प्रते्यक व्यस्तक्त

में, अपने हार्ोों या िस्त्ोों के द्वारा सोंिमर् प्रिेश कराने की

िमता होती है। कमाचाररयोों को यह कनदेश होना चाकहए कक

काया आरम्भ करने से पहिे िे अपने हार्ोों को धोएों ।

अकतकर्योों द्वारा किषारु् फैिाने के बारे में कुछ भी नही ों कहा

गया है।

उत्तर:26)(b)

व्याख्या: (a) गित है। पररचे्छद सामान्य रूप से ग्रीन-हाऊस

प्रबन्धन की बात करता है। कफर भी पररचे्छद के पीछे, यह

इसकी मुख्य भािना नही ों है।

(b) सही है। पररचे्छद में किषारु् फैिते के किकभन्न माध्यमोों के

बारे में चचाा की गई है। सार् ही, इनको कैसे कनयोंकत्रत ककया

जा सकता है, उस पर एिों अन्य सम्बस्तन्धत कारकोों की चचाा

की गयी है।

(c) गित है। पररचे्छद में मशीनोों द्वारा और जैकिक रूप से

फैिने िािे किषारु्ओों के बीच में कोई भेद नही ों ककया गया है।

(d) गित है। पररचे्छद में केिि यही कदिाया गया है कक,

सोंिाहक किषारु् फैिाने के किए कैसे उत्तरदायी है। कदया गया

कर्न तथ्यात्मक रूप से गित है।

उत्तर:27)(b)

व्याख्या: (a) गित है। िेिक ने यूरोप के कायापिट में,

सोंचार माध्यमोों की भूकमका के बारे में अिश्य कहा है। परनु्

कनकश्चत रूप से यह इस पररचे्छद का केन्द्रीय किषयििु नही ों

है।

(b) सही है। यूरोप और अमेररका के कायापिट में, िेिक

सोंचार माध्यमोों की भूकमका के बारे में उदहारर् देकर यह

सुझाि दे रहा है कक भारतीय सोंचार माध्यमोों को भारत के

कायापिट में भी इसी प्रकार की भूकमका कनभानी चाकहए।

(c) गित है। इस चरर् में सोंचार माध्यमोों की बहुत ही

महत्वपूर्ा भूकमका कनभानी है, क्योोंकक िे किचारोों का प्रसार कर

रहे है, ककसी भौकतक ििु का नही ों यद्यकप पररचे्छद में ऐसा

कहा गया है परनु् यह पररचे्छद की मुख्य किषय-ििु नही ों है,

इसमें पररचे्छद की भािना को केिि आोंकशक रूप से ही

किया गया है।

(d) गित है। िेिक िोगोों को जानकारी देने के काया की

चचाा नही ों कर रहा है।

उत्तर:28)(d)

व्याख्या: (a) गित है। यद्यकप यह कहा गया है कक सोंचार

माध्यम किचार प्रदान करते हैं, सोंचार माध्यमोों को ‘चौर्ा

िम्भ’ कहने का कारर् नही ों है।

(b) गित है। यूरोप और अमेररका में स्र्ाकपत सामोंतिादी

साधनोों के किपरीत, जो यर्ास्तस्र्कत बनाये रिना चाहते रे्, यह

भकिष्य का प्रकतकनकधत्व करता र्ा। यह दशााता है कक सोंचार

माध्यम पररितान के कारक होते हैं।

(c) गित है। पररचे्छद में ऐसा नही ों कहा गया है।

(d) सही है। “सभी स्र्ाकपत साधन....को एक नई सोंज्ञा कमि

गयी, “चौर्ी सम्पदा”। इससे स्पष्ट् सोंकेत कमिता है कक िोगोों

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6 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

को एक नये हकर्यार के कनमाार् की आिश्यकता पडी, जो

उनका प्रकतकनकधत्व कर सकता र्ा। इसकिए कप्रोंट मीकिया को

एक नई सोंज्ञा कमि गयी- “चौर्ी सम्पदा”।

उत्तर:29)(a)

व्याख्या: (a) सही है। यूरोप का सोिहिी शताब्दी से उनीसिी ों

शताब्दी में अिस्र्ान्र में उले्लिनीय अशाोंकत, उत्पात,

िाोंकतयााँ, युद्ध, अराजकता, सामाकजक मोंर्न और बौस्तद्धक

उफान देिने को कमिा र्ा। इस पोंस्तक्त से यह सुझाि कमिता

है कक यूरोप इस प्रकार के चरर्ोों से कनकि कर ही एक

आधुकनक समाज के रूप में किककसत हुआ। इसकिए

भारतीयोों को भी यही मागा अपनाना चाकहए।

(b) गित है। यह िेिक का अनुमान है कक यह स्तस्र्कत अगिे

20 िषा तक चिती रहेगी।

(c) गित है। यह सही नही ों है क्योोंकक इस चरर् में, सोंचार

माध्यमोों की अन्य अपेकित भूकमकाओों में से यह एक भूकमका

र्ी।

(d) गित है। इस पररचे्छद में ऐसा कोई भी सुझाि नही ों है कक

भारत में आधुकनक समाज का उदय नही ों होगा।

उत्तर:30)(c)

व्याख्या: तीसरे अनुचे्छद में, यह स्पष्ट् है कक सेिा कनिृत

सैकनकोों का िौटना, आधुकनक हकर्यारोों का प्रयोग करने की

उनकी िमता तर्ा युद्ध के बाद की आकर्ाक समस्याओों के

कारर् अोंगे्रज घबराहट के सार् युद्ध समाप्त होने की प्रतीिा

कर रहे रे्। इसकिए, दोनोों किकल्प (a) और (b) सही हैं। अतः,

सही उत्तर है (c)

उत्तर:31)(b)

व्याख्या: कर्न 1 असत्य है। प्रर्म अनुचे्छद से स्पष्ट् है- “...

