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गगग गगगगगगगगग गग गगगगगग गगगगगगगग: गगगगग गगगग गगगग गगगग गगग गगगगगगगग गग गग. गगगगग गगगग गग गगगगगग गगग गग गगगगग, गगगगगगग गगगग गगग गगगग गग गगगगग गगगगगग गग गगगग गगगगग गगगग, गगगगगग गग गगगग गगगगगग गग गगगगग गगग गग गगगग गग. गग REPLIES TO THE MOST COMMON QUESTIONS ASKED BY NON-MUSLIMS गगग गग गगग गगग गगगग गगगगग गग गगगग गगग गगगग गगगगगग गगगग गगग गगगगगग गग: गगगग गगगगगग गगगगगगग गग गगग गगगगगगगगगग गगगगग गगग: गगगगगगग1. गगगगगग गगग गगगगग गग गग गग गगगग गगगगगगगग गगगग गग गगगगगग गगगगग गग? गगगगगगग2. गगग गग गगगगग गग गग गग गगगग गगगगगगगग गगगग गग गगगगगग गग गग गगगगगग गगग गगगगगग गग गग गगग गगग गगगग गगग गगगग गग गगगगगग गगगगग गगगग गग? गगगगगगग3.‘‘गगगगगग गगगगग गग गगगगग गगग गगगग गगगग गगगगग गगगगग गगगग गग? गगगगगगग4. गग गगगग गगगग गग गग गगगगगग गग गगगगग गग गगगग गगगग गगग गगगगगगग गग गग गगगगग (गगगगग गग गगगगगगग) गग गगगगगग गगगग गग? गगगगगगग5. गगगगगगग गगगगगगग गगगगगगगगग गग गगगगगगगग गगग?
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20 Questions About Islam

Mar 12, 2015

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Page 1: 20 Questions About Islam

गै�र मु�स्लि��मु के� द्वा र सा मु न्यत: मु ��मु किकेय� जा ने� वा �� बी�सा प्रश्नों के� डा . जा किकेर ने यके के� द्वा र दि�ए गैए उत्तर, जिजान्हें# फर�� बी�के किडापो& ने� शु�द्ध किहेंन्�) और मुधु�र सा,��शु सा,गैमु, दि�ल्�� ने� आसा ने किहेंन्�) और उर्दू0 मु# भी� छा पो हें�.

यहें REPLIES TO THE MOST COMMON QUESTIONS ASKED BY NON-MUSLIMS ने मु सा� धु�मु मुचा चा�के4 किकेत बी के फर�� बी�के किडापो& द्वा र किकेय गैय अने�वा � हें�:

किनेम्‍7नेलि�खि:त प्रशुने के� आगै� क्रमु ने�सा र उत्तर हें<:

प्रश्नों=1. इ�� मु मु# पो�रूष के& एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने� के4 अने�मुकित क्य हें�?

प्रश्नों=2. यदि� एके पो�रूष के& एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने� के4 अने�मुकित हें� त& इ�� मु मु# �त्री� के& एके सामुय मु#7अधिधुके पोकित र:ने� के4 अने�मुकित क्य नेहेंG हें�?

प्रश्नों=3.‘‘इ�� मु औरत के& पो�H मु# र:केर उनेके अपोमु ने क्य केरत हें�?

प्रश्नों=4. यहें के� सा� सा,भीवा हें� किके इ�� मु के& शु ,कित के धुमु0 मु ने जा ए क्यकिके यहें त& त�वा र (य�द्ध और रक्तपो त) के� द्वा र फ� � हें�?

प्रश्नों=5. अधिधुके ,शु मु�सा�मु ने रूदिJवा �) और आत,केवा �) हें<?

प्रश्नों=6.पोशु�ओं के& मु रने एके क्र� रत पो�र्ण0 केM Cय हें� त& किफर मु�सा�मु ने मु ,सा हें र� भी&जाने क्य पोसान्� केरत� हें<?

प्रश्नों=7. मु�सा�मु ने पोशु�ओं के& जिNब्हें (हें� �) केरत� सामुय किने�य0त पो�र्ण0 ढं,गै क्य अपोने त� हें<? अर्था 0त उन्हें# य तने ��केर धु�र�-धु�र� मु रने� के तर�के , इसा पोर बीहुत �&गै आपोत्तित्त केरत� हें<?

प्रश्नों=8. किवाज्ञा ने हेंमु# बीत त हें� किके मुने�ष्य जा& के� छा : त हें� उसाके प्रभी वा उसाके4 प्रवाMत्तित्त पोर अवाश्य पोड़त हें�, त& किफर इ�� मु अपोने� अने�य धियय के& सा धिमुष आहें र के4 अने�मुकित क्य ��त हें�? यद्यकिपो पोशु�ओं के मु ,सा : ने� के� के रर्ण मुने�ष्य हिंहेंZसाके और क्र� र बीने साकेत हें�?

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प्रश्नों=9. यद्यकिपो इ�� मु मु# मु�र्तितZ पो�जा वार्जिजाZत हें� पोरन्त� मु�सा�मु ने के बी� के4 पो�जा क्य केरत� हें<? और अपोने� नेमु N के� �]र ने उसाके� सा मुने� क्य झु�केत� हें<?

प्रश्नों=10. मुक्के और मु�)ने के� पोकिवात्री नेगैर मु# ग़ै�र मु�स्लि��मु के& प्रवा�शु के4 अने�मुकित क्य नेहेंG हें�?

प्रश्नों=11. इ�� मु मु# सा�अर के मु ,सा : ने क्य वार्जिजाZत हें�?

प्रश्नों=12. इ�� मु मु# शुर बी पो�ने� के4 मुने हें� क्य हें�?

प्रश्नों=13. क्य के रर्ण हें� किके इ�� मु मु# �& �त्री�य के4 गैवा हें� एके पो�रुष के� सामु ने ठहेंर ई जा त� हें�?

प्रश्नों=14. इ�� मु� के ने�ने के� अने�सा र किवार सात के4 धुने-साम्पत्तित्त मु# �त्री� के किहें�सा पो�रूष के4 अपो�क्षा आधु क्य हें�?

प्रश्नों=15. क्य पोकिवात्री के� रआने अल्� हें के के� मु (ईष वा क्य) हें�?

उत्तर: ने&टः= उC7तर इ,ग्लिg�शु मु#, अफसा&सा किके अने�वा � ने हें&साके

प्रश्नों=16. आपो आखिhरत अर्थावा मुMCय&पोर ,त जा�वाने के4 साCयत के� सा� लिसाद्ध केर#गै�?

प्रश्नों=17. क्य के रर्ण हें� किके मु�सा�मु ने किवात्तिभीन्न सामु�� य और किवाचा धु र ओं मु# किवाभी जिजात हें<?

प्रश्नों=18. साभी� धुमु0 अपोने� अने�य धियय के& अच्छे� के मु के4 लिशुक्षा ��त� हें< त& किफर किकेसा� व्यलिक्त के& इ�� मु के 7हें� अने�केरर्ण क्य केरने चा किहेंए? क्य वाहें किकेसा� अन्य धुमु0 के अने�केरर्ण नेहेंG केर साकेत ?

प्रश्नों=19. यदि� इ�� मु किवाश्व के श्रे�ष्ठ धुमु0 हें� त& किफर क्य के रर्ण हें� किके बीहुत सा� मु�सा�मु ने बी�ईमु ने और किवाश्व साघा त� हें&त� हें<। धु&:�बी N�, घा�साh&र� और नेशु��� पो� र्थाq के� व्य पो र जा�सा� घाMत्तिर्णत के मु मु# लि�प्त हें&त� हें<।

प्रश्नों=20. मु�सा�मु ने ग़ै�र मु�स्लि��मु के अपोमु ने केरत� हुए उन्हें# ‘‘के किsर’’ क्य केहेंत� हें<?

1. बीहुपोCने� प्रर्था

प्रश्नों= इ�� मु मु# पो�रूष के& एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने� के4 अने�मुकित क्य हें�?

उत्तर= बीहुपोCने� प्रर्था (Policamy)सा� आश्य किवावा हें के4 ऐसा� व्यवास्था सा� हें� जिजासाके� अने�सा र एके व्यलिक्त एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र: साकेत हें�। बीहुपोCने� प्रर्था के� �& रूपो हें& साकेत� हें<। उसाके एके रूपो (Polygyny)हें� जिजासाके� अने�सा र एके पो�रूष एके सा� अधिधुके त्नि�त्री य सा� किवावा हें केर साकेत हें�। जाबीकिके र्दूसार रूपो (Polyandry) हें� जिजासामु# एके �त्री� एके हें� सामुय मु# केई पो�रूष के4 पोCने� रहें साकेत� हें�। इ�� मु मु# एके सा�

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अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने� के4 सा�धिमुत अने�मुकित हें�। पोरन्त� (Polyandry)अर्था 0त त्नि�त्रीय द्वा र एके हें� पो�रूष मु# अने�के पोकित र:ने� के4 पो�र्ण 0तय मुने हें� हें�।

अबी मु< इसा प्रश्नों के4 ओर आत हूँD किके इ�� मु मु# पो�रूष के& एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने� के4 अने�मुकित क्य हें�?

पोकिवात्री क़ुy रआने किवाश्व के एकेमु त्री धुमु0ग्रं,र्था हें� जा& के� वा� ‘‘एके किवावा हें केर&’’ के आ��शु ��त हें�

साम्प�र्ण0 मु नेवाजागैत मु� के� वा� पोकिवात्री क़ुy रआने हें� एकेमु त्री धुमु0 ग्रं,र्था (ईश्व क्य) हें� जिजासामु# यहें वा क्य मु]जा�� हें�= ‘‘के� वा� एके हें� किवावा हें केर&’’, अन्य के&ई धुमु0ग्रं,र्था ऐसा नेहेंG हें� जा& पो�रुष के& के� वा� एके हें� पोCने� र:ने� के आ��शु ��त हें&। अन्य धुमु0ग्रं,र्था मु# चा हें� वा�� मु# के&ई हें&, र मु यर्ण, मुहें भी रत, गै�त अर्थावा बी इबी� य Nबी�र हें& किकेसा� मु# पो�रूष के� लि�ए पोत्निCनेय के4 सा,ख्य पोर के&ई प्रकितबीन्ध नेहेंG �गै य गैय हें�, इने सामु�त ग्रं,र्था के� अने�सा र के&ई पो�रुष एके सामुय मु# जिजातने� त्नि�त्रीय सा� चा हें� किवावा हें केर साकेत हें�, यहें त& बी � के4 बी त हें� जाबी किहेंन्र्दू पो,किडात और ईसा ई चाचा0 ने� पोत्निCनेय के4 सा,ख्य के& सा�धिमुत केरके� के� वा� एके केर दि�य ।

किहेंन्दुओं के� धु र्मिमुZके मुहें पो�रुष �वाय, उनेके� ग्रं,र्था के� अने�सा र एके सामुय मु# अने�के पोत्निCनेय D र:त� र्था�। जा�सा� श्रे�र मु के� किपोत �शुरर्था जा� के4 एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र्थाG। �वा,य श्रे� केM ष्र्ण के4 अने�के पोत्निCनेय D र्थाG।

आर,त्तिभीके के � मु# ईसा ईय के& इतने� पोत्निCनेय D र:ने� के4 अने�मुकित र्था� जिजातने� वा� चा हें#, क्यकिके बी इबी� मु# पोत्निCनेय के4 सा,ख्य पोर के&ई प्रकितबीन्ध नेहेंG �गै य गैय हें�। यहें त& आजा सा� के� छा हें� शुत खिब्�य पो�वा0 के4 बी त हें� जाबी चाचा0 ने� के� वा� एके पोCने� तके हें� सा�धिमुत रहेंने� के प्र वाधु ने केर दि�य र्था ।

यहूँ�) धुमु0 मु# एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने� के4 अने�मुकित हें�। ‘Nबी�र’ मु# बीत य गैय हें� किके हेंNरत इब्रा हें�मु (अ��किहें�सा� मु) के4 त�ने पोत्निCनेय D र्थाG जाबीकिके हेंNरत सा���मु ने (अ��किहें�सा� मु) एके सामुय मु# सा<केड़ पोत्निCनेय के� पोकित र्था�। यहूँदि�य मु# बीहुपोCने� प्रर्था ‘रब्बी� ग्रंश्मु किबीने यहूँ� ’ (960 ई. सा� 1030 ई.) तके प्रचालि�त रहें�। ग्रंश्मु ने� इसा प्रर्था के� किवारुद्ध एके धुमु 0��शु किनेके � र्था । इ�� मु� ��शु मु# प्रवा सा� यहूँदि�य ने�, यहूँ�) जा& किके आमु त]र सा� स्पे�ने� और उत्तर� अफ्ऱी�के4 यहूँदि�य के� वा,शुजा र्था�, 1950 ई. के� अ,कितमु �शुके तके यहें प्रर्था जा र� र:�। यहें D तके किके इस्रा ई� के� बीड़� रब्बी� (सावा�च्चय धुमु0गै�रू) ने� एके धु र्मिमुZके के ने�ने द्वा र किवाश्वभीर के� यहूँदि�य के� लि�ए बीहुपोCने� प्रर्था पोर प्रकितबीन्ध �गै दि�य ।

र&चाके तथ्य

भी रत मु# 1975 ई. के4 जानेगैर्णने के� अने�सा र मु�सा�मु ने के4 अपो�क्षा किहेंन्दुओं मु# बीहुपोCने� प्रर्था के अने�पो त अधिधुके र्था । 1975 ई. मु# Commitee of the Status of Wemen in Islam (इ�� मु मु# मुकिहें� ओं के4 प्रकितष्ठ के� किवाषय मु# गैदिठत साधिमुकित) द्वा र प्रके लिशुत रिरपो&टः0 के� पोMष्ठ 66-67 पोर यहें बीत य गैय हें� किके 1951 ई. और 1961 ई. के� मुध्य ,तर मु# 5.6 प्रकितशुत किहेंन्र्दू बीहुपोCने� धु रके र्था�, जाबीकिके इसा अवाधिधु मु# मु�सा�मु ने के4 4.31 प्रकितशुत �&गै के4 एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र्थाG। भी रत�य सा,किवाधु ने के� अने�सा र के� वा� मु�सा�मु ने के& हें�7एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने� के4 अने�मुकित हें�। गै��र मु�स्लि��मु के� लि�ए एके सा� अधिधुके पोCने� र:ने� के� वा�धु किनेके प्रकितबीन्ध के� बी वाजा�� मु�सा�मु ने के4 अपो�क्षा

किहेंन्दुओं मु# बीहुपोCने� प्रर्था के अने�पो त

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अधिधुके र्था । इसासा� पो�वा0 किहेंन्र्दू पो�रूष पोर पोत्निCनेय के4 सा,ख्य के� किवाषय मु# के&ई प्रकितबीन्ध नेहेंG र्था । 1954 मु# ‘‘किहेंन्र्दू मु�रिरजा एक्टः’’ � गै� हें&ने� के� पोश्चा त किहेंन्दुओं पोर एके सा� अधिधुके पोCने� र:ने� पोर प्रकितबीन्ध �गै दि�य गैय । इसा सामुय भी�, भी रत�य के ने�ने के� अने�सा र किकेसा� भी� किहेंन्र्दू पो�रूष के� लि�ए एके सा� अधिधुके पोCने� र:ने केषने�नेने वार्जिजाZत हें�। पोरन्त� किहेंन्र्दू धुमु0गै,��रर्था के� अने�सा र आजा भी� उने पोर ऐसा के&ई प्रकितबीन्ध नेहेंG हें�।

आईय� अबी हेंमु यहें किवाश्ले�षर्ण केरत� हें< किके अ,तत= इ�� मु मु# पो�रूष के& एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने� के4 अने�मुकित क्य �) गैई हें�?