‘अगि िास्तन् के किए उत्तरदायी होने का आरोप िगाए जाने

के बाद जब गाोंधीजी इसके किरोध में जेि में ही उपिास पर

चिे गए तो ....”।

कर्न 2 सत्य है। प्रर्म अनुचे्छद से स्पष्ट् है। इस बात की

चचाा की गयी है कक जेि अकधकारी “उनके अपनी कहरासत में

मर जाने की सोंभािना पर कदाकचत भी भयभीत नही ों रे्।”

उत्तर:32)(d)

व्याख्या: यद्यकप पररचे्छद में इस बात की चचाा है कक अोंगे्रजोों

को एक और सोंकेत शब्द कमि गया-फूट िािो, और छोड

चिो, ककनु् इसमें कही ों भी ऐसी नीकत के समर्ान का कारर्

नही ों बताया गया है।

उत्तर:33)(d)

व्याख्या: कर्न 1 सही है जैसा कक प्रर्म अनुचे्छद से देिा

जाता है। यह पोषर् सुरिा के एक अियि के रूप में स्वच्छ

पेय जि तक पहुाँच को सस्तम्मकित करता है।

कर्न 2 भी सही है क्योोंकक आकर्ाक पहुाँच भी पोषर् सुरिा

का एक अियि है।

जैसा कक प्रर्म अनुचे्छद से देिा जाता है कर्न 3 सही है-

“इसकिए, हमारी पररस्तस्र्कतयोों में प्रकत ईकाई भूकम, जि और

श्रम में कृकष उत्पादकता को बढ़ाना गरीबी से पे्रररत

कचरकाकिक कुपोषर् को समाप्त करने का तीव्रतम तरीका

है।”

इसकिए, सही उत्तर (d) है।

उत्तर:34)(b)

व्याख्या: कर्न 1 और 3 सही नही ों हैं क्योोंकक पररचे्छद कही ों

भी उनका उले्लि नही ों करता।

कर्न 2 सही है जैसा कक प्रर्म अनुचे्छद से देिा जाता है-

“रोजगारोों / आजीकिका के अिसरोों की कमी घर/पररिार के

िर पर भूिमरी की ओर बढ़ाता है, इस प्रकार यह सुकनकश्चत

करने की आिश्यकता पर जोर देता है कक हमारी किकास

रर्नीकतयाों रोजगार रकहत नही ों िरन् रोजगार युक्त आकर्ाक

िृस्तद्ध की ओर बढ़ाएों ।”

इसकिए, सही उत्तर (b) है।

उत्तर:35)(b)

व्याख्या: कर्न 1 गित है क्योोंकक यह दायरे से बाहर है,

शुल्क कनधााररत हैं िेककन सिापन का कनष्कषा नही ों कनकािा

जा सकता है।

कर्न 2 सही है जैसा कक दूसरे अनुचे्छद में देिा गया है।

कर्न 3 सही नही ों है, क्योोंकक भिे ही कश्मीर में आतोंकिाद

के किए हिािा के जररए अकधकतर धन आता हो, िेककन इसे

प्रमुि कारर्ोों के रूप में नही ों माना जा सकता।

उत्तर:36)(d)

व्याख्या: पररचे्छद में आतोंकिादी हिािा प्रर्ािी का उपयोग

क्योों करते हैं, इसका कारर् स्पष्ट् रूप से उस्तल्लस्तित नही ों है।

इसके अकतररक्त, कर्न 1 हर हाि में गित है और दूसरा

कर्न पररचे्छद के दायरे से बाहर है। अतः, सही उत्तर (d) है।

उत्तर:37)(c)

व्याख्या: प्रर्म अनुचे्छद की अोंकतम 5 पोंस्तक्तयाों, यह बताती हैं

कक हिािादारोों द्वारा एक िेन-देन से किकभन्न तरीकोों से

आमदनी की जाती हैं एिों दाकयत्वोों के कनपटारे भी किकभन्न

रूपोों में हो सकते हैं।

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7 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

उत्तर:38)(a)

व्याख्या: प्रर्म अनुचे्छद के अोंकतम िाक्य के अनुसार कर्न 1

सत्य है।

कद्वतीय अनुचे्छद के कद्वतीय िाक्य के अनुसार कर्न 2 असत्य

है। चूोंकक इसके अनुसार बडे बफर तर्ा कित्तीय सहायता की

उपिब्धता के कारर् अकधकााँश तेि कनयाातक देश इससे बच

सकते हैं।

उत्तर:39)(b)

व्याख्या: b को छोड कर सभी पररचे्छद के अनुसार सत्य हैं।

चूाँकक कद्वतीय अनुचे्छद के कद्वतीय और तृतीय िाक्योों के

अनुसार बफर को बनाए रिने के किए कदशा-कनदेश कदए गए

हैं।

उत्तर:40)(b)

व्याख्या: किकल्प (a) असत्य है। पररचे्छद में यह नही ों कहा

गया है कक आतोंकिाद तर्ा िास्तन् दोनोों समान हैं। इसकिए,

आतोंकिाकदयोों की तुिना िाोंकतकाररयोों से नही ों की जा

सकती। पररचे्छद में किकभन्न दृकष्ट्कोर्ोों की बात नही ों की गयी

है।

किकल्प (b) सत्य है। िास्तन् आतोंकिाद के कबना पूर्ा नही ों

होती। इसकिए, प्रते्यक िास्तन् में आतोंकिाद के तत्व अिश्य

होते हैं।

किकल्प (c) असत्य है। िास्तन् में आतोंकिाद के तत्व होते हैं।

ककनु् इसका कििोम सत्य नही ों है। किकल्प (d) भी असत्य है।

िे एक-दूसरे के पूरक नही ों हैं। िास्तन् एक बडा समुच्चय होता

है जबकक आतोंकिाद इसका उपसमुच्चय है।

उत्तर:41)(d)

व्याख्या: किकल्प (a) असत्य है। पररचे्छद में इस बात की

चचाा अिश्य है कक सत्यकनष्ठा तर्ा नैकतक आचार के िर को

बनाये रिने में सिात्र चुनौकतयोों का सामना करना पडता है।

किकल्प (b) असत्य है। इस पररचे्छद में ‘स्तस्र्र’ भ्रष्ट्ाचार तर्ा

देश की अर्ाव्यिस्र्ा के बीच सम्बन्ध की व्याख्या नही ों की

गयी है। इसकिए, इस प्रकार की पूिा-धारर्ा मान्य नही ों होगी।

किकल्प (c) भी असत्य है। कबकल्प (b) की भाोंकत, ‘गोंभीर'

भ्रष्ट्ाचार तर्ा जनता के किश्वास के बीच सम्बन्ध की कोई चचाा

पररचे्छद में नही ों है। इसकिए, धनात्मक सह-सम्बन्ध की पूिा-

धारर्ा नही ों बनायी जा सकती।

किकल्प (d) सत्य है। भ्रष्ट्ाचार से कनपटने के किए प्रभािी

साधनोों को किककसत ककए जाने की आिश्यकता है। इसका

अर्ा है कक प्रभािी साधन अभी किककसत नही ों ककए गए हैं।

इसके अकतररक्त, अगिे िाक्य में कहा गया है कक भ्रष्ट्ाचार-

रोधी प्रयासोों को सोंस्र्ाओों तक सीकमत न रि, समि

गकतकिकधयोों को इसके दायरे में िाया जाना चाकहए।

उत्तर:42)(d)