पोकिवात्री क़ुy रआने पोत्निCनेय के4 सा,ख्य सा�धिमुत केरत हें� जा�सा किके मु<ने� पोहें�� बीत य किके पोकिवात्री क़ुy रआने हें� वाहें एकेमु त्री धु र्मिमुZके ग्रं,र्था हें� जिजासामु# केहें गैय हें�=

‘‘के� वा� एके सा� किवावा हें केर&।’’

इसा आ��शु के4 साम्प�र्ण0 व्य ख्य पोकिवात्री क़ुy रआने के4 किनेम्‍नेलि�खि:त आयत मु# मु]जा�� हें� जा& ‘‘सा�रहें अने�-किनेसा ’’ के4 हें�=

‘‘यदि� त�मु के& भीय हें& किके त�मु अने र्था के� सा र्था न्य य नेहेंG केर साकेत� त& जा& अन्य त्नि�त्रीय D त�म्‍हें# पोसान्� आए, उनेमु# �&-�&, त�ने-त�ने, चा र-चा र सा� किनेके हें केर �&, पोरन्त� यदि� त�म्‍हें# आशु,के हें& किके उनेके� सा र्था त�मु न्य य ने केर साके&गै� त& किफर एके हें� पोCने� केर&, अर्थावा उने त्नि�त्रीय के& � मुपोCय मु# � ओ जा& त�म्‍हें र� अधिधुके र मु# आत� हें<। यहें अन्य य सा� बीचाने� के� लि�ए भी� ई के� अधिधुके किनेकेटः हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, 4 : 3 )

पोकिवात्री क़ुy रआने के� अवातरर्ण सा� पो�वा0 पोत्निCनेय के4 सा,ख्य के4 के&ई सा�मु किनेधु रिर7त नेहेंG र्था�। अत= पो�रूष के4 एके सामुय मु# अने�के पोत्निCनेय D हें&त� र्थाG। केभी�-केभी� यहें सा,ख्य सा<केड़ तके पोहुDचा जा त� र्था�। इ�� मु ने� चा र पोत्निCनेय के4 सा�मु किनेधु रिर7त केर �)। इ�� मु किकेसा� पो�रूष के& �&, त�ने अर्थावा चा र शु दि�य D केरने� के4 अने�मुकित त& ��त हें�, किकेन्त� न्य य केरने� के4 शुत0 के� सा र्था।

इसा� सा�रहें मु# पोकिवात्री क़ुy रआने स्पेष्ट आ��शु �� रहें हें�=

‘‘पोत्निCनेय के� बी�चा� पो�र -पो�र न्य य केरने त�म्‍हें र� वाशु मु# नेहेंG, त�मु चा हें& भी� त& इसा पोर केषदि�र (सामुर्था0) नेहेंG हें& साकेत�। अत= (अल्� हें के� के ने�ने के मुन्तव्य पो�र केरने� के� लि�ए यहें पोय 0प्त हें� किके) एके पोCने� के4 ओर इसा प्रके र ने झु�के जा ओ किके र्दूसार� के& अधुर मु# �टःकेत छा&ड़ �&। यदि� त�मु अपोने व्यवाहें र ठ�के र:& और अल्� हें सा� डारत� रहें& त& अल्� हें दुगै�0र्ण के4 उपो�क्षा केरने� (टः � ��ने�) वा � और �य केरने� वा � हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, 4:129)

अत= बीहु-किवावा हें के&ई किवाधु ने नेहेंG के� वा� एके रिरय यत (छा� टः) हें�, बीहुत सा� �&गै इसा ग़ै�तsहेंमु� के लिशुके र हें< किके मु�सा�मु ने के� लि�य� एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D र:ने अकिनेवा य0 हें�।

किवा�तMत पोरिरप्र�क्षा मु# अम्र (किने�Hलिशुत केमु0 Do’s) और नेवा हें� (किनेकिषद्ध केमु0 Dont’s) के� पो Dचा �तर हें<:

के= sN0 (केत0व्य) अर्थावा अकिनेवा य0 केमु0।

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:= मु��तहेंबी अर्था 0त ऐसा के य0 जिजासा� केरने� के4 प्र�रर्ण �) गैई हें&, उसा� केरने� के& प्र&Cसा किहेंत किकेय जा त हें& किकेन्त� वाहें के य0 अकिनेवा य0 ने हें&।

गै= मु�बी हें (उलिचात, जा यN केमु0) जिजासा� केरने� के4 अने�मुकित हें&।

घा= मुकेरूहें (अकिप्रय केमु0) अर्था 0त जिजासा के य0 के केरने अच्छे ने मु ने जा त हें& और जिजासा के� केरने� के& हेंत&Cसा किहेंत किकेय गैय हें&।

ङः= हेंर मु (वार्जिजाZत केमु0) अर्था 0त ऐसा के य0 जिजासाके4 अने�मुकित ने हें&, जिजासाके& केरने� के4 स्पेष्ट मुने हें� हें&।

बीहुकिवावा हें के मु�द्दा उपोर&क्त पो Dचा �तर के� मुध्य�तर अर्था 0त ‘‘मु�बी हें’’ के� अ,त0गैत आत हें�, अर्था 0त वाहें के य0 जिजासाके4 अने�मुकित हें�। यहें नेहेंG केहें जा साकेत किके वाहें मु�सा�मु ने जिजासाके4 �&, त�ने अर्थावा चा र पोत्निCनेय D हें, वाहें एके पोCने� वा �� मु�सा�मु ने सा� अच्छे हें�।

त्नि�त्रीय के4 औसात आय� पो�रूष सा� अधिधुके हें&त� हें� प्र केM कितके रूपो सा� त्नि�त्रीय D और पो�रूष �गैभीगै सामु ने अने�पो त सा� उCपोन्न हें&त� हें<। एके �ड़के4 मु# जान्मु के� सामुय सा� हें� �ड़के के4 अपो�क्षा अधिधुके प्रकितर&धुके क्षामुत (Immunity)हें&त� हें� और वाहें र&गै र्ण�ओं सा� अपोने बीचा वा �ड़के के4 अपो�क्षा अधिधुके सा�गैमुत सा� केर साकेत�7हें�, यहें� के रर्ण हें� किके बी �मुMCय� मु# �ड़के के4 �र अधिधुके हें&त� हें�। सा,क्षा�पो मु# यहें किके त्नि�त्रीय के4 औसात आय� पो�रूष सा� अधिधुके हें&त� हें� और किकेसा� भी� सामुय मु# अध्ययने केरने� पोर हेंमु# त्नि�त्रीय के4 सा,ख्य पो�रूष सा� अधिधुके हें� धिमु�त� हें�।

केन्य गैभी0पो त तर्था केन्य ओं के4 मुMCय� के� के रर्ण भी रत मु# पो�रूष के4 सा,ख्य त्नि�त्रीय सा� ज़्य � हें�

अपोने� के� छा पोड़]सा� ��शु साकिहेंत, भी रत के4 गैर्णने किवाश्व के� उने के� छा ��शु मु# के4 जा त� हें� जाहें D त्नि�त्रीय के4 सा,ख्य पो�रूष सा� केमु हें�। इसाके के रर्ण यहें हें� किके भी रत मु# अधिधुके ,शु केन्य ओं के& शु�शुवा के � मु# हें� मु र दि�य जा त हें�। जाबीकिके इसा ��शु मु# प्रकितवाष0 �सा � : सा� अधिधुके �ड़किकेय के4 भ्रु�र्णहेंCय अर्था 0त ग्रंभी0पो त द्वा र उनेके& इसा सा,सा र मु# आD: :&�ने� सा� पोहें�� हें� नेष्ट केर दि�य जा त हें�। जा�सा� हें� यहें पोत चा�त हें� किके अमु�के गैभी0 सा� केन्य के जान्मु हें&गै , त& गैभी0पो त केर दि�य जा त हें�, यदि� भी रत मु# यहें क्र� रत बीन्� केर �) जा ए त& यहें D भी� त्नि�त्रीय के4 सा,ख्य पो�रूष सा� अधिधुके हें&गै�।

(आजा स्लिस्थाकित यहें हें� किके भी रत�य सामु जा किवाशु�ष रूपो सा� किहेंन्र्दू सामु जा मु# केन्य भ्रु�र्ण हेंCय के प्रचा�ने बीJत जा रहें हें�। अल्ट्रा सा उण्डा तकेने�के द्वा र भ्रु�र्ण के� लिं�Zगै के पोत चा�त� हें� गैभ्रु0पो त केर ने� के चा�ने चामु0 पोर पोहुDचा गैय हें� और अबी यहें स्लिस्थाकित हें� किके पो,जा बी, हेंरिरय र्ण आदि� र ज्य मु# त्नि�त्रीय के4 इतने� केमु� हें& गैई हें� किके � : पो�रूष के�, वा र� रहें गैए हें<। के� छा �&गै अन्य र ज्य सा� पोत्निCनेय D hर�� केर � ने� पोर किवावाशु हें<। इसाके मु�ख्य के रर्ण किहेंन्र्दू सामु जा मु# भीय,केर �हें�जा प्रर्था के& बीत य जा त हें�) अने�वा �के

किवाश्व जानेसा,ख्य मु# त्नि�त्रीय D अधिधुके हें<

अमुर�के मु# त्नि�त्रीय के4 सा,ख्य के� � आबी �) मु# पो�रूष सा� 87 � :

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अधिधुके हें�। के� वा� न्य�य के0 मु# त्नि�त्रीय D पो�रूष सा� �गैभीगै 10 � : अधिधुके हें<, जाबीकिके न्य�य के0 मु# पो�रूष के4 एके कितहें ई सा,ख्य सामु�<किगैके हें�। पो�र� अमुर�के मु# के� � धिमु� केर 2.50 केर&ड़ सा� अधिधुके सामु�<किगैके (Gays)मु]जा�� हें< अर्था 0त य� पो�रूष त्नि�त्रीय सा� किवावा हें नेहेंG केरने चा हेंत�। किब्राटः�ने मु# त्नि�त्रीय के4 सा,ख्य पो�रूष सा� 40 � : के� �गैभीगै अधिधुके हें�। इसा� प्रके र जामु0ने� मु# त्नि�त्रीय D पो�रूष सा� 50 � : अधिधुके हें<। रूसा मु# त्नि�त्रीय D पो�रूष सा� 90 � : अधिधुके हें<। यहें त& अल्� हें हें� बी�हेंतर जा नेत हें� किके किवाश्व मु# त्नि�त्रीय के4 सा,ख्य पो�रूष के47अपो�क्षा किकेतने� अधिधुके हें�।

प्रCय�के पो�रूष के& के� वा� एके पोCने� तके सा�धिमुत र:ने व्य वाहें रिरके रूपो सा� सा,भीवा नेहेंG

यदि� प्रCय�के पो�रूष के& के� वा� एके पोCने� र:ने� के4 अने�मुकित हें& त& के� वा� अमुर�के हें� मु# �गैभीगै 3 केर&ड़ �ड़किकेय D किबीने ब्य हें� रहें जा ए,गै� क्यकिके वाहें D �गैभीगै ढं ई केर&ड़ पो�रूष सामु�<किगैके हें<। किब्राटः�ने मु# 40 � :, जामु0ने� मु# 50 � : और रूसा मु# 90 � : त्नि�त्रीय D पोकितय सा� वा,लिचात रहें#गै�।

मु ने ��जिजाए, आपोके4 य मु�र� बीहेंने अकिवावा किहेंत हें� और अमुर�के4 ने गैरिरके हें� त& उसाके� सा मुने� �& हें� र �त� हेंगै� किके वाहें य त& किकेसा� किवावा किहेंत पो�रूष सा� शु �) केर� अर्थावा अकिवावा किहेंत रहेंकेर सा वा0जाकिनेके साम्पत्तित्त बीने जा ए, अन्य के&ई किवाकेल्पो नेहेंG। सामुझु� र और बी�जिद्धमु ने �&गै पोहें�� किवाकेल्पो के& तरजा�हें �#गै�।

अधिधुके ,शु त्नि�त्रीय D यहें नेहेंG चा हें#गै� किके उनेके� पोकित के4 एके और पोCने� भी� हें&, और जाबी इ�� मु के4 बी त सा मुने� आए और पो�रूष के� लि�ए इसासा� शु �) केरने (इ�� मु के& बीचा ने� हें�त�) अकिनेवा य0 हें& जा ए त& एके सा किहेंबी� ईमु ने किवावा किहेंत मु�सा�मु ने मुकिहें� यहें किनेजा� केष्ट साहेंने केरके� अपोने� पोकित के& र्दूसार� शु �) के4 अने�मुकित �� साकेत� हें� त किके अपोने� मु�सा�मु ने बीहेंने के& ‘‘सा वा0जाकिनेके साम्पत्तित्त’’ बीनेने� के4 बीहुत बीड़� हें किने सा�7बीचा साके� ।

‘‘सा वा0जाकिनेके साम्पत्तित्त’’ बीनेने� सा� अच्छे हें� किके किवावा किहेंत पो�रूष सा� शु �) केर �� जा ए

पोत्तिश्चामु� सामु जा मु# यहें आमु बी त हें� किके पो�रूष एके शु �) केरने� के� बी वाजा�� (अपोने� पोCने� के� अकितरिरक्त) र्दूसार�7औरत जा�सा� ने]केर किनेय (सा�क्र� ट्रा)N और साहेंकेमु� मुकिहें� ओं) आदि� सा� पोकित-पोत्निCने वा �� साम्‍बीन्ध स्था किपोत केर7��त� हें<। यहें एके ऐसा� स्लिस्थाकित हें� जा& एके �त्री� के� जा�वाने के& �ज्जा जानेके और असा�रत्तिक्षात बीने ��त� हें�, क्य यहें अCय,त :�� के4 बी त नेहेंG किके वाहें� सामु जा जा& पो�रूष के& के� वा� एके हें� पोCने� पोर प्रकितबी,धिधुत केरत हें� और र्दूसार� पोCने� के& लिसार� सा� �वा�के र नेहेंG केरत , यद्यकिपो र्दूसार� �त्री� के& वा�धु पोCने� हें&ने� के� के रर्ण सामु जा मु# प्रकितष्ठ प्र प्त हें&त� हें�, उसाके साम्‍मु ने सामु ने रूपो सा� किकेय जा त हें� और वाहें एके सा�रत्तिक्षात जा�वाने किबीत साकेत� हें�।

अत= वा� त्नि�त्रीय D जिजान्हें# किकेसा� के रर्णवाशु पोकित नेहेंG धिमु� पो त । वा� के� वा� �& हें� किवाकेल्पो अपोने ने� पोर किवावाशु हें&त� हें<, किकेसा� किवावा किहेंत पो�रूष सा� � म्पCय जा&ड़ �# अर्थावा ‘‘सा वा0जाकिनेके साम्पकित’’ बीने जा ए,। इ�� मु अच्छे ई के� आधु र पोर �त्री� के& प्रकितष्ठ प्र� ने केरने� के� लि�य� पोहें�� किवाकेल्पो के4 अने�मुकित ��त हें�। इसाके� औलिचाCय मु# अने�के तके0 मु]जा�� हें<। पोरन्त� इसा के प्रमु�: उद्दा�श्य ने र� के4 पोकिवात्रीत और साम्‍मु ने के4 रक्षा केरने 7हें�।

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2. एके सामुय मु# एके सा� अधिधुके पोकित (Policamy)

प्रश्नों= यदि� एके पो�रूष के& एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D केरने� के4 अने�मुकित हें� त& इ�� मु मु# �त्री� के& एके सामुय मु# अधिधुके पोकित र:ने� के4 अने�मुकित क्य नेहेंG हें�?

उत्तर= अने�के �&गै जिजानेमु# मु�सा�मु ने भी� शु धिमु� हें<, यहें पो�छात� हें< किके आखिhर इ�� मु मु� पो�रूष के� लि�ए ‘बीहुपोCने�’ के4 अने�मुकित हें� जाबीकिके त्नि�त्रीय के� लि�ए यहें वार्जिजाZत हें�, इसाके बी]जिद्धके तके0 क्य हें�?….क्यकिके उनेके� किवाचा र मु# यहें �त्री� के ‘‘अधिधुके र’’ हें� जिजासासा� उसा� वा,लिचात किकेय गैय हें� आर्था 0त उसाके अधिधुके र हेंनेने7किकेय गैय हें�।

पोहें�� त& मु< आ�रपो�वा0के यहें केहूँ,गै किके इ�� मु के आधु र न्य य और सामुत पोर हें�। अल्� हें ने� पो�रूष और �त्री� के4 सामु ने रचाने के4 हें� किकेन्त� किवात्तिभीन्न य&gयत ओं के� सा र्था और किवात्तिभीन्न जिNम्‍मु�� रिरय के� किनेवा 0हेंने के� लि�ए। �त्री� और पो�रूष ने के� वा� शु र�रिरके रूपो सा� एके र्दूजा� सा� त्तिभीन्न हें< वारने� मुने&वा�ज्ञा किनेके रूपो सा� भी� उनेमु# स्पेष्ट अ,तर हें�। इसा� प्रके र उनेके4 भी�धिमुके और � धियCवा मु# भी� त्तिभीन्नत हें�। इ�� मु मु# �त्री�-पो�रूष (एके र्दूसार� के� ) बीर बीर हें< पोरन्त� पोरस्पेर सामुरूपो (Identical)नेहेंG हें�।

पोकिवात्री क़ुy रआने के4 पोकिवात्री सा�रहें ‘‘अने�-किनेसा ’’ के4 22 वाG और 24 वाG आयत मु# उने त्नि�त्रीय के4 सा�चा� �) गैई हें� जिजानेसा� मु�सा�मु ने किवावा हें नेहेंG केर साकेत�। 24 वाG पोकिवात्री आयत मु# यहें भी� बीत य गैय हें� किके उने त्नि�त्रीय सा�7भी� किवावा हें केरने� के4 अने�मुकित नेहेंG हें� जा& किवावा किहेंत हें&।

किनेम्‍नेकिनेखि:त के रर्ण सा� यहें लिसाद्ध किकेय गैय हें� किके इ�� मु मु# �त्री� के� लि�य� एके सामुय मु# एके सा� अधिधुके पोकित7र:ने क्य वार्जिजाZत किकेय गैय हें�।

1. यदि� किकेसा� व्यलिक्त के� एके सा� अधिधुके पोत्निCनेय D हें त& उनेसा� उCपोन्न सा,त ने के� मु त -किपोत के4 पोहेंचा ने साहेंजा और सा,भीवा हें� अर्था 0त ऐसा� बीच्च के� मु त -किपोत के� किवाषय मु# किकेसा� प्रके र के सान्��हें नेहेंG किकेय जा साकेत और सामु जा मु# उनेके4 प्रकितष्ठ स्था किपोत रहेंत� हें�। इसाके� किवापोर�त यदि� किकेसा� �त्री� के� एके सा� अधिधुके पोकित हें त& ऐसा� सा,त ने के4 मु त के पोत त& चा� जा एगै ��किकेने किपोत के किनेधु 0रर्ण केदिठने हें&गै । इ�� मु के4 सा मु जिजाके व्यवास्था मु# मु त -किपोत के4 पोहेंचा ने के& अCय धिधुके मुहेंCवा दि�य गैय हें�।