व्याख्या: पररचे्छद में इस बात की चचाा है कक कानून िोगोों

द्वारा बनाए जाते हैं तर्ा कानून, राजनीकत की अपेिा नैकतक

रूप से शे्रष्ठ नही ों हो सकते। यहााँ, पररचे्छद में अोंतरााष्ट्र ीय

अपराध न्यायािय की आिोचना की जा रही है। इसकिए यह

तथ्य, इस बात की सही अकभपुकष्ट् हो सकती है कक अोंतरााष्ट्र ीय

अपराध न्यायािय के पास न्याकयक कनकाय बनने के किए

पयााप्त िोककप्रय अकधदेश नही ों है। इस प्रकार, किकल्प (d)

सही उत्तर है।

किकल्प (a) असत्य है क्योोंकक एक अोंतरााष्ट्र ीय किधाकयका

ककसी अोंतरााष्ट्र ीय न्यायाकधकरर् की पूिा-शता न हो, ऐसा भी हो

सकता है। किकल्प (b) असत्य है चूाँकक अोंतरााष्ट्र ीय मुद्ोों पर

कडी कनगरानी रिे जाने के बािजूद, अोंतरााष्ट्र ीय मुद्ोों में न्याय

का उल्लोंघन भी सस्तम्मकित होता है। किकल्प (c) भी असत्य है

क्योोंकक इस पररचे्छद में प्रितान तोंत्र की चचाा नही ों की गयी है।

उत्तर:43)(d)

व्याख्या: पररचे्छद में इस बात की चचाा है कक ककस प्रकार

आपराकधक कहोंसा द्वारा िोकताोंकत्रक चुनािोों में सामाकजक

ताने-बाने को कबगाडने की अकधकाोंशतः उपेिा की जाती है।

इस प्रकार, किकल्प (d) सही उत्तर है।

किकल्प (a) असत्य है चूाँकक पररचे्छद में िोकतोंत्र के सबसे

बडे ितरे की चचाा नही ों की गयी है। िेिक मैस्तिको के िर ग

िार की चचाा िोकतोंत्र के “िैकतज” ितरे के रूप में करता है।

किकल्प (b) असत्य है क्योोंकक आपराकधक गकतकिकधयोों तर्ा

कें द्रीय सरकारोों के बीच साोंठ-गााँठ की चचाा यहााँ नही ों की

गयी है। किकल्प (c) भी असत्य है क्योोंकक सोंगकठत कहोंसा तर्ा

सरकारी हर्कों िोों की तुिना यहााँ नही ों की गयी है।

उत्तर:44)(c)

व्याख्या: इस पोंस्तक्त “क्योटो में िाताा का किषय यह नही ों रहा

कक...", से कर्न 1 को कनष्ककषात ककया जा सकता है कजससे

यह सोंकेत कमिता है कक िायुमोंिि पर ककसका अकधकार है,

इस बात का कनधाारर् इसके प्रबोंधन का एक अोंग है। तृतीय

पोंस्तक्त में सोंसाधन के प्रबोंधन के अोंग के रूप में “इसके किनाश

के किए कौन से पि उत्तरदायी हैं” इसकी चचाा की गयी है।

पररचे्छद में यह कहा गया है कक िैकश्वक सोंसाधनोों को प्रबोंकधत

करने के किए तकनीकी समाधान उतने महत्वपूर्ा नही ों है,

तर्ा सोंपदा के अकधकारोों की समझ तकनीकी समाधान प्रिुत

ककए जाने से कही ों अकधक महत्वपूर्ा है। इसकिए, कर्न 2 को

भी पररचे्छद से कनष्कषा रूप में प्राप्त ककया जा सकता है।

इस प्रकार, किकल्प (c) सही उत्तर है।

उत्तर:45)(d)

व्याख्या: यद्यकप पररचे्छद में इस बात की चचाा अिश्य है कक

कुछ ही िोग िायुमोंिि को मुफ्त का माि समझते है, यह

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8 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

मानना असत्य होगा कक प्रते्यक व्यस्तक्त को इसे मुफ्त के माि

की तरह उपयोग में िाना चाकहए। इसके अकतररक्त, पररचे्छद

में इस िाक्याोंश में व्योंग कछपा है। इसकिए, (a) असत्य है।

उसी प्रकार, यद्यकप पररचे्छद में यह कदया गया है कक िैकश्वक

प्राकृकतक सोंसाधनोों पर सबका अकधकार होता है (तर्ा सभी

िोग इसके कहतधारक हैं), ककनु् इससे यह सोंकेत नही ों

कमिता कक सभी िोगोों को इसके प्रबोंधन में भाग िेना चाकहए।

इसकिए, किकल्प (b) भी असत्य है। अोंततः, िैकश्वक

पयाािरर्ीय समस्याएाँ िैज्ञाकनकोों द्वारा उत्पन्न नही ों की गयी हैं,

इसकिए, किकल्प (c) भी असत्य है।

इसकिए, किकल्प (d) सही उत्तर है।

उत्तर:46)(d)

व्याख्या: पररचे्छद में इस बात की चचाा है कक ककस प्रकार

एफ.िी.आर. अपनी हत्या के प्रयास के दौरान भी शाोंत और

सोंयत बने रहे। अोंकतम पोंस्तक्त में इस बात की चचाा है कक यकद

िह अपने व्यस्तक्तगत सदमे के दौरान शाोंत बने रह सकते रे्

तो महामोंदी जैसी राष्ट्र ीय समस्या के दौरान भी शाोंत रह कर

उसका समाधान तिाश सकते रे्। यह इस पररचे्छद का

सिााकधक महत्वपूर्ा सने्दश है। इस प्रकार, किकल्प (d) सत्य

है।

किकल्प (a) असत्य है। एफ.िी.आर. ने अपने कमत्र की परिाह

की। तर्ाकप, पररचे्छद में कमत्रता के महत्व पर चचाा नही ों की

गयी है। इस प्रकार यह पररचे्छद में िकर्ात सिााकधक

महत्वपूर्ा सने्दश नही ों है। किकल्प (b) असत्य है। चूोंकक ईश्वर

की चचाा पररचे्छद में नही ों की गयी है। किकल्प (c) भी असत्य

है। इस पररचे्छद में गुर्ोों की तुिना भी नही ों की गयी है।

इसकिए, कनभीकता सिााकधक महत्वपूर्ा गुर् है या कद्वतीय

सिााकधक महत्वपूर्ा गुर् है यह कनष्कषा इस पररचे्छद से प्राप्त

नही ों ककया जा सकता।

उत्तर:47)(c)

व्याख्या: पररचे्छद कभिािृकत्त के दुगुार्ोों के सोंबोंध में गाोंधी जी

के दृकष्ट्कोर् का उले्लि करता है कजसे यहाों पर कनशुल्क

भोजन का उदाहरर् देकर समकर्ात ककया गया है। इस प्रकार,

हम कनष्कषा कनकाि सकते हैं कक गाोंधीजी अयोग्य व्यस्तक्तयोों

को दान देने की प्रर्ा के किरुद्ध हैं। इसकिए किकल्प (c) सही

है।

िे दान के किरुद्ध नही ों हैं। िे कभिािृकत्त अर्ाात् अयोग्य

व्यस्तक्तयोों को दान देने के किरुद्ध हैं। इसकिए किकल्प (a)