मुने&किवाज्ञा ने शु त्नि�त्रीय के केहेंने हें� किके वा� बीच्च� जिजान्हें# मु त किपोत के ज्ञा ने नेहेंG, किवाशु�ष रूपो सा� जिजान्हें# अपोने� किपोत के ने मु ने मु ��मु हें& वा� अCय धिघाके मु नेलिसाके उCपो�ड़ने और मुने&वा�ज्ञा किनेके सामु�य ओं सा� ग्रं�त रहेंत� हें<। आमु त]र पोर उनेके बीचापोने तने वाग्रं�त रहेंत हें�। यहें� के रर्ण हें� किके वा�श्य ओं के� बीच्च के जा�वाने अCय,त दु: और पो�ड़ मु# रहेंत हें�। ऐसा� केई पोकितय के4 पोCने� सा� उCपोन्न बीच्च� के& जाबी �के� � मु# भीत� केर य जा त हें�7और उसा सामुय जाबी उसाके4 मु त सा� बीच्च� के� बी पो के ने मु पो�छा जा त हें� त& उसा� �& अर्थावा अधिधुके ने मु बीत ने� पोड़#गै�।

मु�झु� उसा आधु�किनेके किवाज्ञा ने के4 जा नेके र� हें� जिजासाके� द्वा र ‘‘जा�किनेदिटःके टः��टः’’ य DNA जा Dचा सा� बीच्च� के� मु त -किपोत के4 पोहेंचा ने के4 जा साकेत� हें�, अत= सा,भीवा हें� किके अत�त के यहें प्रश्नों वात0मु ने य�गै मु# � गै� ने हें&।

2. �त्री� के4 अपो�क्षा पो�रूष मु# एके सा� अधिधुके पोCने� के रूझु ने अधिधुके हें�।

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3. सा मु जिजाके जा�वाने के� दृधिष्टके&र्ण सा� ��: जा ए त& एके पो�रूष के� लि�ए केई पोत्निCनेय के� हें&त� हुए भी� अपोने� जिNम्‍मु�� रिरय D पो�र� केरने साहेंजा हें&त हें�। यदि� ऐसा� स्लिस्थाकित के सा मुने किकेसा� �त्री� के& केरने पोड़� अर्था 0त उसाके� 7केई पोकित हें त& उसाके� लि�य� पोCने� के4 जिNम्‍मु�� रिरय के� शु�त पो�वा0के किनेभी ने के� किपो साम्भवा नेहेंG हें&गै । अपोने�7मु लिसाके धुमु0 के� चाक्र मु# किवात्तिभीन्न चारर्ण के� �]र ने एके �त्री� के� व्यवाहें र और मुने&�शु मु# अने�के पोरिरवात0ने आत� हें<।

4. किकेसा� �त्री� के� एके सा� अधिधुके पोकित हें&ने� के मुत�बी यहें हें&गै किके उसाके� शु र�रिरके साहेंभी गै� (Sexual Partners)भी� अधिधुके हेंगै�। अत= उसाके& किकेसा� गै�प्तर&गै सा� ग्रं�त हें& जा ने� के4 आशु,के अधिधुके हें&गै� चा हें� वाहें सामु�त पो�रूष उसा� एके �त्री� तके हें� सा�धिमुत क्य ने हें। इसाके� किवापोर�त यदि� किकेसा� पो�रूष के4 अने�के पोत्निCनेय D हें और वाहें अपोने� साभी� पोत्निCनेय तके हें� सा�धिमुत रहें� त& ऐसा� आशु,के नेहेंG के� बीर बीर हें�।

उपोर]क्त तके0 और ����# के� वा� वाहें हें< जिजानेसा� साहेंजा मु# सामुझु य जा साकेत हें�। किनेश्चाय हें� जाबी अल्� हें तआ� ने� �त्री� के� लि�ए एके सा�

अधिधुके पोकित र:ने वार्जिजाZत किकेय हें� त& इसामु# मु नेवा जा कित के4 अच्छे ई के� अने�के उद्दा�श्य और प्रय&जाने किनेकिहेंत हेंगै�।

3. मु�सा�मु ने औरत के� लि�य� किहेंजा बी (पो� 0)

प्रश्नों= ‘‘इ�� मु औरत के& पो�H मु# र:केर उनेके अपोमु ने क्य केरत हें�?

उत्तर= किवाधुमु� मु�किडाय किवाशु�ष रूपो सा� इ�� मु मु# त्नि�त्रीय , के& ��केर सामुय सामुय पोर आपोत्तित्त और आ�&चाने केरत रहेंत हें�। किहेंजा बी अर्थावा मु�सा�मु ने त्नि�त्रीय के� वा�त्री (बी�के 0) इCय दि� के& अधिधुके ,शु ग़ै�र मु�स्लि��मु इ�� मु� के ने�ने के� तहेंत मुकिहें� ओं के ‘अधिधुके र हेंनेने’ ठहेंर त� हें<। इसासा� पोहें�� किके हेंमु इ�� मु मु# त्नि�त्रीय के� पो�H पोर चाचा 0 केर#, यहें अच्छे हें&गै किके इ�� मु के� उ�य सा� पो�वा0 अन्य सा,�केM कितय मु# ने र� जा कित के4 स्लिस्थाकित और स्था ने पोर एके नेNर डा � �� जा ए।

अत�त मु# त्नि�त्रीय के& के� वा� शु र�रिरके वा साने पो�र्तितZ के सा धुने सामुझु जा त र्था और उनेके अपोमु ने किकेय जा त र्था । किनेम्‍नेलि�खि:त उ� हेंरर्ण सा� यहें तथ्य उजा गैर हें&त हें� किके इ�� मु के� आगैमुने सा� पो�वा0 के4 सा,�केM कितय और सामु जा मु# त्नि�त्रीय के स्था ने अCय,त ने�चा र्था और उन्हें# सामु�त मु नेवा�य अधिधुके र सा� वा,लिचात र: गैय र्था ।

बी बी�� (बी�किबी�&ने) सा,�केM कित मु#

प्र चा�ने बी�किबी�&ने सा,�केM कित मु# ने र�जा कित के& बी�र� तरहें अपोमु किनेत किकेय गैय र्था । उन्हें# सामु�त मु नेवा�य अधिधुके र सा� वा,लिचात र: गैय र्था । धिमुसा � के� त]र पोर यदि� के&ई पो�रुष किकेसा� के4 हेंCय केर ��त र्था त& मुMCय� �ण्डा उसाके4 पोCने� के& धिमु�त र्था ।

य�ने ने� (ग्रं�के) सा,�केM कित मु#

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प्र चा�ने के � मु# य�ने ने� सा,�केM कित के& साबीसा� मुहें ने और श्रे�ष्ठ मु ने जा त हें�। इसा� ‘‘श्रे�ष्ठ’’ सा ,�केM कितके व्यवास्था 7मु# त्नि�त्रीय के& किकेसा� प्रके र के अधिधुके र प्र प्त नेहेंG र्था । प्र चा�ने य�ने ने� सामु जा मु# त्नि�त्रीय के& हें�य दृधिष्ट सा� ��: 7जा त र्था । य�ने ने� पो]र त्तिर्णके सा किहेंCय मु# ‘‘हिंपोZडा]र ’’ ने मुके एके के ल्पोकिनेके मुकिहें� के उल्��: धिमु�त हें� जा& इसा सा,सा र मु# मु नेवाजा कित के4 सामु�त सामु�य ओं और पोर�शु किनेय के प्रमु�: के रर्ण र्था�, य�ने किनेय के� अने�सा र ने र� जा कित मुने�ष्यत सा� ने�चा� के4 प्र र्ण� र्था� और उसाके स्था ने पो�रूष के4 अपो�क्षा त�च्छेतमु र्था , यद्यकिपो य�ने ने� सा,�केM कित मु# त्नि�त्रीय के� शु�� और � जा के बीहुत मुहेंCवा र्था तर्था उनेके साम्‍मु ने भी� किकेय जा त 7र्था , पोरन्त� बी � के� य�गै मु# य�ने किनेय ने� पो�रूष के� अहें,के र और वा साने द्वा र अपोने� सामु जा मु# त्नि�त्रीय के4 जा& दु�0शु के4 वाहें य�ने ने� सा,�केM कित के� इकितहें सा मु# ��:� जा साकेत� हें�। पो�र� य�ने ने� सामु जा मु# ��हें व्य पो र सामु न्य बी त हें&केर रहें गैई र्था�।

र&मुने सा,�केM कित मु#

जाबी र&मुने सा,�केM कित अपोने� चारमु&Cकेष0 पोर र्था� त& वाहें D पो�रूष के& यहें D तके �वात,त्रीत प्र प्त र्था� किके पोत्निCनेय के47हेंCय तके केरने� के अधिधुके र र्था । ��हें व्य पो र और व्यत्तिभीचा र पोर के&ई प्रकितबीन्ध नेहेंG र्था ।

प्र चा�ने धिमुस्रा� सा,�केM कित मु#

धिमुस्रा के4 प्र चा�ने सा,�केM कित के& किवाश्व के4 आदि�मु सा,�केM कितय मु# साबीसा� उन्नत सा,�केM कित मु ने जा त हें�। वाहें D त्नि�त्रीय7के& शु�त ने के प्रत�के मु ने जा त र्था ।

इ�� मु सा� पो�वा0 अरबी मु#

अरबी मु# इ�� मु के� प्रके शु&�य सा� पो�वा0 त्नि�त्रीय के& अCय,त हें�य और कितर�केM त सामुझु जा त र्था । आमु त]र पोर अरबी सामु जा मु# यहें के� प्रर्था प्रचालि�त र्था� किके यदि� किकेसा� के� घार केन्य के जान्मु हें&त त& उसा� जा�किवात �sने केर दि�य जा त र्था । इ�� मु के� आगैमुने सा� पो�वा0 अरबी सा,�केM कित अने�के प्रके र के4 बी�र इय सा� बी�र� तरहें र्दूकिषत7हें& चा�के4 र्था�।

इ�� मु के4 र]शुने�

इ�� मु ने� ने र� जा त� के& सामु जा मु# ऊँD चा स्था ने दि�य , इ�� मु ने� त्नि�त्रीय के& पो�रूष के� सामु ने अधिधुके र प्र� ने किकेय� और मु�सा�मु ने के& उनेके4 रक्षा केरने� के किने�Hशु दि�य हें�। इ�� मु ने� आजा सा� 1400 वाष0 पो�वा0 त्नि�त्रीय के& उनेके� उलिचात अधिधुके र के� किनेधु 0रर्ण के क्र ,कितके र� केष्�मु उठ य जा& किवाश्व के� सा ,केM कितके और सामु जिजाके इकितहें सा के4 सावा0प्रर्थामु घाटःने हें�। इ�� मु ने� जा& श्रे�ष्ठ स्था ने त्नि�त्रीय के& दि�य हें� उसाके� लि�य� मु�सा�मु ने त्नि�त्रीय सा� अपो�क्षा भी� केरत हें� किके वा� इने अधिधुके र के4 सा�रक्षा भी� केर#गै�।

पो�रूष के� लि�ए किहेंजा बी (पो� 0)

आमु त]र सा� �&गै त्नि�त्रीय के� किहेंजा बी के4 बी त केरत� हें< पोरन्त� पोकिवात्री क़ुy रआने मु# त्नि�त्रीय के� किहेंजा बी सा� पोहें�� पो�रूष के� लि�य� किहेंजा बी के4 चाचा 0 के4 गैई हें�। (किहेंजा बी शुब्� के अर्था0 हें� शुमु0, �ज्जा , आड़, पो� 0, इसाके अत्तिभीप्र य के� वा� त्नि�त्रीय के� चा�हेंर� अर्थावा शुर�र ढं ,केने� वा �� वा�त्री, चा �र अर्थावा बी�रके इCय दि� सा� हें� नेहेंG हें�।)

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पोकिवात्री क़ुy रआने के4 सा�रहें ‘अने�-ने�र’ मु# पो�रूष के� किहेंजा बी के4 इसा प्रके र चाचा 0 के4 गैई हें�=

‘‘हें� नेबी�! ईमु ने र:ने� वा � (मु�सा�मु ने) सा� केहें& किके अपोने� नेNर# बीचा केर र:# और अपोने� शुमु0गै हें के4 रक्षा केर#। यहें उनेके� लि�ए ज़्य � पो के4N तर�के हें�, जा& के� छा वा� केरत� हें< अल्� हें उसासा� बी hबीर रहेंत हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, 24:30)

इ�� मु� लिशुक्षा मु# प्रCय�के मु�सा�मु ने के& किने�Hशु दि�य गैय हें� किके जाबी के&ई पो�रूष किकेसा� �त्री� के& ��: �� त& सा,भीवात= उसाके� मुने मु# किकेसा� प्रके र के बी�र किवाचा र आ जा ए अत= उसा� चा किहेंए किके वाहें त�रन्त नेNर# ने�चा� केर7��।

त्नि�त्रीय के� लि�ए किहेंजा बी

पोकिवात्री क़ुy रआने मु# सा�रहें ‘अने�-ने�र’ मु# आ��शु दि�य गैय हें�=

‘‘हें� नेबी�! मु&धिमुने औरत सा� केहें �&, अपोने� नेNर# बीचा केर र:# और अपोने� शुमु0गै हें के4 सा�रक्षा केर#, और अपोने बीने वा-श्रे,गै र ने दि�: ए,, लिसावा य इसाके� किके वाहें �वात= प्रकेटः हें& जा ए और अपोने� वाक्षा पोर अपोने� ओJकिनेय के� आDचा� डा �� रहें#, वा� अपोने बीने वा-श्रे,गै र ने दि�: ,ए, पोरन्त� उने �&गै के� सा मुने� पोकित, किपोत , पोकितय के� किपोत , पो�त्री…।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, 24:31)

किहेंजा बी के4 6 केसा]दिटःय D

पोकिवात्री क़ुy रआनेके� अने�सा र किहेंजा बी के� लि�ए 6 बी�किनेय �) केसा]दिटःय D अर्थावा शुत� � गै� के4 गैई हें<।

1. सा�मु एD (Extent):प्रर्थामु केसा&टः) त& यहें हें� किके शुर�र के किकेतने भी गै (अकिनेवा य0) ढंके हें&ने चा किहेंए। पो�रूष और त्नि�त्रीय के� लि�य� यहें स्लिस्थाकित त्तिभीन्न हें�। पो�रूष के� लि�ए अकिनेवा य0 हें� किके वा� ने भी� सा� ��केर घा�टःने तके अपोने शुर�र ढं ,के केर र:# जाबीकिके त्नि�त्रीय के� लि�ए चा�हेंर� के� लिसावा ए सामु�त शुर�र के& और हें र्था के& के� ईय7तके ढं ,केने� के आ��शु हें�। यदि� वा� चा हें# त& चा�हेंर और हें र्था भी� ढं ,के साकेत� हें<। के� छा उ��मु के केहेंने हें� किके हें र्था और चा�हेंर शुर�र के वाहें अ,गै हें� जिजानेके& ढं ,केने त्नि�त्रीय के� लि�य� अकिनेवा य0 हें� अर्था 0त त्नि�त्रीय के� किहेंजा बी के किहें�सा हें� और यहें� केर्थाने उत्तमु हें�। शु�ष पो Dचा शुत� त्नि�त्रीय और पो�रूष के� लि�ए सामु ने हें<।

2. धु रर्ण किकेए गैय� वा�त्री ढं)��-ढं �� हें, जिजासासा� अ,गै प्र�शु0ने ने हें& (मुत�बी यहें किके केपोड़� त,गै, केसा� हुए अर्थावा ‘‘किsटिंटःZगै’’ वा �� ने हें।

3. पोहेंने� हुए वा�त्री पो र�शु� ने हें जिजानेके� आर पो र दि�: ई ��त हें&।

4. पोहेंने� गैए वा�त्री इतने� शु&h, चाटःके और भीड़के� र ने हें जा& त्नि�त्रीय के& पो�रूष और पो�रूष के& त्नि�त्रीय के4 ओर आकेर्तिषZत केरत� हें।

5. पोहेंने� गैए वा�त्री के त्नि�त्रीय और पो�रूष सा� त्तिभीन्न प्रके र के हें&ने अकिनेवा य0 हें� अर्था 0त यदि� पो�रूष ने� वा�त्री धु रर्ण किकेय� हें< त& वा� पो�रूष के� सामु ने हें� हें, त्नि�त्रीय के� वा�त्री त्नि�त्रीय जा�सा� हें� हें और उने पोर पो�रूष के� वा�त्री

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के प्रभी वा ने दि�: ई ��। (जा�सा� आजाके� पोत्तिश्चामु के4 नेके� मु# त्नि�त्रीय D पो<टः-टः)शुटः0 इCय दि� धु रर्ण केरत� हें<। इ�� मु मु# इसाके4 साख़्त मुने हें� हें�, और मु�सा�मु ने त्नि�त्रीय के� लि�ए इसा प्रके र के� वा�त्री पोहेंनेने हेंर मु हें�।

6. पोहेंने� गैए वा�त्री ऐसा� हें किके जिजानेमु# ‘के किsर’ के4 सामु नेत ने हें&। अर्था 0त ऐसा� केपोड़� ने पोहेंने� जा ए, जिजानेसा� (के किsर के� किकेसा� सामु�हें) के4 के&ई किवाशु�ष पोहेंचा ने साम्‍बीद्ध हें&। अर्थावा केपोड़ पोर के� छा ऐसा� प्रत�के लिचान्हें बीने�7हें जा& के किsर के� धुमुq के& लिचाखिन्हेंत केरत� हें।

किहेंजा बी मु# पो�� के� अकितरिरक्त केमु0 और आचारर्ण भी� शु धिमु� हें�

लि�बी सा मु# उपोर]क्त 6 शुतq के� अकितरिरक्त साम्प�र्ण0 ‘किहेंजा बी’ मु# पो�र� ने�कितकेत , आचारर्ण, रवा�य और किहेंजा बी केरने� वा �� के4 किनेयत भी� शु धिमु� हें�। यदि� के&ई व्यलिक्त के� वा� शुतq के� अने�सा र वा�त्री धु रर्ण केरत हें� त& वाहें किहेंजा बी के� आ��शु पोर सा�धिमुत रूपो सा� हें� अमु� केर रहें हें&गै । लि�बी सा के� किहेंजा बी के� सा र्था ‘आD: के किहेंजा बी, दि�� के किहेंजा बी, किनेयत और अमु� के किहेंजा बी भी� आवाश्यके हें�। इसा (किहेंजा बी) मु# किकेसा� व्यलिक्त के 7चा�ने , बी&�ने और आचारर्ण तर्था व्यवाहें र साभी� के� छा शु धिमु� हें�।

किहेंजा बी त्नि�त्रीय के& छा�ड़छा ड़ सा� बीचा त हें�

त्नि�त्रीय के� लि�य� किहेंजा बी क्य अकिनेवा य0 किकेय गैय हें�? इसाके एके के रर्ण पोकिवात्री क़ुy रआने के� सा�रहें ‘‘अहेंN बी’’ मु# इसा प्रके र बीत य गैय हें�=

‘‘हें� नेबी�! अपोने� पोत्निCनेय और बी�दिटःय और ईमु ने र:ने� वा �� (मु�सा�मु ने) के4 त्नि�त्रीय सा� केहें �& किके अपोने� चा �र के� पोल्�� �टःके लि�य केर#, यहें मु�ने लिसाबी तर�के हें� त किके वा� पोहेंचा ने �� जा ए,, और ने सात ई जा ए,। अल्� हें ग़ैफ� र वा रहें�मु (क्षामु केरने� वा � और �य वा ने) हें�। (पोकिवात्री क़ुy रआने , 33:59)

पोकिवात्री क़ुy रआने के4 इसा आयत सा� यहें स्पेष्ट हें� किके त्नि�त्रीय के� लि�य� पो� 0 इसा के रर्ण अकिने7वा य0 किकेय गैय त किके7वा� साम्‍मु किनेत ढं,गै सा� पोहेंचा ने �� जा ए, और छा�ड़छा ड़ सा� भी� सा�रत्तिक्षात रहें साके# ।

जा�ड़वा D बीहेंने के4 धिमुसा �

‘‘मु ने ��जिजाए किके �& जा�ड़वा D बीहेंने# हें<, जा& सामु ने रूपो सा� सा�न्�र भी� हें<। उनेमु# एके ने� पो�र्ण0रूपो सा� इ�� मु� किहेंजा बी किकेय हुआ हें�, उसाके सा र शुर�र (चा �र अर्थावा बी�रके� सा�) ढंके हुआ हें�। र्दूसार� जा�ड़वा D बीहेंने ने� पोत्तिश्चामु� वा�त्री धु रर्ण किकेय� हुए हें<, अर्था 0त धिमुने� �केटः0 अर्थावा शु टःसा0 इCय दि� जा& पोत्तिश्चामु मु# प्रचालि�त सा मु न्य पोरिरधु ने हें�। अबी मु ने ��जिजाए किके गै�� के� ने�क्केड़ पोर के&ई आवा र , ��च्च �s, गै य बी�मु शु बी�ठ हें�, जा& आत� जा त� �ड़किकेय के& छा�ड़त हें�, h सा त]र पोर य�वा �ड़किकेय के&। अबी आपो बीत ईए किके वाहें पोहें�� किकेसा� त,गै केर�गै ? इ�� मु� किहेंजा बी वा �� �ड़के4 के& य पोत्तिश्चामु� वा�त्री वा �� �ड़के4 के&?’’

N किहेंर सा� बी त हें� किके उसाके पोहें� �क्ष्य वाहें� �ड़के4 हें&गै� जा& पोत्तिश्चामु� फ� �शुने के� केपोड़ मु# घार सा� किनेके�� हें�। इसा प्रके र के� आधु�किनेके वा�त्री पो�रूष के� लि�ए प्रCयक्षा किनेमु,त्रीर्ण हें&त� हें<। अत= यहें लिसाद्ध हुआ किके पोकिवात्री के� रआने ने� किबील्के� � साहें� sरमु य हें� किके ‘‘किहेंजा बी �ड़किकेय के& छा�ड़छा ड़ इCय दि� सा� बीचा त हें�।’’

दुष्केमु0 के �ण्डा - मुMCय�

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इ�� मु� शुर�अत के� अने�सा र यदि� किकेसा� व्यलिक्त पोर किकेसा� किवावा किहेंत �त्री� के� सा र्था दुष्केमु0 (शु र�रिरके साम्‍बीन्ध) के अपोर धु लिसाद्ध हें& जा ए त& उसाके� लि�ए मुMCय��ण्डा के प्र वाधु ने हें�। बीहुत के& इसा ‘‘क्र� र �ण्डा व्यवास्था ’’ पोर आश्चाय0 हें�। के� छा �&गै त& यहें D तके केहें ��त� हें< किके इ�� मु एके किने�0य� और क्र� र धुमु0 हें�, नेऊँजा�किबील्� हें (ईश्वर अपोने� शुरर्ण मु# र:�) मु<ने� सा<केड़& ग़ै�र मु�स्लि��मु पो�रूष सा� यहें सा � सा प्रश्नों किकेय किके ‘‘मु ने �# किके ईश्वर ने केर�, आपोके4 अपोने� बीहेंने, बी�टः) य मु D के� सा र्था के&ई दुष्केमु0 केरत हें� और उसा� उसाके� अपोर धु के �ण्डा ��ने� के� लि�ए आपोके� सा मुने� � य जा त हें� त& आपो क्य केर#गै�?’’ उने साभी� के यहें उत्तर र्था किके ‘‘हेंमु उसा� मु र डा �#गै�।’’ के� छा ने� त& यहें D तके केहें , ‘‘हेंमु उसा� य तने ए, ��त� रहें#गै�, यहें D तके किके वाहें मुर जा ए।’’ तबी मु<ने� उनेसा� पो�छा , ‘‘यदि� के&ई व्यलिक्त आपोके4 मु D, बीहेंने, बी�टः) के4 इज़्Nत ��टः �� त& आपो उसाके4 हेंCय केरने� के& त�य र हें<, पोरन्त� यहें� दुघा0टःने किकेसा� अन्य के4 मु D, बीहेंने, बी�टः) के� सा र्था घाटः) हें& त& उसाके� लि�ए मुMCय��ण्डा प्र�त किवात केरने क्र� रत और किने�0यत के� सा� हें& साकेत� हें�? यहें �&हेंर मु ने�ण्डा क्य हें�?’’

त्नि�त्रीय के �तर ऊँD चा केरने� के पोत्तिश्चामु� � वा किनेर धु र हें�

ने र� जा कित के4 �वात,त्रीत के� किवाषय मु# पोत्तिश्चामु� जागैत के4 � वा�� र� एके ऐसा आडा,बीर हें� जा& �त्री� के� शु र�रिरके उपोभी&गै, आCमु के हेंनेने तर्था �त्री� के& प्रकितष्ठ और साम्‍मु ने सा� वा,लिचात केरने� के� लि�ए रचा गैय हें�। पोत्तिश्चामु� सामु जा के � वा हें� किके उसाने� �त्री� के& प्रकितष्ठ प्र� ने के4 हें�, वा �तकिवाकेत इसाके� किवापोर�त हें�। वाहें D �त्री� के& ‘‘आN �)’’ के� ने मु पोर बी�र� तरहें अपोमु किनेत किकेय गैय हें�। उसा� ‘‘धिमु�ट्रा�सा’’ (हेंर प्रके र के4 सा�वा केरने� वा �� � सा�) तर्था ‘‘सा&सा इटः) बीटःरफ़्� ई’’ बीने केर वा साने के� पो�जा रिरय तर्था ��हें व्य पो रिरय के खि:�]ने बीने दि�य गैय हें�। यहें� वा� �&गै हें< जा& ‘‘आटः0’’ और ‘‘केल्चार’’ के� पो�q मु# लिछापोकेर अपोने केर&बी र चामुके रहें� हें<।

अमुर�के मु� बी� Cके र के4 �र सावा 0धिधुके हें�

सा,य�क्त र ज्य अमुर�के (U.S.A.)के& किवाश्व के साबीसा� अधिधुके प्रगैकितशु�� ��शु सामुझु जा त हें�। पोरन्त� यहें� वाहें मुहें ने ��शु हें� जाहें D बी� Cके र के4 घाटःने ए, पो�र� सा,सा र के4 अपो�क्षा साबीसा� अधिधुके हें&त� हें<। एs.बी�.आई के4 रिरपो&टः0 के� अने�सा र 1990 ई. मु# के� वा� अमुर�के मु# प्रकित दि�ने औसातने 1756 बी� Cके र के4 घाटःने ए, हुईं। उसाके� बी � के4 रिरपो&टः0सा मु# (वाष0 नेहेंG लि�: ) प्रकितदि�ने 1900 बी� Cके र के ण्डा �जा0 हुए। सा,भीवात= यहें आ,केड़�71992, 1993 ई. के� हें और यहें भी� सा,भीवा हें� किके इसाके� बी � अमुर�के4 पो�रूष बी� Cके र के� बी र� मु# और ज़्य � ‘‘बीहें दुर’’ हें& गैए हें।

‘‘वा �तवा मु# अमुर�के4 सामु जा मु# ��हें व्य पो र के& केषने�ने� �जा 0 हें लिसा� हें�। वाहें D के4 वा�श्य ए, सारके र के& किवाधिधुवात� टः�क्सा ��त� हें<। अमुर�के4 के ने�ने मु# ‘बी� Cके र’ ऐसा� अपोर धु के& केहें जा त हें� जिजासामु# शु र�रिरके साम्‍बीन्ध मु# एके पोक्षा (�त्री� अर्थावा पो�रूष) के4 साहेंमुकित ने हें&। यहें� के रर्ण हें� किके अमुर�के मु# अकिवावा किहेंत जा&ड़7के4 सा,ख्य � : मु# हें� जाबीकिके �वा�च्छे सा� व्य त्तिभीचा र अपोर धु नेहेंG मु ने जा त । अर्था 0त इसा प्रके र के� �वा�च्छे चा र और व्यत्तिभीचा र के& भी� बी� त� दुष्केमु0 के4 श्रे�र्ण� मु# � य जा ए त& के� वा� अमुर�के मु# हें� � : �त्री�-पो�रूष ‘‘जिNने ’’ जा�सा� मुहें पो पो मु# सा,�gने हें<।’’ (अने�वा �के)

Nर केल्पोने के4जिजाए किके अमुर�के मु# इ�� मु� किहेंजा बी के4 पो बीन्�) के4 जा त� हें� जिजासाके� अने�सा र यदि� किकेसा� पो�रूष के4 दृधिष्ट किकेसा� पोर�त्री� पोर पोड़ जा ए त& वाहें त�र,त आD:# झु�के ��। प्रCय�के �त्री� पो�र� तरहें सा� इ�� मु� किहेंजा बी केरके� घार सा� किनेके��। किफर यहें भी� हें& किके यदि� के&ई पो�रूष बी� Cके र के �&ष� पो य जा ए त& उसा�

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मुMCय��ण्डा दि�य जा ए, मु< आपोसा� पो�छात हूँD किके ऐसा� हें � त मु# अमुर�के मु# बी� Cके र के4 �र बीJ�गै�, सा मु न्य रहें�गै� अर्थावा घाटः�गै�?

इ���मु� शुर�अत के� � गै� हें&ने� सा� बी� Cके र घाटः#गै�

यहें �वा भी किवाके सा� बी त हें� किके जाबी इ�� मु� शुर�अत के के ने�ने � गै� हें&गै त& उसाके� साके र Cमुके पोरिरर्ण मु भी� शु�ध्र हें� सा मुने� आने� �गै#गै�। यदि� इ�� मु� के ने�ने किवाश्व के� किकेसा� भी गै मु# भी� � गै� हें& जा ए, चा हें� अमुर�के 7हें&, अर्थावा य�र&पो, मु नेवा सामु जा के& र हेंत के4 सा Dसा धिमु��गै�। किहेंजा बी �त्री� के� साम्‍मु ने और प्रकितष्ठ के& केमु नेहेंG केरत वारने� इसासा� त& �त्री� के साम्‍मु ने बीJत हें�। पो� 0 मुकिहें� ओं के4 इज़्Nत और ने रिरCवा के4 सा�रक्षा केरत हें�।

‘‘हेंमु र� ��शु भी रत मु# प्रगैकित और ज्ञा ने के� किवाके सा के� ने मु पोर सामु जा मु# फ� �शुने, नेgनेत और �वा�च्छे चा र बीJ 7हें�, पोत्तिश्चामु� सा,�केM कित के प्रसा र टः).वा� और लिसाने�मु आदि� के� प्रभी वा सा� जिजातने� नेgनेत और �वाच्छेन्�त बीJ) हें� उसासा� ने के� वा� किहेंन्र्दू सामु जा के सा,भ्रु ,त वागै0 बीग्लिल्के मु�सा�मु ने के भी� एके पोJ लि�: h�शुहें � तब्क़ु बी�र� तरहें प्रभी किवात हुआ हें�। आN �) और प्रगैकितशु��त के� ने मु पोर पोर,पोर गैत भी रत�य सामु जा के4 मु न्यत ए, अ�त-व्य�त हें& रहें� हें<, अन्य अपोर धु के� अकितरिरक्त बी� Cके र के4 घाटःने ओं मु# त�N� सा� वाMजिद्ध हें& रहें� हें�। चा�,किके7हेंमु र� ��शु के �ण्डाकिवाघा ने पोत्तिश्चामु� सा,�केM कित सा� प्रभी किवात हें� अत= इसामु# भी� �त्री�-पो�रूष के& �चा�च्छे और आपोसा� साहेंमुकित सा� दुष्केमु0 केरने� के& �ण्डाने�य अपोर धु नेहेंG मु ने जा त , भी रत�य के ने�ने मु# बी� Cके र जा�सा� जाघान्य अपोर धु के4 साN भी� के� छा वाषq के4 के� � सा� अधिधुके नेहेंG हें� तर्था न्य य प्रकिक्रय इतने� किवालिचात्री और जादिटः� हें� किके बीहुत केमु अपोर धिधुय के& �ण्डा धिमु� पो त हें�। इसा प्रके र के� अमु नेवा�य अपोर धु के& मु नेवा सामु जा सा� के� वा� इ�� मु� के ने�ने द्वा र हें� र&के जा साकेत हें�। इसा सा,�भी0 मु# इ�� मु और मु�सा�मु ने के� केट्टर किवार&धु� भी जापो ने�त श्रे� � � केM ष्र्ण आडावा ने� ने� बी� Cके र के� अपोर धिधुय के& मुMCय� �ण्डा ��ने� के सा�झु वा जिजासा प्रके र दि�य हें� उसा सा� यहें� सान्��शु धिमु�त हें� किके इ�� मु� के ने�ने क्र� रत और किने�0यत पोर नेहेंG बीग्लिल्के �वा भी किवाके न्य य पोर आधु रिरत हें�। यहें� नेहेंG के� वा� इ�� मु� शुर�अत के� उसा�� हें� प्रगैकित के� ने मु पोर किवाने शु के� गैत0 मु# किगैरत� जा रहें� मु नेवात के& तबी हें हें&ने� सा� बीचा साकेत� हें<।’’ (अने�वा �के)

4. क्य इ�� मु त�वा र के� N&र सा� फ� � हें�?

प्रश्नों= यहें के� सा� सा,भीवा हें� किके इ�� मु के& शु ,कित के धुमु0 मु ने जा ए क्यकिके यहें त& त�वा र (य�द्ध और रक्तपो त) के� द्वा र फ� � हें�?