गित है। किकल्प (b) भी गित है। पररचे्छद में देश की

आकर्ाक कगरािट की चचाा नही ों की गई है। किकल्प (d) भी

गित है। िेिक पयाािरर् की स्वच्छता के सोंबोंध में कचोंकतत

नही ों है। िह केिि यह सुझाि दे रहा है कक स्वच्छ िातािरर्

में काया करने के बदिे भोजन कदया जाना चाकहए।

उत्तर:48)(d)

व्याख्या: पररचे्छद चचाा करता है कक प्राचीन काि में भी

प्राचीन भारत में गर्राज्यीय सरकारोों का अस्तित्व र्ा। सार्

ही जनसभा एक सुस्र्ाकपत सोंस्र्ा र्ी; इसकिए उस समय भी

िोकतोंत्र किद्यमान र्ा। यह किकल्प (d) में कदया गया है, जो

सही उत्तर है।

किकल्प (a) गित है क्योोंकक पररचे्छद में यह उले्लि ककया

गया है कक चोंद्रगुप्त मौया ने अपना साम्राज्य स्र्ाकपत ककया

ककों तु यह उले्लि नही ों ककया गया है कक उसने गर्राज्योों का

आरोंभ ककया। सामान्य जनता द्वारा गर्राज्य की परोंपरा की

प्रशोंसा ककए जाने के सोंबोंध में कोई उले्लि नही ों ककया गया

है। इसकिए किकल्प (b) भी गित है। पररचे्छद उले्लि करता

है "जब भारत एक सम्राट के शासन के अोंतगात राजनीकतक

रुप से एकीकृत र्ा", इसका अर्ा है कक भारत राजनीकतक रुप

से एकीकृत र्ा। भारत को राजनीकतक रुप से एकीकृत करने

की ककठनाई के सोंबोंध में कुछ भी नही ों कहा गया है। इसकिए

किकल्प (c) भी गित है।

उत्तर:49)(a)

व्याख्या: माना कक कििेता के सेब और आमोों की सोंख्या

िमशः 2x और 3x है।

इसकिए, फिोों की कुि सोंख्या, अर्ाात सेब और आमोों की

कुि सोंख्या = 2x + 3X = 5x

यह ज्ञात है कक उसने सारे फि 24 रु. प्रकत नग के कहसाब से

बेचे।

इसकिए, कििय मूल्य = (24 × 5x) रु. = 120x रु. (i)

माना कक प्रते्यक आम का िय मूल्य = y रु.

3x आमोों का िय मूल्य = (3x × y) रु.

प्रते्यक सेब का िय मूल्य = 20 रु.

2x सेब का िय मूल्य = (20 × 2x) रु. = 40x रु.

इस प्रकार, सभी फिोों का ियमूल्य = (40x + 3xy) रु.

यह ज्ञात है कक उसने सभी फिोों को 20% के िाभ पर बेचा।

कििय मूल्य = x िय-मूल्य या

कििय मूल्य = xy3x40

100

120

(ii)

समीकरर् (i) और (i) को बराबर करने पर हम पाते हैं, x120xy3x40

100

120

या 1.2[40 + 3y]x = 120x

या 1.2[40 + 3y] = 120

या 40 + 3y = 100

या 3y = 60

या y = 20 रुपया

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9 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

इसकिए, प्रते्यक आम का ियमूल्य 20 रु. है।

इसकिए, किकल्प (a) सही उत्तर है।

उत्तर:50)(a)

व्याख्या: चूोंकक 4 पुरुष काम को 6 कदनोों में पूरा कर सकते हैं,

अतः एक आदमी उसी काम को 24 कदनोों में पूरा कर सकता

है।

तब, 1 पुरुष द्वारा 1 कदन में ककए गए काया की मात्रा = 24

1

इकाई

इसी प्रकार, 4 मकहिाएों उसी काम को 12 कदनोों में कर सकती

हैं। इसकिए, एक मकहिा उसी काम को 48 कदनोों में पूरा कर

सकती है।

1 मकहिा द्वारा 1 कदन में ककए गए काया की मात्रा = 48

1

इकाई

इसकिए, 1 पुरुष और 1 मकहिा द्वारा एक सार् 1 कदन में ककए

गए काया की मात्रा = 16

1

48

3

48

12

48

1

24

1

इकाई

इस प्रकार, 1 पुरुष और 1 मकहिा एक सार् काम को 16 कदनोों

में पूरा कर सकते हैं।

इसकिए, किकल्प (a) सही उत्तर है।

उत्तर:51)(a)

व्याख्या: माना कक प्रते्यक सेब, केिा और आम का दाम (रु.

में) िमशः 'a', 'b' और 'c' है।

यह ज्ञात है कक 5 सेब, 6 केिोों और 8 आमोों का दाम 50 रु.

है।

तदानुसार, हम पाते हैं : 5a + 6b + 8c = 50 रु. (i)

इसके अिािा, यह ज्ञात है कक 10 सेब, 9 केिोों और 7 आमोों

का दाम 100 रु. है।

इसकिए, हम पाते हैं : 10a + 9b + 7c = 100 रु. (ii)

समीकरर् (i) और (ii) को जोडने पर हम पाते हैं,

15a + 15b + 15c = 150 रु.

या a + b + c = 10 रु.

चूोंकक हमें 2 सेबोों, 2 केिोों और 2 आमोों की कीमत (रुपये में)

ज्ञात करनी है:

इसकिए, 2 (a + b + c) = 2 x 10 = 20 रु.