उत्तर= अधिधुके ,शु ग़ै�र मु�स्लि��मु के4 एके आमु लिशुके यत हें� किके यदि� इ�� मु त केष्त के� इ�त�मु � सा� ने फ� � हें&त त& इसा सामुय उनेके� अने�य धियय के4 सा,ख्य इतने� अधिधुके (अरबी मु#) हेंरकिगैN नेहेंG हें&त�। आगै� �जा0 किकेय� जा रहें� तथ्य यहें स्पेष्ट केर#गै� किके इ�� मु के� त�N� सा� किवाश्वव्य पो� फ� � वा मु# त�वा र के4 शुलिक्त नेहेंG वारने� उसाके4 साCयत तर्था बी�जिद्ध और किवावा�केपो�र्ण0 त र्तिकेZके प्रमु र्ण इसाके� मु�ख्य के रर्ण हें�।

इ�� मु के अर्था0 हें� ‘शु ,कित’ अरबी� भी ष मु# इ�� मु शुब्� ‘सा� मु’ सा� बीने हें� जिजासाके अर्था0 हें�, सा� मुत� और शु ,कित। इ�� मु के एके अन्य अर्था0 हें� किके अपोने� इच्छे और इर � के& ईश्वर (अल्� हें) के� आधु�ने केर दि�य जा ए। अर्था 0त इ�� मु शु ,कित के धुमु0 हें� और यहें शु ,कित (सा�: सा,त&ष और सा�रक्षा ) तभी� प्र प्त हें& साकेत� हें� जाबी मुने�ष्य अपोने� आग्लि�तCवा, इच्छे ओं ओर आके ,क्षा ओं के& ईश्वर के� आधु�ने केर �� अर्था 0त �वा,य के& पो�र� तरहें सामुर्तिपोZत केर ��। केभी�-केभी र शु ,कित बीने ए र:ने� के� लि�ए बी� प्रय&गै केरने पोड़त हें�

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इसा सा,सा र के प्रCय�के व्यलिक्त शु ,कित और एकेत स्था किपोत र:ने� के� पोक्षा मु# नेहेंG हें�। ऐसा� अने�के �&गै हें< जा& अपोने� किनेकिहेंत अर्थावा प्रCयक्षा �वा र्थाq के4 पो�र्तितZ के� लि�ए शु ,कित व्यवास्था मु# व्य वाधु ने उCपोन्न केरत� रहेंत� हें<, अत= के� छा अवासार पोर बी� प्रय&गै केरने पोड़त हें�। यहें� के रर्ण हें� किके प्रCय�के ��शु मु# पो�लि�सा किवाभी गै हें&त हें� जा& अपोर धिधुय और सामु जा किवार&धु� तCवा के� किवारुद्ध शुलिक्त के प्रय&गै केरत हें� त किके ��शु मु# शु ,कित व्यवास्था बीने� रहें�। इ�� मु शु ,कित के सान्��शु ��त हें�। इसा� के� सा र्था वाहें हेंमु# यहें लिशुक्षा भी� ��त हें� किके अन्य य के� किवारुद्ध �ड़#। अत= के� छा अवासार पोर अन्य य और अर जाकेत के� किवारुद्ध बी� प्रय&गै आवाश्यके हें& जा त हें�। किवादि�त हें& किके इ�� मु मु# शुलिक्त के प्रय&गै के� वा� और के� वा� शु ,कित तर्था न्य य के4 स्था पोने एवा, किवाके सा के� लि�ए हें� किकेय जा साकेत हें�।

इकितहें साके र ��सा� ओ��र� के4 र य

इ�� मु त�वा र के� N&र सा� फ� � , इसा सा मु न्य भ्रु ,कित के साटः)के जावा बी प्रलिसाद्ध इकितहें साके र ��सा� ओ��र� ने� अपोने� किवाख्य त पो��तके ‘‘इ�� मु ऐटः दि� क्र सा र&डा’’ पोMष्ठ मु# इसा प्रके र दि�य हें�।

‘‘इकितहें सा सा� लिसाद्ध हें&त हें� किके �ड़ के� मु�सा�मु ने के� सामु�त किवाश्व मु# फ� �ने� और किवाजिजात जा कितय के& त�वा र के� N&र पोर इ�� मु मु# प्रकिवाष्ट केरने� के4 केपो&�-केस्लिल्पोत केहें ने� उने मुनेगैJ,त �,तकेर्था ओं मु# सा� एके हें� जिजान्हें# इकितहें साके र सा��वा सा� �&हेंर त� आ रहें� हें<।’’

मु�सा�मु ने ने� स्पे�ने पोर 800 वाषq तके शु साने किकेय

स्पे�ने पोर मु�सा�मु ने के 800 वाषq तके एकेछात्री शु साने रहें हें� पोरन्त� स्पे�ने मु# मु�सा�मु ने ने� वाहें D के� �&गै के धुमु0 पोरिरवात0ने अर्था 0त मु�सा�मु ने बीने ने� के� लि�ए केभी� त�वा र के उपोय&गै नेहें� किकेय । बी � मु# सा��बी� ईसा ईय ने� स्पे�ने पोर केष्ब्N केर लि�य और मु�सा�मु ने के& वाहें D सा� किनेके � बी हेंर किकेय , तबी यहें स्लिस्थाकित र्था� किके स्पे�ने मु# किकेसा� एके मु�सा�मु ने के& भी� यहें अने�मुकित नेहेंG र्था� किके वाहें आN �) सा� अN ने हें� �� साकेत ।

एके केर&ड़ 40 � : अरबी आजा भी� के&पोदिटःके ईसा ई हें<

मु�सा�मु ने किवागैत� 1400 वाषq सा� अरबी के� शु साके रहें� हें<। बी�चा के� के� छा वाष0 ऐसा� हें< जाबी वाहें D फ्ऱी ,सा�सा� अधिधुके र रहें पोरन्त� के� � धिमु� केर अरबी के4 धुरत� पोर मु�सा�मु ने 14 शुत खिब्�य सा� शु साने केर रहें� हें<। इसाके� बी वाजा�� वाहें D एके केर&ड़ 40 � : के&पोदिटःके किक्रत्तिश्चायने हें<, अर्था 0त वाहें ईसा ई जा& पो�J) �र पो�J) वाहें D रहेंत� चा�� आ रहें� हें<। यदि� मु�सा�मु ने ने� त�वा र इ�त�मु � के4 हें&त� त& उसा क्षा�त्री मु# के&ई एके अरबीवा सा� भी� ऐसा नेहेंG हें&त जा& ईसा ई रहें जा त ।

भी रत मु# 80 प्रकितशुत सा� अधिधुके ग़ै�र मु�स्लि��मु हें<

भी रत मु# मु�सा�मु ने ने� �गैभीगै 1000 वाषq तके शु साने किकेय हें�। यदि� वा� चा हेंत�, और उनेके� पो सा इतने� शुलिक्त र्था� किके भी रत मु# बीसाने� वा �� प्रCय�के ग़ै�र मु�स्लि��मु के& (त�वा र के� N&र पोर) इ�� मु �वा�के र केरने� पोर किवावाशु केर साकेत� र्था�। आजा भी रत मु# 80 प्रकितशुत सा� अधिधुके ग़ै�र मु�स्लि��मु हें<। इतने� बीड़� गै��र मु�स्लि��मु जानेसा,ख्य यहें स्पेष्ट गैवा हें� �� रहें� हें� किके उपोमुहें द्वा)पो मु# इ�� मु त�वा र के� N&र पोर हेंरकिगैN नेहेंG फ� � ।

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इ,डा&ने�लिशुय और मु��लिशुय

जानेसा,ख्य के� आधु र पोर इ,डा&ने�लिशुय किवाश्व के साबीसा� बीड़ इ�� मु� ��शु हें�। मु��लिशुय मु# भी� मु�सा�मु ने बीहुसा,ख्यके हें<। यहें पो�छा जा साकेत हें� किके वाहें के]ने सा� सा�ने र्था� जिजासाने� (साशु�त्री हें&केर) इ,डा&ने�लिशुय और मु��लिशुय पोर आक्रमुर्ण किकेय र्था और वाहें D इ�� मु फ� � ने� के� लि�ए मु�सा�मु ने के4 के]ने सा� य�द्ध शुलिक्त के इसामु# हें र्था हें�?

अफ्री4के के पो�वा� सामु�द्र तटः

इसा� प्रके र अफ्ऱी�के4 मुहें द्वा)पो के� पो�वा� सामु�द्रतटः के� क्षा�त्री के� सा र्था-सा र्था इ�� मु के त�व्रगैकित सा� किवा�त र हुआ हें�। एके बी र किफर वाहें� प्रश्नों सा मु ने� आत हें� किके यदि� इ�� मु त�वा र के� N&र सा� फ� � हें� त& आपोत्तित्त केरने� वा �� इकितहें सा के तके0 ��केर बीत ए, किके किकेसा ��शु के4 मु�सा�मु ने सा�ने उने क्षा�त्री के& जा�तने� और वाहें D के� �&गै7के& मु�सा�मु ने बीने ने� गैई र्था�?

र्था मुसा के र� य�

प्रलिसाद्ध इकितहें साके र र्था मुसा के र� य� अपोने� पो��तके ‘‘हें�र&N एण्डा हें�र& वार्शिशुZपो’’ मु# इ�� मु फ� �ने� के� किवाषय मु# भ्रु ,कित के सामु धु ने केरत� हुए लि�:त हें�=

‘‘त�वा र त& हें�, पोरन्त� आपो त�वा र ��केर वाहें D जा ए,गै�? प्रCय�के नेई र य के4 शु�रूआत अल्पोमुत मु# हें&त� हें�। (आर,भी मु#) के� वा� एके व्यलिक्त के� मुग्लि�तष्के मु# हें&त� हें�, यहें सा&चा वाहेंG सा� पोनेपोत� हें�। इसा किवाश्व के के� वा� एके व्यलिक्त जा& इसा बी त पोर किवाश्व सा र:त हें�, के� वा� एके व्यलिक्त जा& शु�ष सामु�त व्यलिक्तय के� सा मुने� हें&त हें�, किफर (यदि�) वाहें त�वा र उठ �� और (अपोने� बी त) के प्रचा र केरने� के प्रय सा केरने� �गै� त& वाहें र्था&ड़� सा� साफ�त हें� पो साके� गै । आपो के� पो सा अपोने� त�वा र अवाश्य हें&ने� चा किहेंए पोरन्त� के� � धिमु� केर के&ई वा�त� उतने हें� फ� ��गै� जिजातने वाहें अपोने� त]र पोर फ� � साकेत� हें�।’’

�)ने (इ�� मु) मु# के&ई Nबीर��त� नेहेंG

इ�� मु किकेसा त�वा र द्वा र फ� � ? यदि� मु�सा�मु ने के� पो सा यहें त�वा र हें&त� और उन्हेंने� इ�� मु फ� � ने� के� 7लि�य� उसाके प्रय&गै किकेय भी� हें&त तबी भी� वा� उसाके प्रय&गै नेहेंG केरत� क्यकिके पोकिवात्री क़ुy रआने के स्पेष्ट आ��शु हें�=

‘‘�)ने के� बी र� मु# के&ई Nबीर��त� नेहेंG हें�, साहें� बी त ग़ै�त बी त सा� छा Dटःकेर र: �) गैई हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, 2:256)

ज्ञा ने, बी�जिद्ध और तके0 के4 त�वा र

वा �तकिवाकेत यहें हें� किके जिजासा त�वा र ने� इ�� मु के& फ� � य , वाहें ज्ञा ने, बी�जिद्ध और तके0 के4 त�वा र हें�। यहें� वाहें त�वा र हें� जा& मुने�ष्य के� हृ�य और मुग्लि�तष्के के& किवाजिजात केरत� हें�। पोकिवात्री के� रआने के� सा�रहें ‘अने�-नेह्ल’ मु# अल्� हें के sरमु ने हें�=

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‘‘हें� नेबी�! अपोने� रबी के� र �त� के4 तरs � वात �&, ज्ञा ने और अच्छे� उपो��शु के� सा र्था �&गै सा� तके0 -किवातके0 केर&, ऐसा� ढं,गै सा� जा& बी�हेंतर�ने हें&। त�म्‍हें र रबी हें� अधिधुके बी�हेंतर जा नेत हें� किके के]ने र हें सा� भीटःके हुआ हें� और के]ने सा�धु� र �त� पोर हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, 16:125)

इ�� मु 1934 सा� 1984 के� बी�चा किवाश्व मु# सावा 0धिधुके फ� �ने� वा � धुमु0 र�डासा0 डा यजा��टः, किवाशु�ष ,के 1984 मु# प्रके लिशुत एके ��: मु# किवाश्व के� प्रमु�: धुमुq मु# फ� � वा के� आ,केड़� दि�य� गैय� हें< जा& 1934 सा� 1984 तके के� 50 वाषq के ब्य&र ��त� हें<। इसाके� पोश्चा त यहें ��: ‘दि� प्��ने टः¬र्था’’ ने मुके पोकित्रीके मु# भी� प्रके लिशुत हुआ। इसा आके�ने मु# इ�� मु सावा�पोरिर र्था जा& 50 वाषq मु# 235 प्रकितशुत बीJ र्था । जाबीकिके ईसा ई धुमु0 के किवा�त र के� वा�747 प्रकितशुत रहें । क्य यहें पो�छा जा साकेत हें� किके इसा शुत ब्�) मु# के]ने सा य�द्ध हुआ र्था जिजासाने� केर&ड़ �&गै के& धुमु0 पोरिरवात0ने पोर बी ध्य केर दि�य ?

इ�� मु य�र&पो और अमुर�के मु# साबीसा� अधिधुके त�N� सा� फ� �ने� वा � धुमु0 हें� इसा सामुय इ�� मु अमुर�के मु# साबीसा� अधिधुके त�N� सा� फ� �ने� वा � धुमु0 हें�। इसा� प्रके र य�र&पो मु# भी� त�N गैकित सा� फ� �ने� वा � धुमु0 भी� इ�� मु7हें� हें�। क्य आपो बीत साकेत� हें< किके वाहें के]ने सा� त�वा र हें� जा& पोत्तिश्चामु के� �&गै& के& इ�� मु �वा�के र केरने� पोर7किवावाशु केर रहें� हें�।

डा . पो�टःसा0ने के मुत डा . जा&Ns एडामु पो�टःसा0ने ने� किबील्के� � ठ�के केहें हें� किके=

‘‘जा& �&गै इसा बी त सा� भीयभी�त हें< किके ऐटःमु� हेंलिर्थाय र एके ने एके दि�ने अरबी के� हें र्था मु# चा�� जा ए,गै�, वा� यहें सामुझु पो ने� मु# असामुर्था0 हें< किके इ�� मु� बीमु त& किगैर य जा चा�के हें�, यहें बीमु त& उसा� दि�ने किगैर दि�य गैय र्था जिजासा दि�ने मु�हेंम्‍मु� साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु के जान्मु हुआ र्था ।’’

5. मु�सा�मु ने रूदिJवा �) ;(Fundamentalist) और आत,केवा �) हें<

प्रश्नों= अधिधुके ,शु मु�सा�मु ने रूदिJवा �) और आत,केवा �) हें<?

उत्तर= यहें वाहें प्रश्नों हें� जा& मु�सा�मु ने सा� प्र य= सा�धु� अर्थावा सा ,के� कितके रूपो सा� किवाश्व सामु�य ओं अर्थावा धुमु0 पोर7चाचा 0 के� �]र ने किकेय जा त हें�। मु�सा�मु ने के� किवारुद्ध ऐसा� मु नेलिसाकेत मु�किडाय मु� किनेर,तर व्यक्त के4 जा त� हें� और उसाके� सा र्था मु�सा�मु ने के� किवाषय मु# आधु रहें�ने जा नेके र� भी� जा&ड़ �) जा त� हें�।

वा �तवा मु# यहें� वाहें ग़ै�त-सा�त जा नेके र� और झु�ठ� प्रचा र हें< जा& मु�सा�मु ने के� सा र्था भी��भी वा और उनेके� किवारुद्ध हिंहेंZसाके के य0वा किहेंय के� पो�छा� हें&त� हें<। इसा जागैहें मु< अमुर�के4 मु�किडाय मु# मु�सा�मु ने के� किवारुद्ध Nहेंर���7प्रचा र के एके उ� हेंरर्ण प्र�त�त केरने चा हूँ,गै ।

ओके� हेंमु बीमु धुमु के� के� त�र,त बी � अमुर�के4 मु�किडाय ने� यहें प्र&पो�गैण्डा आर,भी केर दि�य किके इसा हेंमु�� के� पो�छा� ‘‘मुध्य पो�वा0 के4 सा जिNशु’’ हें�। के� छा सामुय पोश्चा त असा�� अपोर धु� पोकेड़ गैय जा& साचामु�चा उसा के ण्डा के जिNम्‍मु�� र र्था , पोत चा� किके वाहें अमुर�के4 साशु�त्री सा�ने सा� साम्‍बीन्ध र:ने� वा � सा�किनेके र्था ।

अबी हेंमु रूदिJवा � (Fundamentalism) और आत,केवा � के� आर&पो के किवाश्ले�षर्ण केर#गै�।

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शुब्� ‘रूदिJवा �’ के अर्था0

रूदिJवा �) अर्थावा s, डा मु#टःलि��टः ऐसा के&ई भी� व्यलिक्त हें&त हें� जा& किकेसा� किवाशु�ष किवाचा रधु र अर्थावा आचा र सा,किहेंत सा� साम्‍बीद्ध रहेंत� हुए उसाके� अने�सा र अमु� केरत हें�। जा�सा� किकेसा� व्यलिक्त के� के� शु� डा क्टःर हें&ने� के� लि�ए आवाश्यके हें� किके वाहें मु�किडाके� ने ��जा� और लिचाकिकेCसा किवाज्ञा ने के4 मु]लि�के बी त के4 जा नेके र� र:त हें&7और उसा पोर पो�र� तरहें अमु� भी� केरत हें&। र्दूसार� शुब्� मु# उसा� लिचाकिकेCसा किवाज्ञा ने य मु�किडाके� सा इ,सा के ‘‘रूदिJवा �)’’ हें&ने चा किहेंए। इसा� प्रके र एके के� शु� गैत्तिर्णत शु �त्री� हें&ने� के� लि�ए उसा व्यलिक्त के& गैत्तिर्णत के साम्प�र्ण0 ज्ञा ने प्र प्त हें& और उसाके� किनेयमु के� अने�सा र हें� वाहें अपोने के य0 केरत हें&, अर्था 0त उसा� गैत्तिर्णत के ‘‘रूदिJवा �)’’ हें&ने चा किहेंए। इसा� प्रके र एके अच्छे वा�ज्ञा किनेके हें&ने� के� लि�य� यहें आवाश्यके हें� किके उक्त व्यलिक्त के& किवाज्ञा ने के4 बी�किनेय �) बी त के भी�� प्रके र ज्ञा ने हें& और वाहें उसा ज्ञा ने के पो बीन्� हें&, अर्था 0त अच्छे वा�ज्ञा किनेके हें&ने� के� लि�य� उसा� किवाज्ञा ने के ‘‘रूदिJवा �)’’ हें&ने चा किहेंए।

साभी� रूदिJवा �) सामु ने नेहेंG हें&त�

सामु�त प्रके र के� रूदिJवा दि�य के किवावारर्ण सा,क्षा�पो मु# नेहेंG किकेय जा साकेत । इसासा� अत्तिभीप्र य यहें हें� किके सामु�त रूदिJवा दि�य अर्थावा sण्डा मु#टः लि��टः के& सामु ने रूपो सा� अच्छे य बी�र नेहेंG केष्रा र दि�य जा साकेत । वागै�केरर्ण के� लि�ए आवाश्यके हें� किके उसा किवाचा रधु र अर्थावा साकिक्रयत के& ��: जा ए जिजासा सा� उसा रूदिJवा �) के साम्‍बीन्ध हें�। जा�सा� एके रूदिJवा �) चा&र अर्थावा डाके� त सामु जा के� लि�ए हें किनेके रके हें< अत= वाहें अकिप्रय हें&गै , इसाके� किवापोर�त एके रूदिJवा �) डा क्टःर य साजा0ने अपोने� के य0 सा� सामु जा के& � भी पोहु,चा त हें� अत= उसा� साम्‍मु ने के4 दृधिष्ट सा� ��: जा साकेत हें�।

मु�झु� गैवा0 हें� किके मु< रूदिJवा �) मु�सा�मु ने हूँD

मु< sण्डा मु#टः लि��टः मु�सा�मु ने हूँD, (आपो अपोने� शुब्� मु# रूदिJवा �) केहें साकेत� हें<) अल्� हें के4 केM पो हें� किके मु< इ�� मु के� मु]लि�के किनेयमु के4 जा नेके र� र:त हूँD, उनेके4 रक्षा केरत हूँD और उन्हेंG किनेयमु पोर अमु� केरने� के प्रय सा केरत हूँD। एके साच्च� मु�सा�मु ने के& अपोने� sण्डा मु#टःलि��टः अर्थावा रूदिJवा �) केहें� जा ने� पोर के� किपो �स्लिज्जात नेहेंG हें&ने चा किहेंए। मु�झु� मु�सा�मु ने sण्डा मु#टःलि��टः अर्थावा रूदिJवा �) हें&ने� पोर गैवा0 हें�। मु< जा नेत हूँD किके इ�� मु के� मु]लि�के किनेयमु हें� सामु�त मु नेवाजा कित और सामु�त सा,सा र के� लि�ए � भीके र� हें<। इ�� मु के4 बी�किनेय �) बी त मु# के&ई एके बी त भी� ऐसा� नेहेंG हें� जा& के� � धिमु� केर मु नेवा सामु जा हें�त� अकिहेंतकेर हें&। बीहुत सा� �&गै इ�� मु के� बी र� मु# ग़ै�तsहेंमु� के लिशुके र हें<। वा� सामुझुत� हें< किके इ�� मु के4 केई बी त# अने�लिचात हें< तर्था न्य यसा,गैत नेहेंG हें<। इसाके के रर्ण इ�� मु के� साम्‍बीन्ध मु# उनेके अल्पोज्ञा ने और ग़ै�त जा नेके र� हें�। यदि�7इ�� मु के :��� मुने सा� किवावा�चाने Cमुके अध्ययने किकेय जा ए त& इसा साCयत सा� पो� यने केर पो ने सा,भीवा हें� नेहेंG रहेंत किके वा �तवा मु# इ�� मु सा मु�किहेंके एवा, व्यलिक्तगैत �&ने आधु र पोर मु नेवाजा कित हें�त� पो�र्ण0तय केल्य र्णके र� हें�।

शुब्� sण्डा मु#टः लि��टः के अने�वा �

अ,ग्रं�N� भी ष के� इसा शुब्� के वा �तकिवाके अर्था0 हें� किकेसा� किवाचा रधु र के� मु]लि�के किनेयमु के� प्रकित केदिटःबीद्धत जिजासा� रूदिJ अर्था 0त पोर,पोर और पो�र ने� उसा�� पोर चा�ने� वा � रूदिJवा �) केहें जा त हें�। उर्दू0 मु# Fundamentalism अर्थावा रूदिJवा � के अर्था0 हें� ‘बी�किनेय � पोर�त’। वा�ब्�टःN0 किडाक्शनेर� के� अने�सा र �रअ�� sण्डा मु#न्टःलि�ज़्मु अमुर�के मु# प्र&टः��टः#टः ईसा ईय द्वा र छा�ड़ गैय एके आन्�&�ने र्था जा& बी�सावाG शुत ब्�) के�

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प्र र,भी मु# हुआ र्था । यहें आन्�&�ने ईसा ई सामु जा मु# आधु�किनेकेत के� प्रचा�ने के4 प्रकितकिक्रय पोर आधु रिरत र्था । ईसा ई रूदिJवा दि�य ने� इसा आन्�&�ने मु# बी इबी� के& आधु र बीने य र्था , ईसा ई sण्डा मु#टःलि�ज़्मु के� इसा आन्�&�ने मु# यहें N&र दि�य गैय र्था किके बी इबी� के� किने�Hशु और किनेयमु के� वा� आस्था और ने�कितकेत के� मु�आमु� मु# हें� सा�धिमुत नेहेंG वारने� ऐकितहें लिसाके रिरके डा0 के� सान्�भी0 मु# भी� किबील्के� � साहें� मु ने� जा ए,। इसा बी त पोर किवाशु�ष बी� दि�य जा त र्था किके के� वा� और के� वा� बी ईबी� के& हें� h�� के साच्च के� मु (ईश्वर�य सान्��शु) मु ने जा ए। इसासा� लिसाद्ध हुआ किके यहें शुब्� थ्ने�के, उमु�जा,सापो�उ सावा0प्रर्थामु ईसा ईय के� उसा किगैर&हें ने� इ�त�मु � किकेय जिजासाके किवाश्व सा र्था किके बी इबी� हें� h�� के एकेमु त्री के� मु हें� जा& किकेसा� भी� प्रके र के4 त्री�दिटःय और फ� रबी�� सा� सा�रत्तिक्षात हें�।

आक्साs&डा0 किडाक्शनेर� के� अने�सा र sण्डा मु#टःलि�ज़्मु सा� आश्य, किकेसा� भी� धुमु0, किवाशु�षरूपो सा� इ�� मु के4 प्र चा�ने अर्थावा मु]लि�के लिशुक्षा और आस्था पोर साख़्त� सा� पो बीन्� रहेंने हें�।

यदि� आजा किकेसा� व्यलिक्त के� सा मुने� ‘‘sण्डा मु#टःलि�ज़्मु’’ य रूदिJवा �) के शुब्� इ�त�मु � किकेय जा ए त& वाहें त�रन्त किकेसा ऐसा� मु�सा�मु ने के4 केल्पोने केरत हें� जा& आत,केवा �) हें&।

प्रCय�के मु�सा�मु ने के& ‘‘आत,केवा �)’’ हें&ने चा किहेंए

प्रCय�के मु�सा�मु ने के& आ,तकेवा �) हें&ने चा किहेंए। आत,केवा �) के&ई ऐसा व्यलिक्त हें&त हें� जा& भीय और आत,के के के रर्ण बीनेत हें�। जा�सा� के&ई डा के� किकेसा� पो�लि�सा वा �� के& ��:त हें� त& वाहें आत,किकेत हें& जा त हें�। इसा� प्रके र प्रCय�के मु�सा�मु ने के& सामु जा किवार&धु� तCवा के� लि�ए आत,केवा �) हें&ने चा किहेंए। चा हें� वाहें चा&र, डा के� हें&7अर्थावा बी�के र। जाबी भी� ऐसा के&ई बी�र व्यलिक्त किकेसा� मु�सा�मु ने के& ��:� त& उसा� भीयभी�त और आत,किकेत हें&7जा ने चा किहेंए। यहें साचा हें� किके शुब्� ‘‘आत,केवा �)’’ सा� आशुय उसा व्यलिक्त सा� हें&त हें� जा& जाने सा धु रर्ण मु# भीय और आत,के फ� � ने� के के रर्ण हें&। ��किकेने एके साच्च� मु�सा�मु ने के� लि�ए आवाश्यके हें� किके वाहें के� वा� किवाशु�ष �&गै के� लि�ए हें� आत,केवा �) हें&। अर्था 0त उने �&गै के� लि�ए जा& सामु जा के� बी�र� तCवा हें<। जाबीकिके वाहें सा मु न्य �&गै के� लि�ए आत,के के के रर्ण ने बीने�। बीग्लिल्के यहें केहेंने अधिधुके ठ�के हें&गै किके एके साच्च� मु�सा�मु ने के& सा धु रर्ण और किने��ष �&गै के� लि�ए शु ,कित और सा�रक्षा के सा धुने हें&ने चा किहेंए।

‘‘आत,केवा �)’’ और ‘‘र ष्ट्रवा �)’’

एके हें� के मु केरने� वा � के� �& ने मु

किब्रात ने� सा म्र ज्य सा� मु�लिक्त प्र प्त केरने� सा� पोहें��, भी रत के4 �वात,त्रीत के� लि�ए सा,घाष0 केरने� वा �� वा� �&गै जा& आहिंहेंZसा पोर साहेंमुत नेहेंG र्था�, उन्हें# अ,ग्रं�N� सा म्र ज्य ने� ‘‘आत,केवा �)’’ क़ुर र �� दि�य र्था । उन्हेंG �&गै के& आजा भी रत मु# �वात,त्रीत के� बीलि�� किनेय और र ष्ट्र भीक्त के� रूपो मु# य � किकेय जा त हें�। यहें ��:ने� वा �� बी त7हें� किके यहें �&गै वाहें� हें<, के मु भी� एके हें� हें� पोरन्त� उने पोर �& किवापोर�त पोक्षा के4 ओर सा� �& किवात्तिभीन्न ��किबी� �गै दि�य� गैए हें<। एके पोक्षा के� लि�ए वा� ‘‘आत,केवा �)’’ र्था�, इसाके� किवापोर�त जिजाने �&गै के दृधिष्टके&र्ण यहें र्था किके किब्रात किनेय के& भी रत पोर शु साने केरने� के के&ई अधिधुके र नेहेंG हें�, वाहें उने �&गै के& ‘‘��शुभीक्त’’ और ‘‘बीलि�� ने� ने यके’’ के� रूपो मु# प्रकितधिष्ठत केरत� हें<।

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अत= यहें आवाश्यके हें� किके किकेसा� व्यलिक्त के फ� �सा� केरने� सा� पोहें�� �&ने पोक्षा के4 बी त सा�ने� जा ए। पोरिरस्थाकितय के आके�ने किकेय जा ए। आर&पो� के4 ने�यत के& भी� सा मुने� र: जा ए और किफर उसा� के� अने�सा र उसा व्यलिक्त के� लि�ए के&ई s� सा� किकेय जा ए।

इ�� मु के मुत�बी ‘‘शु ,कित’’ हें�

इ�� मु �फ़्N ‘‘सा� मु’’ सा� किनेके� हें� जिजासाके अर्था0 हें� ‘‘शु ,कित’’। यहें शु ,कित के धुमु0 हें� जिजासाके� मु]लि�के लिसाद्ध ,त उसाके� अने�य धियय के& यहें लिशुक्षा ��त� हें< किके वा� शु ,कित स्था किपोत केर# और किवाश्व मु# शु ,कित फ� � ए,। अत= हेंर मु�सा�मु ने के& sण्डा मु#टः लि��टः हें&ने चा किहेंए अर्था 0त शु ,कित के� धुमु0 के4, इ�� मु के4 बी�किनेय �) बी त पोर अकिनेवा य0 रूपो सा� अमु� केरने चा किहेंए। उसा� के� वा� उने �&गै के� लि�ए ‘आत,केवा �)’ हें&ने चा किहेंए जा& सामु जा मु# शु ,कित और सा�रक्षा के� शुत्री� हें<। त किके सामु जा मु# सा�:, न्य य और शु ,कित स्था किपोत और स्लिस्थार र:� जा साके� ।

6. मु ,सा हें र� भी&जाने

प्रश्नों= पोशु�ओं के& मु रने एके क्र� रत पो�र्ण0 केM Cय हें� त& किफर मु�सा�मु ने मु ,सा हें र� भी&जाने क्य पोसान्� केरत� हें<?

उत्तर= ‘शु के हें र’ आजा एके अ,तर ष्ट्र�य आन्�&�ने बीने चा�के हें� बीग्लिल्के अबी त& पोशु�-पोत्तिक्षाय के� अधिधुके र भी� किनेधु 0रिरत केर दि�य� गैए हें<। ने]बीत यहें , तके पोहु,चा� हें� किके बीहुत सा� �&गै मु ,सा अर्थावा अन्य प्रके र के� सा धिमुष भी&जाने के& भी� पोशु�-पोत्तिक्षाय के� अधिधुके र के हेंनेने मु नेने� �गै� हें<।

इ�� मु के� वा� इ,सा ने पोर हें� नेहेंG बीग्लिल्के तमु मु पोशु�ओं और प्र र्णधु रिरय पोर �य केरने� के आ��शु ��त हें� पोरन्त� इसाके� सा र्था-सा र्था इ�� मु यहें भी� केहेंत हें� किके अल्� हें तआ� ने� यहें धुरत� और इसा पोर मु]जा�� सा�न्�र पो]धु� और पोशु� पोक्षा�, सामु�त वा�त�ए, मु नेवाजा कित के� s य�� के� लि�ए उCपोन्न के°। यहें मुने�ष्य के4 जिNम्‍मु�� र� हें� किके वाहें इने सामु�त सा,सा धुने के& अल्� हें के4 ने�मुत और अमु नेत सामुझुकेर, न्य य के� सा र्था इनेके उपोय&गै केर�।

अबी हेंमु इसा तके0 के� किवात्तिभीन्न पोहें��ओं पोर दृधिष्ट डा �त� हें<।

मु�सा�मु ने पोक्के ‘शु के हें र�’ बीने साकेत हें�

एके मु�सा�मु ने पो�र� तरहें शु के हें र� रहेंकेर भी� एके अच्छे मु�सा�मु ने बीने साकेत हें�। मु�सा�मु ने के� लि�ए यहें अकिनेवा य0 नेहेंG हें� किके वाहें सा��वा मु ,सा हें र� भी&जाने हें� केर#।

पोकिवात्री क़ुy रआने मु�सा�मु ने के& मु ,सा हें र के4 अने�मुकित ��त हें�

पोकिवात्री क़ुy रआने मु# मु�सा�मु ने के& मु ,सा हें र� भी&जाने के4 अने�मुकित �) गैई हें�। इसाके प्रमु र्ण किनेम्‍नेलि�खि:त आयत सा� स्पेष्ट हें�=

‘‘त�म्‍हें र� लि�ए मुवा�शु� (शु के हें र� पोशु�) प्रके र के� सामु�त जा नेवार हें� � किकेय� गैए हें<।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 5:1)

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‘‘उसाने� पोशु� उCपोन्न किकेय� जिजानेमु# त�म्‍हें र� लि�ए पो&शु के भी� हें� और h�र के भी�, और तरहें तरहें के� र्दूसार� s य�� भी�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 16:5)

‘‘और हेंके4केत यहें हें� किके त�म्‍हें र� लि�य� दुधु रू पोशु�ओं मु# भी� एके लिशुक्षा हें�, उनेके� पो�टः मु# जा& के� छा हें� उसा� मु# सा� एके चा�N (अर्था 0त दुgधु) हेंमु त�म्‍हें# किपो� त� हें< और त�म्‍हें र� लि�ए इनेमु� बीहुत सा� र्दूसार� s य�� भी� हें<, इनेके& त�मु : त� हें& और इने पोर और ने]के ओं पोर सावा र भी� किकेय� जा त� हें&।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 23:21)

मु ,सा पो]धिष्टकेत और प्र&टः)ने सा� भीरपो�र हें&त हें�

मु ,सा हें र� भी&जाने प्र&टः)ने प्र प्त केरने� के अच्छे सा धुने हें�। इसामु# भीरपो�र प्र&टः)ने हें&त� हें�। अर्था 0त आठ जा�वाने पो&षके तCवा। (इम्‍य�ने& एलिसाडा) मु]जा�� हें&त� हें<। यहें आवाश्यके तCवा मु नेवा शुर�र मु# नेहेंG बीनेत�। अत= इनेके4 पो�त� बी हेंर� आहें र सा� केरने आवाश्यके हें&त हें�। इसाके� अकितरिरक्त मु Dसा मु# �&हें , किवाटः धिमुने-बी�, इCय दि� पो&षके तCवा भी� पो ए जा त� हें<।

मु नेवा �,त प्रCय�के प्रके र के� भी&जाने के� लि�ए उपोय�क्त हें<

यदि� आपो शु के हें र� पोशु�ओं जा�सा� गै य, बीकेर� अर्थावा भी�ड़ आदि� के� � ,त के& ��:# त& आश्चाय0जानेके सामु नेत 7धिमु��गै�। इने साभी� पोशु�ओं के� � Dत सा�धु� अर्थावा फ़्��टः हें<। अर्था 0त ऐसा� � ,त जा& वानेस्पेकित आहें र चाबी ने� के� लि�ए7उपोय�क्त हें<। इसा� प्रके र यदि� आपो शु�र, त#दुए अर्थावा चा�त� इCय दि� के� � ,त के किनेर�क्षार्ण केर# त& आपोके& उने साभी� मु# भी� सामु नेत धिमु��गै�। मु ,सा हें र� जा नेवा र के� � ,त ने&के4�� हें&त� हें<। जा& मु Dसा जा�सा आहें र चाबी ने� के� लि�ए उपोय�क्त हें<। पोरनेत� मुने�ष्य के� � Dत के& ध्य नेपो�वा0के ��:# त& पो ए,गै� किके उनेमु# सा� के� छा � ,त सापो टः य फ़्��टः7हें< पोरन्त� के� छा ने&के� र भी� हें<। इसाके मुत�बी हें� किके मुने�ष्य के� � ,त शु के हें र� और मु ,सा हें र� �&ने प्रके र के� 7आहें र के� लि�ए उपोय�क्त हें<। अर्था 0त मुने�ष्य सावा0भीक्षा� प्र र्ण� हें� जा& वाने स्पेकित और मु Dसा प्रCय�के प्रके र के आहें र केर साकेत हें�।