इसकिए, किकल्प (a) सही उत्तर है।

प्रश्न (52 से 53) के लिए स्पष्टीकरण: आइये कदए गए कर्न

का एक-एक करके किशे्लषर् करते हैं और तदनुसार

ताकिका बनाते हैं।

कथन 1: िह व्यस्तक्त कजसे 1902 में अध्यि चुना गया र्ा,

उसने अहमदाबाद में सत्र की अध्यिता की र्ी।

व्यस्तक्त िषा शहर

1902 अहमदाबाद

कथन 2: मोहन को 1905 में अध्यि नही ों चुना गया र्ा और

उसने मद्रास में हुए सत्र की अध्यिता की र्ी।

व्यस्तक्त िषा शहर

1902 अहमदाबाद

मोहन 1905 मद्रास

कथन 3: एदुल्जी और सुरेंद्र को िमशः िषा 1901 और 1902

में अध्यि चुना गया र्ा।

व्यस्तक्त िषा शहर

एदुल्जी 1901

सुरेन्द्र 1902 अहमदाबाद

मोहन 1905 मद्रास

कथन 4: बॉमे्ब का सत्र किकत्ता में हुए सत्र से तीन िषा पूिा

आयोकजत हुआ र्ा। उपयुाक्त ताकिका से यह देिा जा सकता

है। कक बॉमे्ब का सत्र िषा 1901 में हुआ र्ा और उसके बाद

किकत्ता का सत्र िषा 1904 में हुआ र्ा।

व्यक्ति वर्ष शहर

एदुल्जी 1901 बॉमे्ब

सुरेन्द्र 1902 अहमदाबाद

मोहन 1905 मद्रास

1904 किकत्ता

उपयुाक्त ताकिका से यह स्पष्ट् है कक मद्रास में सत्र का

आयोजन िषा 1903 में हुआ र्ा क्योोंकक यह िषा 1905 में

आयोकजत नही ों हो सकता।

व्यस्तक्त िषा शहर

एदुल्जी 1901 बॉमे्ब

सुरेन्द्र 1902 अहमदाबाद

मोहन 1903 मद्रास

1904 किकत्ता

1905

कथन 5: गोपाि ने बनारस में हुए सत्र की अध्यिता की र्ी।

इसकिए हम प्राप्त करते हैं:

व्यस्तक्त िषा शहर

एदुल्जी 1901 बॉमे्ब

सुरेन्द्र 1902 अहमदाबाद

मोहन 1903 मद्रास

चोंदा 1904 किकत्ता

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10 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

गोपाि 1905 बनारस

उत्तर:52)(c)

व्याख्या: स्पष्ट् रूप से, एदुल्जी िषा 1901 में चुने गए रे् और

उन्होोंने बॉमे्ब सत्र की अध्यिता की।

उत्तर:53)(a)

व्याख्या: स्पष्ट् रूप से, मोहन को िषा 1903 में चुना गया र्ा।

उत्तर:54)(a)

व्याख्या: पहिी ििु का िय-मूल्य = 2,500 रु.

चूोंकक हम जानते हैं कक उसने पहिी ििु को 20% के िाभ

पर बेचा।

कििय मूल्य = × िय-मूल्य

इसकिए, पहिी ििु का कििय-मूल्य = 2500

100

20100

= 2500

100

120

= 3,000 रु.

दोनोों ििुओों का कुि िय-मूल्य = (2500 रु. + 2000 रु.)

= 4,500 रु.

समग्र सौदे का कुि िाभ = 16%

कुि कििय-मूल्य = 4500

100

116

= 5,220 रु.

दूसरी ििु का कििय-मूल्य = कुि कििय-मूल्य - पहिी

ििु का कििय-मूल्य = 5220 रु. - 3000 रु. = 2,220 रु.

इस प्रकार, उसे दूसरी ििु को 2,220 रु. में बेचना चाकहए।

इसकिए, किकल्प (a) सही उत्तर है।

उत्तर:55)(d)

व्याख्या: पहिी टर ेन की चाि = 80 ककमी./घों,

दूसरी टर ेन की चाि = 120 ककमी./घों,

चूोंकक दोनोों टर ेनें एक ही कदशा में चिती हैं, अतः उनकी सापेि

गकत दोनोों गकत के अोंतर के बराबर है।

सापेि गकत = (120 - 80) = 40 ककमी./घों,

चूोंकक पहिी टर ेन दूसरी टर ेन से आधा घोंटा पहिे छूटती है, अतः

आधे घोंटे में, िह 40 ककमी. का सफर तय करेगी क्योोंकक

उसकी चाि 80 ककमी. प्रकत घोंटा है।

दूसरी टर ेन द्वारा 40 ककमी. का िाोंकछत सफर तय करने में

िगा समय = 40

40

= 1 घोंटा

1 घोंटे में दूसरी टर ेन द्वारा तय की गयी िािकिक दूरी = 1 ×

120 = 120 ककमी.

इस प्रकार, िे एक-दूसरे से कदल्ली से 120 कक.मी. की दूरी पर

कमिेंगी।

इसकिए, किकल्प (d) सही उत्तर है।

उत्तर:56)(d)

व्याख्या: (1, 2, 3, 4, 5 और 6) के रूप में कचस्तन्हत 6 बोतिोों

को पानी या दूध से भरने के कुि तरीके = 26 = 64 तरीके

दूध िािे 2 कनकटिती बोति 5 प्रकार से प्राप्त ककये जा

सकते हैं यानी (1, 2), (2, 3), (3, 4), (4, 5) और (5, 6)

दूध िािे 3 कनकटिती बोति 4 प्रकार से प्राप्त ककये जा

सकते हैं यानी (1, 2, 3), (2, 3, 4), (3, 4, 5) और (4, 5, 6)

दूध िािे 4 कनकटिती बोति 3 प्रकार से प्राप्त ककये जा

सकते हैं यानी (1, 2, 3, 4), (2, 3, 4, 5) और (3, 4, 5, 6)

दूध िािे 5 कनकटिती बोति 2 प्रकार से प्राप्त ककये जा

सकते हैं यानी (1, 2, 3, 4, 5) और (2, 3, 4, 5, 6)

दूध िािे 6 कनकटिती बोति केिि 1 प्रकार से प्राप्त ककये जा

सकते हैं यानी (1, 2, 3, 4, 5, 6)

इसकिए बोतिोों को भरने के कुि तरीके ताकक दो कनकटिती

बोतिोों में दूध ही भरा जाए = (5 + 4 + 3 + 2 + 1) = 15

इसकिए, बोतिोों को भरने के कुि तरीके ताकक दो कनकटिती

बोतिोों में दूध न भरा जा सके = 64 - 15 = 49

इस प्रकार, किकल्प (d) सही उत्तर है।

उत्तर:57)(c)

व्याख्या: गकर्त में रुकच रिने िािे छात्रोों की सोंख्या यानी n

(M) = 15

अोंगे्रजी में रुकच रिने िािे छात्रोों की सोंख्या यानी n (E) = 21

तका शस्तक्त में रुकच रिने िािे छात्रोों की सोंख्या यानी n (R) =

27

अोंगे्रजी और गकर्त में रुकच रिने िािे छात्रोों की सोंख्या यानी

n(M E) = 8

तका शस्तक्त और गकर्त में रुकच रिने िािे छात्रोों की सोंख्या

यानी n(M R) = 12

तका शस्तक्त और अोंगे्रजी में रुकच रिने िािे छात्रोों की सोंख्या

यानी n (R E) = 17

सभी तीनोों किषयोों में में रुकच रिने िािे छात्रोों की सोंख्या यानी

n (P M C) = 5

इससे, हम शेष स्र्ानोों का अोंदाजा िगा सकते हैं:

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11 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

इसकिए, िे छात्र कजनकी तका शस्तक्त या गकर्त या कफर अोंगे्रजी

में कदिचस्पी है- 0 + 3 + 5 + 7 + 1 + 12 + 3 = 31 हैं।

इस प्रकार, किकल्प (c) सही उत्तर है।

उत्तर:58)(c)