प्रश्नों किकेय जा साकेत हें� किके यदि� अल्� हें चा हेंत किके मुने�ष्य के� वा� शु के हें र� रहें� त& उसामु# हेंमु# अकितरिरक्त ने&के� र � ,त क्य दि�य�? इसाके त र्तिकेZके उत्तर यहें� हें� किके अल्� हें ने� मुने�ष्य के& सावा0भीक्षा� प्र र्ण� के� रूपो मु# रचा हें� और वाहें मुहें ने किवाधु त हेंमुसा� अपो�क्षा र:त हें� किके हेंमु शु के साब्N� के� अकितरिरक्त सा धिमुष आहें र (मु ,सा, मुछा��, अण्डा इCय दि�) सा� भी� अपोने� शु र�रिरके आवाश्यकेत ए, पो�र� केर साके# ।

मुने�ष्य के4 पो चाने व्यवास्था शु के हें र� और मु ,सा हें र� �&ने प्रके र के� भी&जाने के& पोचा साकेत� हें�

शु के हें र� प्र र्ण�य के4 पो चाने व्यवास्था के� वा� शु के हें र� भी&जाने के& पोचा साकेत� हें�। मु ,सा हें र� जा नेवार मु# के� वा� मु ,सा के& हें� पोचा ने� के4 क्षामुत हें&त� हें�। पोरन्त� मुने�ष्य हेंर प्रके र के� : द्य पोद्र र्थाq के& पोचा साकेत हें�। यदि� अल्� हें चा हेंत किके मुने�ष्य एके हें� प्रके र के� आहें र पोर जा�वात रहें� त& हेंमु र� शुर�र के& �&ने प्रके र के� भी&जाने के� य&gय क्य बीने त किके वाहें शुके साब्N� के� सा र्था-सा र्था अन्य प्रके र के� भी&जाने के& भी� पोचा साके� ।

पोकिवात्री किहेंन्र्दू धुमु0शु �त्री मु# भी� मु ,सा हें र� भी&जाने के4 अने�मुकित हें�

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(के) बीहुत सा� किहेंन्र्दू ऐसा� भी� हें< जा& पो�र्ण0 रूपो सा� शु के हें र� हें<। उनेके किवाचा र हें� किके मु सा-मुच्छे) : ने उनेके� धुमु0 के� किवारुद्ध हें� पोरन्त� यहें वा �तकिवाकेत हें� किके किहेंन्दुओं के� प्र चा�ने धुमु0ग्रंन्थों मु# मु ,सा हें र पोर के&ई प्रकितबीन्ध नेहेंG हें�। उन्हेंG ग्रं,र्था मु# ऐसा� सा धु� सा,त के उल्��: हें� जा& मु ,सा हें र� र्था�।

(:) मुने��मुMकित जा& किहेंन्र्दू के ने�ने व्यवास्था के सा,ग्रंहें हें�, उसाके� पो Dचावा� अध्य य के� 30 वा# श्ले&के मु# लि�: हें�=

‘‘: ने� वा � जा& उनेके मु ,सा : ए किके जा& : ने� के� लि�ए हें� त& वाहें के� छा बी�र नेहेंG केरत , चा हें� किनेतदि�ने वाहें ऐसा क्य ने केर� क्यकिके ईश्वर ने� �वाय, हें� बीने य हें� के� छा के& ऐसा किके : ए जा ए, और के� छा के& ऐसा किके : ए,।’’

(गै) मुने��मुMकित के� पो Dचावा# अध्य य के� अगै�� श्ले&के ने² 31 मु# लि�: हें�=

‘‘बीलि� के मु Dसा : ने उलिचात हें�, यहें एके र�कित हें� जिजासा� ��वात ओं के आ��शु जा ने जा त हें� ’’

(घा) मुने��मुMकित के� इसा� पो Dचावा# अध्य य के� श्ले&के 39-40 मु# केहें गैय हें�=

‘‘ईश्वर ने� �वाय, हें� बीने य हें� बीलि� के� पोशु�ओं के& बीलि� हें�त�। त& बीलि� के� लि�य� मु रने के&ई हेंCय नेहेंG हें�।’’

(ङः) मुहें भी रत, अने�शु साने पोवा0 के� 58 वा# अध्य य के� श्ले&के 40 मु# धुमु0र जा य�धिधुधिष्ठर और भी�ष्मु किपोत मुहें= के� मुध्य इसा सा,वा � पोर किके यदि� के&ई व्यलिक्त अपोने� पो�र: के� श्रे द्ध मु# उनेके4 आCमु के4 शु ,कित के� लि�ए के&ई भी&जाने अर्तिपोZत केरने चा हें� त& वाहें क्य केर साकेत हें�। वाहें वार्ण0ने इसा प्रके र हें�=

‘‘य�धिधुधिष्ठर ने� केहें : ‘हें� मुहें शुलिक्तमु ने, मु�झु� बीत ओ किके वाहें के]ने सा� वा�त� हें� जिजासा� यदि� अपोने� पो�र: के4 आCमु के4 शु ,कित के� लि�ए अर्तिपोZत केरू, त& वाहें केभी� सामु प्त ने हें&, वाहें क्य वा�त� हें� जा& (यदि� �) जा ए त&) सा��वा बीने� रहें�? वाहें क्य हें� जा& (यदि� भी#टः के4 जा ए त&) अमुर हें& जा ए?’’

भी�ष्मु ने� केहें = ‘‘हें� य�धिधुधिष्ठर! मु�र� बी त ध्य नेपो�वा0के सा�ने&, वाहें भी#टः# क्य हें< जा& के&ई श्रेद्ध पो�वा0के अर्तिपोZत के4 जा ए जा& श्रेद्ध हें�त� अलिचात हें& और वाहें क्य फ� हें� जा& प्रCय�के के� सा र्था जा&ड़� जा ए,। कित� और चा वा�, जा] और उड़� और जा� एवा, केन्�मु�� आदि� उनेके4 भी#टः किकेय जा ए त& हें� र जाने! त�म्‍हें र� पो�र: के4 आCमु ए, प्रसान्न हेंगै�। भी�ड़ के (मु ,सा) चा र मु सा तके, hरगै&शु के� (मु ,सा) के4 भी#टः चा र मु सा तके प्रसान्न र:�गै�, बीकेर� के� (मु ,सा) के4 भी#टः छा= मु सा तके और पोत्तिक्षाय के� (मु ,सा) के4 भी#टः सा त मु सा तके प्रसान्न र:�गै�। मुMगै के� (मु ,सा) के4 भी#टः �सा मु सा तके, भी<सा� के� (मु ,सा) के � ने gय रहें मु सा तके प्रसान्न र:�गै । केहें जा त हें� किके गै&मु ,सा के47भी#टः एके वाष0 तके शु�ष रहेंत� हें�। भी#टः के� गै&मु ,सा मु# इतने घाMत धिमु� य जा ए जा& त�म्‍हें र� पो�र: के4 आCमु ओं के& �वा�के य0 हें&, धुरने सा (बीड़ बी��) के मु ,सा त�म्‍हें र� पो�र: के4 आCमु ओं के& बी रहें वाषq तके प्रसान्न र:�गै ।7गै�ण्डा� के मु ,सा, जिजासा� पो�र: के4 आCमु ओं के& चान्द्रमु के4 उने र त मु# भी#टः किकेय जा ए जाबी वा� पोर�&के लिसाधु र� र्था� त& वाहें उन्हें# सा��वा प्रसान्न र:�गै । और एके जाड़� बी�टः) के� सा�के केहें� जा त� हें� तर्था के, चाने पो�ष्पो के47पोत्तित्तय D और (� �) बीकेर� के मु ,सा भी�, जा& भी#टः किकेय जा ए, वाहें सा��वा-सा��वा के� लि�य� हें�। यदि� त�मु चा हेंत� हें&7किके त�म्‍हें र# किपोतर के4 आCमु सा��वा के� लि�ए शु ,कित प्र प्त केर� त& त�म्‍हें# चा किहेंए किके � � बीकेर� के� मु ,सा सा� उनेके4 सा�वा केर&।’’ (भी वा र्था0)

किहेंन्र्दू धुमु0 भी� अन्य धुमुq सा� प्रभी किवात हुआ हें�

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यद्यकिपो किहेंन्र्दू धुमु0 शु �त्री मु# मु ,सा हें र� भी&जाने के4 अने�मुकित नेहेंG हें� पोरन्त� किहेंन्दुओं के� अने�य धियय ने� के � ,तर मु# अन्य धुमुq के प्रभी वा भी� �वा�के र किकेय और शु के हें र के& आCमुसा त केर लि�य । इने अन्य धुमुq मु# जा�नेमुत इCय दि� शु धिमु� हें<।

पो]धु� भी� जा�वानेधु र� हें<

के� छा धुमुq ने� शुके हें र पोर किनेभी0र रहेंने इसालि�ए भी� अपोने य हें� क्यकिके आहें र व्यवास्था मु# जा�किवात प्र र्णधु रिरय के& मु रने वा र्जिजाZत हें�। यदि� के&ई व्यलिक्त अन्य प्र त्तिर्णय के& मु र� किबीने जा�किवात रहें साकेत हें� त& वाहें पोहें� व्यलिक्त हें&गै जा& जा�वाने किबीत ने� के यहें मु गै0 �वा�के र केर ��गै । अत�त मु# �&गै यहें सामुझुत� र्था� किके वाMक्षा-पो]धु� किनेष्प्र र्ण हें&त� हें< पोरन्त� आजा यहें एके प्र मु त्तिर्णके तथ्य हें� किके वाMक्षा-पो]धु� भी� जा�वाधु र� हें&त� हें< अत= उने �&गै के4 यहें धु रर्ण किके प्र त्तिर्णय के& मु रकेर : ने पो पो हें�, आजा के� य�गै मु# किनेर धु र लिसाद्ध हें&त� हें�। अबी चा हें� वा� शु के हें र� क्य ने बीने� रहें#।

पो]धु� भी� पो�ड़ के आभी सा केर साकेत� हें<

पो�र्ण0 शु के हें र मु# किवाश्व सा र:ने� वा � के4 मु न्यत हें� किके पो]धु� केष्ट और पो�ड़ मुहेंसा�सा नेहेंG केर साकेत� अत= वानेस्पेकित और पो�ड़-पो]धु के& मु रने किकेसा� प्र र्ण� के& मु रने� के� अपो�क्षा बीहुत छा&टः अपोर धु हें�। आजा किवाज्ञा ने हेंमु# बीत त हें� किके पो]धु� भी� केष्ट और पो�ड़ के अने�भीवा केरत� हें< किकेन्त� उनेके� रु�ने और चा�Cके र के& सा�नेने मुने�ष्य के� वाशु मु# नेहेंG। इसा के के रर्ण यहें हें� किके मुने�ष्य के4 श्रेवार्ण क्षामुत के� वा� 20 हेंटःN0 सा� ��केर 20,000 हेंटः0जा फ्ऱी�क्वा#सा� वा �� �वार �हेंरिरय D सा�ने साकेत� हें<। एके के� त्त 40,000 हेंटः0जा तके के4 �हेंर के& सा�ने साकेत 7हें�। यहें� के रर्ण हें� किके के� त्त के� लि�ए किवाशु�ष सा�टः) बीने ई जा त� हें� त& उसाके4 आवा N मुने�ष्य के& सा�ने ई नेहेंG ��त� पोरन्त� के� त्त� उसाके4 आवा N सा�नेकेर �]ड़� आत� हें<, उसा सा�टः) के4 आवा N 20,000 हेंटः0जा सा� अधिधुके हें&त� हें�।

एके अमुर�के4 किकेसा ने ने� पो]धु पोर अने�सा,धु ने किकेय । उसाने� एके ऐसा य,त्री बीने य जा& पो]धु� के4 चा�h के& पोरिरवार्तितZत केरके� फ्ऱी�क्वा#सा� के4

पोरिरधिधु मु# � त र्था किके मुने�ष्य भी� उसा� सा�ने साके# । उसा� जाल्�) हें� पोत चा� गैय किके पो]धु केबी पो ने� के� लि�ए र&त हें�। आधु�किनेकेतमु अने�सा,धु ने सा� लिसाद्ध हें&त हें� किके पो�ड़-पो]धु� h�शु� और दु: तके के& मुहेंसा�सा केर साकेत� हें< और वा� र&त� भी� हें<।

(अने�वा �के के� � धियCवा के& सामुक्षा र:त� हुए यहें उल्��: किहेंन्�) मु# भी� किकेय गैय हें�। �रअ�� पो]धु� के� र&ने� चा�hने� के4 बी त किकेसा� अने�सा,धु ने के4 चाचा 0 किकेसा� अमुर�के4 अhबी र द्वा र गैJ) गैई हें�। क्यकिके गैम्भ�र किवाज्ञा ने सा किहेंCय और अने�सा,घा ने सा मुग्रं� सा� पोत चा� हें� किके प्रकितके� � पोरिरस्थाकितय अर्थावा पोय 0वारर्ण के� �बी वा7के4 प्रकितकिक्रय मु# पो]धु सा� किवाशु�ष प्रके र के रसा यकिनेके द्रव्य किनेके�त हें�। वानेस्पेकित वा�ज्ञा किनेके इसा प्रके र के� रसा यकिनेके द्रव्य के& ‘‘पो]धु� के रु�ने और चा�Cके र बीत त� हें<) अने�वा �के

�& अने�भी�कितय वा �� प्र त्तिर्णय के4 हेंCय केरने किनेम्‍ने�तर के अपोर धु हें�

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एके बी र एके शु के हें र� ने� बीहेंसा के� �]र ने यहें तके0 र: किके पो]धु मु# �& अर्थावा त�ने अने�भी�कितय D हें&त� हें<। जाबीकिके जा नेवार के4 पो Dचा अने�भी�कितय D हें&त� हें�। अत= (केमु अने�भीवा क्षामुत के� के रर्ण) पो]धु के& मु रने जा�किवात जा नेवार के& मु रने� के4 अपो�क्षा छा&टः अपोर धु हें�। इसा जागैहें यहें केहेंने पोड़त हें� किके मु ने ��जिजाए (h�� ने केर�) आपोके के&ई भी ई ऐसा हें& जा& जान्मुजा त मु�के और बीधिधुर हें& अर्था 0त उसामु# अने�भीवा शुलिक्त केमु7हें&, वाहें वाय�के हें& जा ए और के&ई उसाके4 हेंCय केर �� तबी क्य आपो जाजा सा� केहें#गै� किके हेंCय र र्था&ड़� �ण्डा के अधिधुके र� हें�। आपोके� भी ई के� हेंCय र� ने� छा&टः अपोर धु किकेय हें� और इसा�लि�ए वाहें छा&टः) साN के अधिधुके र� हें�? के� वा� इसालि�ए किके आपोके� भी ई मु# जान्मुजा त �& अने�भी�कितय D केमु र्थाG? इसाके� बीजा ए आपो यहें�7केहें#गै� किके हेंCय र� ने� एके किने��ष के4 हेंCय के4 हें� अत= उसा� केड़� सा� केड़� साN �) जा ए।

पोकिवात्री क़ुy रआने मु# sरमु य गैय हें�=

‘‘�&गै&! धुरत� पोर जा& पोकिवात्री और वा�धु चा�N# हें<, उन्हें# : ओ और शु�त ने के� बीत ए हुए र �त पोर ने चा�&, वाहें त�म्‍हें र :�� दुश्मुने हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 2:168)

पोशु�ओं के4 अधिधुके सा,ख्य

यदि� इसा सा,सा र के प्रCय�के व्यलिक्त शु के हें र� हें&त त& पोरिरर्ण मु यहें हें&त किके पोशु�ओं के4 सा,ख्य सा�मु सा� अधिधुके हें& जा त� क्यकिके पोशु�ओं मु# उCपोत्तित्त और जान्मु के4 प्रकिक्रय त�N हें&त� हें�। अल्� हें ने� जा& सामु�त ज्ञा ने और बी�जिद्ध के �वा मु� हें� इने जा�वा के4 सा,ख्य के& उलिचात किनेय,त्रीर्ण मु# र:ने� के मु गै0 सा�झु य हें�। इसामु# आश्चाय0 के4 के&ई बी त नेहेंG किके अल्� हें तआ� ने� हेंमु# (सास्लिब्Nय के� सा र्था सा र्था) पोशु�ओं के मु Dसा : ने� के4 अने�मुकित भी� �) हें�।

साभी� �&गै मु ,सा हें र� नेहेंG, अत= मु Dसा के मु�ल्य भी� उलिचात हें�

मु�झु� इसा पोर के&ई आपोत्तित्त नेहेंG किके के� छा �&गै पो�र्ण0 रूपो सा� शु के हें र� हें< पोरन्त� उन्हें# चा किहेंए किके मु ,सा हें रिरय के& क्र� र और अCय चा र� केहेंकेर उनेके4 किनेन्� ने केर#। वा �तवा मु# यदि� भी रत के� साभी� �&गै मु ,सा हें र� बीने जा ए, त& वात0मु ने मु ,सा हें रिरय के भी र� ने�क्सा ने हें&गै क्य&किके ऐसा� स्लिस्थाकित मु# मु Dसा के मु�ल्य के बी� सा� बी हेंर हें&7जा एगै ।

7. पोशु�ओं के& जिNब्हें केरने� के इ�� मु� तर�के किने�य0त पो�र्ण0 हें�

प्रश्नों= मु�सा�मु ने पोशु�ओं के& जिNब्हें (हें� �) केरत� सामुय किने�य0त पो�र्ण0 ढं,गै क्य अपोने त� हें<? अर्था 0त उन्हें# य तने ��केर धु�र�-धु�र� मु रने� के तर�के , इसा पोर बीहुत �&गै आपोत्तित्त केरत� हें<?