व्याख्या: कुछ किद्यार्ी 12:15 pm बजे एक िेक्चर अटेंि

करने इोंस्ट्ीटू्यट आए।

चूोंकक किद्यार्ी कशिकोों से 25 कमनट पहिे आए, अतः कशिक

12:40 pm बजे आए होोंगे।

अब, कशिक किा में 30 कमनट की देरी से आए।

किा का सही समय = 12:40 - 30 = 12:10 pm बजे है।

अतः, किकल्प (c) सही उत्तर है।

प्रश्न (59 से 60) के लिए स्पष्टीकरण: आइए एक-एक करके

कदए गए कर्नोों का किशे्लषर् करते हैं और तद्रानुसार

पाररिार टर ी बनाते हैं। ररश्ोों को प्रिुत करने िािे प्रतीक

नीचे कदए गए हैं।

कथन 1: अकनि नेहा का बेटा है, जो मीनि की माों है।

कथन 2: शे्रया मीनि की बेटी है।

कथन 3: अमर, जो सुमन का कपता है की शादी टीना से हुई,

जो अकनि की बहन है।

कथन 4: सुमन रेिा का भाई है।

उत्तर:59)(c)

व्याख्या: यह स्पष्ट् है कक सुमन मीनि की बेटी का ककजन है।

उत्तर:60)(b)

व्याख्या: यह स्पष्ट् है कक अमर, अकनि का बहनोई है।

उत्तर:61)(b)

व्याख्या: पाोंच साि पहिे, किा में चार किद्याकर्ायोों की औसत

आयु = 45 िषा

इसकिए, किा में चार किद्याकर्ायोों की ितामान औसत आयु =

45 + 5 = 50 िषा

चारोों किद्याकर्ायोों की ितामान आयु का योगफि = 50 x 4 =

200 िषा

अब, किा में एक नया किद्यार्ी शाकमि होता है और औसत

आयु में 5 िषा की िृस्तद्ध होती है।

पााँचोों किद्याकर्ायोों की नई औसत आयु = 55 िषा

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12 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

अब, प्रश्नानुसार

पााँचोों किद्याकर्ायोों की औसत आयु =

कदए गए मानोों को रिने पर हमें कमिता है: 55 =

नए किद्यार्ी की आयु = 55 x 5 – 200 = 75 िषा

इसकिए, किकल्प (b) सही उत्तर है।

उत्तर:62)(d)

व्याख्या: माना कक अकमत, मुकुों द और ध्यानी एक घोंटे में

िमशः x, y और z पेज टाइप कर सकती हैं। इसकिए िे एक

सार् चार घोंटोों में 4(x + y + z) पेज टाइप कर सकते हैं।

यह कदया गया है कक िे एक सार् चार घोंटे में 192 पेज टाइप

कर सकते हैं।

प्रश्नानुसार हम पाते हैं, 4 (x + y + z) = 192 या

x + y + z = 48 (i)

इसके अकतररक्त यह भी ज्ञात है कक ध्यानी, मुकुों द से उतने ही

पेज ज्यादा टाइप करता है कजतने मुकुों द अकमत से।

इसकिए, z – y = y – x या

2y = x + z (ii)

समीकरर् (i) और (ii) से हम पाते हैं

3y = 48 या

y = 16

समीकरर् (ii) से,

x + z = 32 (iii)

इसके अकतररक्त, यह ज्ञात है कक तीन घोंटे की अिकध में,

ध्यानी उतने ही पेज टाइप कर सकती है कजतने कक अकमत

पाोंच घोंटे की अिकध में।

इसकिए, 5x = 3z (iv)

समीकरर् (iii) और (iv) से, हम पाते हैं: 32zz

5

3

या z = 20

समीकरर् (i) में y और z का मान रिने पर, हम पाते हैं x =

12

x = 12, y = 16, z = 20

इस प्रकार, अकमत, मुकुों द और ध्यानी प्रकत घोंटे िमशः 12, 16

और 20 पेज टाइप कर सकते हैं।

उत्तर:63)(c)

व्याख्या: मान िीकजए कक गाडी का कपछिा पकहया x चक्कर

घूमता है।

तब, गाडी का अगिा पकहया (20 + x) चक्कर घूमता है।

गाडी के अगिे पकहए की पररकध = 2 फुट

(20 + x) चक्कर में अगिे पकहए द्वारा तय की गयी दूरी = 2

(20 + x) फुट (i)

गाडी के कपछिे पकहए की पररकध = 3 फुट

x चक्कर में कपछिे पकहए द्वारा तय की गयी दूरी = 3 x फुट

(ii)

चूोंकक अगिे और कपछिे पकहए द्वारा तय की गयी दूरी बराबर

है, अतः समीकरर् (i) और (ii) को बराबर करने पर, हम पाते

हैं:

3x = 2 (20 + x) या

3x = 40 + 2x या

x = 40 या

x = 40

गाडी द्वारा तय की गयी दूरी = 3x = 3 x x 40 =

120 फुट।

अतः, किकल्प (c) सही उत्तर है।

उत्तर:64)(b)

व्याख्या: कों पनी द्वारा भुगतान ककए जाने िािे ब्याज में िषा

2002 में भी उसी गकत से िृस्तद्ध होती है।

ब्याज में प्रकतिषा 2 िाि रु. की िृस्तद्ध होती है।

इसकिए, िषा 2002 में कों पनी द्वारा भुगतान ककया जाने िािा

ब्याज = 29 + 2 = 31 िाि रु.

1998 - 2002 अिकध के किए भुगतान ककया जाने िािा ब्याज

= 23 + 25 + 27 + 29 + 31 = 135 िाि रु.

औसत = 5

135

= 27 िाि रु.

िैकस्तल्पक रूप से, प्रकतिषा भुगतान ककया जाने िािा ब्याज

समानान्र 2 के सार् एक समाोंतर शे्रर्ी (23, 25, 27, 29,

31) बनाता है।

समाोंतर शे्रर्ी का औसत उसके मध्य पद के बराबर होगा =

27 िाि रु.

िषा 2000 में 27 िाि रु. का ब्याज अदा ककया गया।

इसकिए, किकल्प (b) सही उत्तर है।

उत्तर:65)(a)

व्याख्या: िषा 1999 में कुि व्यय = 347 + 120 + 25 + 108

= 600 िाि रु.

ईोंधन में व्यय = 120 िाि रु.

कुि व्यय के प्रकतशत के रूप में ईोंधन में व्यय = (ईधन में

व्यय / कुि व्यय) × 100 = 100

600

120

= 20%

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13 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

इसकिए, किकल्प (a) सही उत्तर है।

उत्तर:66)(a)

व्याख्या: कर्न 3 का अर्ा है कक तािाब या तो समुद्र कजतना

गहरा है या कफर उससे कम गहरा है। कर्न 1 से पता चिता

है कक नदी, तािाब से गहरी है। इसकिए, समुद्र और नदी

दोनोों तािाब से गहरे हो सकते हैं िेककन उनके बीच का

सोंबोंध का पता नही ों िगाया जा सकता। चूाँकी समुद्र की

गहराई का िम झीि और नदी के सापेि कनधााररत नही ों

ककया जा सकता है। इसकिए किकल्प (d) का कनष्कषा नही ों

कनकािा जा सकता। झीि, नदी से गहरी है और इसकिए

समुद्र दोनोों कजतना गहरा नही ों हो सकता। इसकिए, किकल्प

(b) का कनष्कषा भी नही ों कनकािा जा सकता। चूोंकक, तािाब या

तो समुद्र कजतना गहरा है या कफर उससे कम गहरा है,

इसकिए यह कनष्कषा नही ों कनकािा जा सकता कक दोनोों में कम

गहरा कौन है। इसकिए, किकल्प (c) का कनष्कषा भी नही ों

कनकािा जा सकता। चूोंकक, झीि नदी से गहरी है और नदी

तािाब से गहरी है, अतः झीि तािाब से भी गहरी है।

इसकिए, किकल्प (a) सही है।

उत्तर:67)(a)

व्याख्या: माना कक अमर और नॉमान की उम्र िमशः 4x और

3x िषा है।

6 िषा बाद अमर की उम्र = 4x + 6 = 26 िषा या

x = 5 िषा

नॉमान की ितामान उम्र = 3x = 3 × 5 = 15 िषा

अतः, किकल्प (a) सही उत्तर है।

उत्तर:68)(a)

व्याख्या: आइए, हम कदए गए कर्नोों का एक-एक कर

किशे्लषर् करते हैं।

स्कोर के रूप में हमारे पास है : V > P, P > Q i.e. V > P >

Q.

यकद R सिााकधक स्कोर करे तो हम पाते हैं R >...... >T,

यकद S सिााकधक स्कोर करे तो हम पाते हैं S > ..... > Q या S

>..... > U.

यकद V की रैंक पाोंचिी ों है, P और Q इसके बाद आते हैं तो िे

िमशः छठा और सातिाों स्र्ान ग्रहर् करें गे यानी Q की रैंक

सबसे नीचे होगी। इसकिए S सिााकधक स्कोर करेगा।

उत्तर:69)(b)

व्याख्या: नीचे कदया गया आरेि सकचन पाहूजा द्वारा अपनाए

गए मागा को प्रदकशात करता है।

माना कक A आरोंभ कबन्दु है।

चरर् 1 : कबन्दु A से सकचन अपनी साइककि उत्तर की ओर िे

जाता है।

चरर् 2 : कबन्दु B से िह बाएों मुडा और 1 कक.मी. दूर कबन्दु C

तक गया BC = 1 km.

चरर् 3 : अोंततः िह बाएों मुडा और 2 कक.मी. दूर कबन्दु D

तक गया CD = 2 km.

स्पष्ट् है कक िडके ने शुरू में 2 ककिो मीटर उत्तर कदशा की

ओर यात्रा की।

अतः, किकल्प (b) सही उत्तर है।

उत्तर:70)(b)

व्याख्या : इस पररचे्छद में यह चचाा की गयी है कक कैसे

कनयकमत अोंतराि पर नीकतयोों पर मतदान कराये जाने से यह

ज्ञात हो जायेगा कक िािि में राजनीकत ककतनी ककठन है।

और, इससे िोग राजनेताओों पर दोषारोपर् करने से पहिे

सोचने पर कििश होोंगे। इसकिए किकल्प (b) सही उत्तर है।

किकल्प (a) और (c) में इसके ठीक किपरीत कहा गया है,

इसकिए यह दोनोों ही गित हैं। किकल्प (d) गित है क्योोंकक

राजनेताओों के चररत्र और एक पारदशी सरकार के प्रकत

उनके दृकष्ट्कोर् की इस पररचे्छद में चचाा ही नही ों की गयी है।

उत्तर:71)(c)

व्याख्या: पररचे्छद में यह व्याख्या की गयी है कक रूस में कैसे

सत्ता के कनजीकरर् की व्यिस्र्ा अब तक उसी स्वरूप में

बनी रहने में समर्ा रही है। इसकिए किकल्प (c) सही उत्तर है।

किकल्प (a) गित है क्योोंकक, पकश्चमी देशोों के किए रूस में

प्रचकित व्यस्तक्त पूजा सबसे बडा सोंकट है, इस पर चचाा ही

नही की गयी है।

किकल्प (b) गित है क्योोंकक पररचे्छद में उपिब्ध तथ्योों से यह

कनष्कषा नही ों कनकािा जा सकता है कक रुसी िोकतोंत्र अन्य से

अकधक सोंस्र्ागत है या नही ों। किकल्प (d) भी गित है, क्योोंकक

पररचे्छद में शस्तक्त सोंतुिन की चचाा ही नही ों की गयी है।

इसकिए यह कर्न पररचे्छद की सीमा से परे है।

उत्तर:72)(a)

व्याख्या: पररचे्छद में अफ्रीका में चि रही शरर्ार्ी समस्या

और सोंघषों पर चचाा की गयी है। इसकी यूरोप से तुिना करने

से इस बात को आिोककत ककया गया है कक िहााँ हो रहे

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14 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

किश्वयुद्ध िर के किनाश होने पर भी इसे िगभग अनदेिा

ककया जा रहा है। इसकिए किकल्प (a) सही उत्तर है।

किकल्प (b) गित है। अफ्रीककयोों को दूसरे दजे का नागररक

समझा जाता है या नही ों, इस पर पररचे्छद में चचाा ही नही ों की

गयी है। किकल्प (c) गित है क्योोंकक सोंघषा और कििादोों को

किश्वयुद्ध नही ों माना जा सकता है। किकल्प (d) गित है

क्योोंकक पररचे्छद में उपिब्ध तथ्योों से यह कनष्कषा नही ों

कनकािा जा सकता है कक अफ्रीका में शरर्ाकर्ायोों की सोंख्या

मानि इकतहास में अभूतपूिा है या नही ों।

उत्तर:73)(d)

व्याख्या: पररचे्छद में उदाहरर् द्वारा यह कदिाया गया है कक

एक हत्यारे की भाोंकत काया करना ककतना अकििेकपूर्ा हो

सकता है। इसकिए किकल्प (d) सही उत्तर है, कजसमें कहा

गया है कक प्रकतशोध के कसद्धाोंत को कििेक की कसौटी पर

स्वीकार नही ों ककया जा सकता है।

किकल्प (a) गित है क्योोंकक स्वास्थ्य और िोध के बीच ककसी

सम्बन्ध की इस पररचे्छद में चचाा नही ों की गयी है। किकल्प (b)

भी गित है। पररचे्छद में कही ों भी यह उले्लि नही ों ककया गया

है कक सभी धमा प्रकतशोध के कसद्धाोंत की भर्त्ाना करते हैं।

केिि यह कहा गया है कक हमिािर को भगिान दोंि देता है।

किकल्प (c) भी गित है। िमादान सबसे महत्वपूर्ा गुर् है या

नही ों, पररचे्छद में इसकी चचाा नही ों की गयी है।

उत्तर:74)(b)

व्याख्या: पररचे्छद में इस बात पर चचाा की गयी है कक हम

िोग अपने जोडीदार के बारे में एक सुपर स्ट्ार के रूप में

कल्पना करना चाहते हैं। इसकिए, किकल्प (b) सही उत्तर है,

कजसमें यह उले्लि ककया गया है कक हम अपने जोडीदार की

अपूर्ाताओों को स्वीकार नही ों करना चाहते हैं।

किकल्प (a) गित है। कदन में रोमाोंस करने के सम्बन्ध में कोई

चचाा नही ों की गयी है। किकल्प (c) भी गित है। अपने

जोडीदार से अपेिाएों प्रते्यक व्यस्तक्त के किए कभन्न हो सकती हैं

और यह केिि अचे्छ रोंगरूप तक ही सीकमत नही ों हो सकती।

किकल्प (d) भी गित है। पररचे्छद में उपिब्ध तथ्योों के

आधार पर यह नही ों कहा जा सकता कक हममें से कई िोग

रतौोंधी से पीकडत हैं या नही ों।

उत्तर:75)(b)

व्याख्या: पररचे्छद में उपकनिेशिाद और साम्राज्यिाद या

राष्ट्र िाद से इसके ककसी सम्पका का कोई उले्लि नही ों ककया

गया है। इसकिए किकल्प (a) गित है।

पररचे्छद में उले्लि ककया गया है कक “हम सब राष्ट्र राज्योों में

रहते हैं और हम सब की एक राष्ट्र ीयता होती है या एक राष्ट्र ीय

नागररकता की बात आज हमें बहुत-ही स्वाभाकिक िगती है।

प्रर्म किश्वयुद्ध से पहिे अोंतरराष्ट्र ीय यात्रा के किए पासपोटा का

व्यापक रूप से प्रयोग नही ों होता र्ा।” यह उस पूिाधारर्ा की

ओर इों कगत करता है कक समाज सदैि राष्ट्र ीय राज्योों की तजा

पर सोंगकठत नही ों रे्। इसकिए किकल्प (b) सही है।

भिे ही पररचे्छद में यह उले्लि ककया गया है कक पहिे

पासपोटा का व्यापक रूप से उपयोग नही ों होता र्ा, पररचे्छद

से यह नही ों माना जा सकता है यही राष्ट्र राज्योों का एक कारर्

र्ा। इसकिए किकल्प (c) गित है। इस पररचे्छद में स्पष्ट् रूप

से यह उले्लि ककया गया है कक, “राष्ट्र राज्य, राष्ट्र ीयता की

भािना के उत्थान से गहराई से जुडे हैं” परनु् यह अनुमान

नही ों िगाया जा सकता है कक राष्ट्र राज्योों ने राष्ट्र िाद की

शुरुआत की या नही ों।

उत्तर:76)(c)

व्याख्या: मान िेते हैं कक मोटरसाइककि की गकत X ककमी

प्रकत घोंटा है।

3 घोंटे और 30 कमनट में अजय द्वारा तय की गई दूरी =

राजेश द्वारा 2 घोंटे 10 कमनट में तय की गई दूरी।

या

60

102X

2

712

या

6

12X76

या

6

13X76

या 13

676X

या 13

252X

= 13

519

ककमी/घोंटे

उत्तर:77)(c)

व्याख्या: माना कक धारा के बहाि की दर X ककमी प्रकत घोंटा

है।

धारा की कदशा में मोटरबोट की गकत = (x + 10) ककमी/घोंटा।

धारा की किपरीत कदशा में मोटरबोट की गकत = (10 - x)

ककमी/घोंटा।

धारा की कदशा और उसके किपरीत, प्रते्यक की 100 ककमी की

यात्रा में िगाया गया कुि समय = 25 घोंटे

या 25

x–10

100

x10

100

या 25

x–10

1

x10

1100

या 25

x–100

x10x–10100

2

या 1

x–100

204

2

या 80 = 100 – x2

या x2 = 20

इसकिए, x = 4.47 ककमी/घोंटा।

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15 AIPTS 2019 (CSAT - 5) (H) Answer Key Byju’s Classes: 9205881869

उत्तर:78)(c)

व्याख्या:

माना कक आरम्भ कबन्दु A है। तब उसकी गकत को कनम्न प्रकार

से कचकत्रत ककया जा सकता है।

कबयर कग्रल्स A से B तक चिता है, उसके बाद B से C तक

और अोंतत: िापस A पर आ जाता है। क्योोंकक ABC एक

समकोर् कत्रभुज है, इसकिए कोर् ACB = 45। इसकिए यकद

कदशा CA, दकिर्-पकश्चम से मेि िाती है तो AB कनकश्चत रूप

से पूिा से मेि िाना चाकहए।

उत्तर:79)(b)

व्याख्या: यह प्रत्यि है कक तीन िम्भ पाइर्ागोररयन कत्रक को

बढ़ते िम में सस्तम्मकित करते हैं।

इसकिए, 32 + 42 = 52; 52 + 122 = 132

इसकिए, िुप्त सोंख्या = 25)247( 22

उत्तर:80)(d)

व्याख्या: किकल्प (a) असत्य है चूोंकक िोगोों द्वारा उसे पाना,

कजसके िे योग्य हैं तर्ा िह पाना कजसकी िे माोंग करते हैं,

कबिकुि अिग बातें हैं।

किकल्प (b) असत्य है चूाँकक ‘प्रिृत्त होना' तर्ा 'किशेष रूप से'

जैसे शब्द यह दशााते हैं कक कदया गया कर्न सामान्य रूप से

सत्य है ककों तु हर मामिे में यह सत्य नही ों है। इसकिए िोगोों

को अपनी माोंग की ककसी भी ििु के किए सदा किरोध नही ों

दशााना है।

किकल्प (c) काल्पकनक है तर्ा िाक्य के अर्ा से परे है। इसके

अकतररक्त, िोकतोंत्र में िोगोों के द्वारा की जाने िािी माोंग हो

सकता है प्रकतिाद के माध्यम से न की जाए। इसकिए, किकल्प

(c) असत्य है। इस प्रकार, सही किकल्प है (d)।