उत्तर= किनेम्‍नेलि�खि:त तथ्य सा� लिसाद्ध हें&त हें� किके Nबी�हें के इ�� मु� तर�के ने के� वा� मु नेवा�यत पोर आधु रिरत हें� वारने� यहें सा इ,टः)किsके रूपो सा� भी� श्रे�ष्ठ हें�।

जा नेवार हें� � केने� के इ�� मु� तर�के

अरबी� भी ष के शुब्� ‘‘Nक्के� त�मु’’ जा& किक्रय के� रूपो मु# प्रय&गै किकेय जा त हें� उसासा� हें� शुब्� ‘‘Nक़ु त’’ किनेके�त हें�, जिजासाके अर्था0 हें� ‘‘पोकिवात्री केरने ।’’

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जा नेवार के& इ�� मु� ढं,गै सा� जिNब्हें केरत� सामुय किनेम्‍ने शुतq के पो�र्ण0 ध्य ने र: जा ने आवाश्यके हें�।

(के) जा नेवार के& त�N धु र वा �� छा� र� सा� जिNब्हें किकेय जा ए। त किके जा नेवार के& जिNब्हें हें&त� सामुय केमु सा� केमु केष्ट हें&।

(:) Nबी�हें एके किवाशु�ष शुब्� हें� जिजासा सा� आश्य हें� किके ग्रं�वा और गै�0ने के4 ने किड़य D के टः) जा ए,। इसा प्रके र जिNब्हें केरने� सा� जा नेवार र�J के4 हेंड्डी� के टः� किबीने मुर जा त हें�।

(गै) h�ने के& बीहें दि�य जा ए।

जा नेवार के� लिसार के& धुड़ सा� अ�गै केरने� सा� पो�वा0 आवाश्यके हें� किके उसाके सा र h�ने पो�र� तरहें बीहें दि�य गैय हें&। इसा प्रके र सा र h�ने किनेके � ��ने� के उद्दा�श्य यहें हें� किके यदि� h�ने शुर�र मु# रहें गैय त& यहें के4टः र्ण�ओं के� पोनेपोने� के मु ध्यमु बीने�गै । र�J के4 हेंड्डी� अभी� किबील्के� � नेहेंG के टः) जा ने� चा किहेंए क्यकिके उसामु# वाहें धुमुकिनेय D हें&त� हें< जा& दि�� तके जा त� हें<। इसा सामुय यदि� वाहें धुमुकिनेय D केटः गैईं त& दि�� के4 गैकित रुके साकेत� हें� और इसाके� के रर्ण h�ने के बीहें वा रुके जा एगै । जिजासासा� h�ने ने किड़य मु# जामु रहें साकेत हें�।

के4टः र्ण�ओं और बी�क्टः)रिरय के� लि�य� h�ने मु�ख्य मु ध्यमु हें�

के4टः र्ण�ओं, बी�क्टः)रिरय और किवाष क्त तCवा के4 उCपोकित के� लि�य� h�ने एके साशुक्त मु ध्यमु हें�। अत= इ�� मु� तर�के� सा� जिNब्हें केरने� सा� सा र h�ने किनेके � ��ने �वा स्थ्य के� किनेयमु के� अने�सा र हें� क्यकिके उसा h�ने मु# के4टः र्ण� और बी�क्टः)रिरय तर्था किवाष क्त तCवा अधिधुकेतमु हें&त� हें<।

मु ,सा अधिधुके सामुय तके �वाच्छे और त N रहेंत हें�

इ�� मु� तर�के� सा� हें� � किकेय� गैए जा नेवार के मु ,सा अधिधुके सामुय तके �वाच्छे और त N तर्था : ने� य&gय रहेंत हें� क्यकिके र्दूसार� तर�केष# सा� के टः� गैए जा नेवार के� मु ,सा के4 अपो�क्षा उसामु# h�ने के4 मु त्री बीहुत केमु हें&त� हें�।

जा नेवार के& केष्ट नेहेंG हें&त

ग्रं�वा के4 ने किड़य D त�N� सा� के टःने� के� के रर्ण दि�मु ग़ै के& जा ने� वा �� धुमुकिनेय तके h�ने के प्रवा हें रुके जा त हें�, जा& पो�ड़ के आभी सा उCपोन्न केरत� हें<। अत= जा नेवार के& पो�ड़ के आभी सा नेहेंG हें&त । य � रखि:ए किके हें� � किकेय� जा त� सामुय मुरत हुआ के&ई जा नेवार झुटःके� नेहेंG ��त बीग्लिल्के उसामु# तड़पोने�, फड़केने� और र्थारर्थार ने� के4 स्लिस्थाकित इसालि�ए हें&त� हें� किके उसाके� पो�ट्ठों मु# h�ने के4 केमु� हें& चा�के4 हें&त� हें� और उनेमु# तने वा बीहुत अधिधुके बीJत य घाटःत हें�।

8. मु ,सा हें र� भी&जाने मु�सा�मु ने के& हिंहेंZसाके बीने त हें�

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प्रश्नों= किवाज्ञा ने हेंमु# बीत त हें� किके मुने�ष्य जा& के� छा : त हें� उसाके प्रभी वा उसाके4 प्रवाMत्तित्त पोर अवाश्य पोड़त हें�, त&7किफर इ�� मु अपोने� अने�य धियय के& सा धिमुष आहें र के4 अने�मुकित क्य ��त हें�? यद्यकिपो पोशु�ओं के मु ,सा : ने� के� के रर्ण मुने�ष्य हिंहेंZसाके और क्र� र बीने साकेत हें�?

उत्तर= के� वा� वानेस्पेकित : ने� वा �� पोशु�ओं के& : ने� के4 अने�मुकित हें�। मु< इसा बी त सा� साहेंमुत हूँD किके मुने�ष्य जा& के� छा : त हें� उसाके प्रभी वा उसाके4 प्रवाMत्तित्त पोर अवाश्य पोड़त हें�। यहें� के रर्ण हें� किके इ�� मु मु# मु ,सा हें र� पोशु�ओं, जा�सा� शु�र, चा�त , त#दुआ आदि� के मु ,सा : ने वा र्जिजाZत हें� क्यकिके य� � नेवा हिंहेंZसाके भी� हें<। साम्भवा हें� इने �रिरन्� के मु ,सा हेंमु# भी� � नेवा बीने ��त । यहें� के रर्ण हें� किके इ�� मु मु# के� वा� वानेस्पेकित के आहें र केरने� वा �� पोशु�ओं के मु ,सा : ने� के4 अने�मुकित �) गैई हें<। जा�सा� गै य, भी�ड़, बीकेर� इCय दि�। यहें वा� पोशु� हें< जा& शु ,कित किप्रय और आज्ञा के र� प्रवाMत्तित्त के� हें<। मु�सा�मु ने शु ,कित किप्रय और आज्ञा के र� पोशु�ओं के मु ,सा हें� : त� हें<। अत=7वा� भी� शु ,कित किप्रय और अहिंहेंZसाके हें&त� हें<।

पोकिवात्री क़ुy रआने के sरमु ने हें� किके रसा�� अल्� हें (साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु) बी�र� चा�N सा� र&केत� हें<।

पोकिवात्री क़ुy रआने मु# sरमु ने हें�=

‘‘वाहें उन्हें# ने�के4 के हुक्मु ��त हें�, बी�) सा� र&केत हें�, उनेके� लि�ए पो के चा�N# हें� � और ने पो के चा�N# हेंर मु केरत हें�, उने पोर सा� वाहें बी&झु उत रत हें� जा& उने पोर ��� हुए र्था�। वाहें बी,धुने :&�त हें� जिजानेमु# वा� जाकेड़� हुए र्था�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 7:157)

एके अन्य आयत मु# केहें गैय हें�=

‘‘जा& के� छा रसा�� त�म्‍हें# �� त& वाहें �� �& और जिजासा चा�N# सा� त�म्‍हें# र&के �� उसामु# रुके जा ओ, अल्� हें सा� डार&, अल्� हें साख़्त अN बी (केठ&रतमु �ण्डा) ��ने� वा � हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 7:159)

मु�सा�मु ने के� लि�ए मुहें ने पो�ग़ैम्‍बीर के यहें किने�Hशु हें� उन्हें� केषय� केरने� के� लि�ए के s4 हें� किके अल्� हें तआ� नेहेंG चा हेंत किके वाहें के� छा जा नेवार के मु ,सा : ए, जाबीकिके के� छा के : लि�य केर#।

इ�� मु के4 साम्प�र्ण0 लिशुक्षा पोकिवात्री क़ुy रआने और उसाके� बी � हें�)सा पोर आधु रिरत हें�। हें�)सा के आश्य हें� मु�सा�मु ने के� मुहें ने पो�ग़ैम्‍बीर हेंNरत मु�हेंम्‍मु� (साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु) के केर्थाने जा& ‘साहें� बी�h र�’, ‘मु�स्लि��मु’, सा�नेने इब्ने� मु जाहें’, इCय दि� पो��तके मु# सा,ग्रंहें�त हें<। और मु�सा�मु ने के उने पोर पो�र्ण0 किवाश्व सा हें�। प्रCय�के हें�)सा के& उने मुहें पो�रूष के� सा,�भी0 सा� बीय ने केय गैय हें� जिजान्हेंने� �वा,य मुहें ने पो�ग़ैम्‍बीर सा� वाहें बी त# सा�ने� र्थाG।

पोकिवात्री हें�)सा मु# मु ,सा हें र� जा नेवार के मु ,सा : ने� सा� र&के गैय हें�

साहें� बी�h र�, मु�स्लि��मु शुर�s मु# मु]जा��, अने�के प्रमु त्तिर्णके हें�)सा के� अने�सा र मु ,सा हें र� पोशु� के मु ,सा : ने वार्जिजाZत हें�। एके हें�)सा के� अने�सा र, जिजासामु# हेंNरत इब्ने� अब्बी सा (रजिNयल्� हु अन्हु) के� सा,�भी0 सा� बीत य गैय हें� किके हेंमु र� पो�ग़ैम्‍बीर (साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु) ने� (हें�)सा ने² 4752), और सा�नेने इब्ने� मु जाहें के� त�रहेंवा# अध्य य (हें�)सा ने² 3232 सा� 3234 तके) के� अने�सा र किनेम्‍नेलि�खि:त जा नेवार के मु ,सा : ने� सा� मुने किकेय हें�=

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1. वाहें पोशु� जिजानेके� � ,त ने&के4�� हें, अर्था 0त मु ,सा हें र� जा नेवार, य� जा नेवार किबील्�� के� पोरिरवा र सा� साम्‍बीन्ध र:त� हें<। जिजासामु# शु�र, बीबीर शु�र, चा�त , किबीस्लिल्�य D, के� त्त�, भी�किड़य�, गै��ड़, �&मुड़�, �केड़बीgघा� इCय दि� शु धिमु� हें<।

2. के� तर केर : ने� वा �� जा नेवार जा�सा� छा&टः� चा�हें�, बीड़� चा�हें�, पो,जा वा �� hरगै&शु इCय दि�।

3. र#गैने� वा �� के� छा जा नेवार जा�सा� सा Dपो और मुगैरमुच्छे इCय दि�।

4. लिशुके र� पोक्षा�, जिजानेके� पो,जा� �म्‍बी� और ने&के� र ने h�ने हें (जा�सा� आमु त]र सा� लिशुके र� पोत्तिक्षाय के� हें&त� हें<) इनेमु# गैरूड़, किगैद्ध, के]ए और उल्�� इCय दि� शु धिमु� हें<।

ऐसा के&ई वा�ज्ञा किनेके सा क्ष्य नेहेंG हें� जा& किकेसा� सान्��हें और सा,शुय सा� ऊँपोर उठकेर यहें लिसाद्ध केर साके� किके मु ,सा हें र� अपोने� आहें र के� के रर्ण किहेंसा,के भी� बीने साकेत हें�।

9. मु�सा�मु ने के बी के4 पो�जा केरत� हें<।

प्रश्नों= यद्यकिपो इ�� मु मु# मु�र्तितZ पो�जा वार्जिजाZत हें� पोरन्त� मु�सा�मु ने के बी� के4 पो�जा क्य केरत� हें<? और अपोने� नेमु N के� �]र ने उसाके� सा मुने� क्य झु�केत� हें<?

उत्तर= के बी हेंमु र� लि�य� किकेष्बी� (श्रेद्ध�य स्था ने, दि�शु ) हें�, अर्था 0त वाहें दि�शु जिजासाके4 ओर मु�Dहें केरके� मु�सा�मु ने नेमु N पोJत� हें<। यहें बी त ध्य ने ��ने� य&gय हें� किके, मु�सा�मु ने नेमु N के� सामुय के बी� के4 पो�जा नेहेंG केरत�, मु�सा�मु ने के� वा� अल्� हें के4 इबी �त केरत� हें< और उसा� के� आगै� झु�केत� हें<। जा�सा किके पोकिवात्री क़ुy रआने के4 सा�रहें अ�-बीकेष्रा= मु# अल्� हें के sरमु ने हें�=

‘‘हें� नेबी�! यहें त�म्‍हें र� मु�Dहें के बी र-बी र आसामु ने के4 तरs उठने हेंमु ��: रहें� हें�, �& हेंमु उसा� किकेष्बी�� के4 तरs त�म्‍हें# फ� र ��त� हें< जिजासा� त�मु पोसान्� केरत� हें&। मुस्लि�जादु� हेंर मु (के बी ) के4 तरs रुh फ� र �&, अबी त�मु जाहें D केहेंG हें& उसा� तरs मु�Dहें केरके� नेमु N पोJ केर&।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 2:144)

इ�� मु एकेत और सा]हें �0 के� किवाके सा मु# किवाश्व सा र:त हें�

जा�सा�, यदि� मु�सा�मु ने नेमु N पोJने चा हें# त& बीहुत साम्भवा हें� किके के� छा �&गै उत्तर के4 दि�शु के4 ओर मु�Dहें केरने 7चा हें#, के� छा �त्तिक्षार्ण के4 ओर, त& के� छा पो�वा0 अर्थावा पोत्तिश्चामु के4 ओर, अत= एके साच्च� ईश्वर (अल्� हें) के4 उपो साने के� अवासार पोर मु�सा�मु ने मु# एकेत और सावा0साम्‍मुकित के� लि�ए उन्हें# यहें आ��शु दि�य गैय किके वाहें किवाश्व मु� जाहें D केहेंG भी� हें, जाबी अल्� हें के4 उपो साने (नेमु N) केर# त& एके हें� दि�शु मु# रुh केरने हें&गै । यदि� मु�सा�मु ने के बी के4 पो�वा0 दि�शु के4 ओर रहेंत� हें< त& पोत्तिश्चामु के4 ओर रुh केरने हें&गै । अर्था 0त जिजासा ��शु सा� के बी जिजासा दि�शु मु# हें& उसा ��शु सा� मु�सा�मु ने के बी के4 ओर हें� मु�Dहें केरके� नेमु N अ� केर#।

पोकिवात्री के बी धुरत� के� नेक़्शु� के के# द्र हें�

किवाश्व के पोहें� नेक्श मु�सा�मु ने ने� हें� त�य र किकेय र्था । मु�सा�मु ने द्वा र बीने ए गैए नेक़ुशु� मु# �त्तिक्षार्ण ऊँपोर के4 ओर और उत्तर ने�चा� हें&त र्था । के बी उसाके� के# द्र मु# र्था । बी � मु# भी�गै&� शु त्नि�त्रीय ने� जाबी नेक़ुशु� बीने ए त&

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उसामु# पोरिरवात0ने केरके� उत्तर के& ऊँपोर तर्था �त्तिक्षार्ण के& ने�चा� केर दि�य । पोरन्त� अ�हेंम्‍�& लि�ल्� हें (सामु�त प्रशु,सा के� वा� अल्� हें के� लि�ए हें�) तबी भी� के बी किवाश्व के� के# द्र मु# हें� रहें ।

के बी शुर�s के तवा s (पोरिरक्रमु ) अल्� हें के� एके� श्वरCवा के प्र�शु0ने हें�

जाबी मु�सा�मु ने मुक्के के4 मुस्लि�जा�� हेंर मु मु# जा त� हें<, वा� के बी के तवा s केरत� हें< अर्थावा उसाके� किगै�0 चाक्केर �गै केर पोरिरक्रमु केरत� हें< त& उनेके यहें केM Cय एके मु त्री अल्�हें पोर किवाश्व सा और उसा� के4 उपो साने के प्रत�के हें� क्यकिके जिजासा प्रके र किकेसा� वाMत्त (� यर�) के के# द्र किबीन्दु एके हें� हें&त हें� उसा� प्रके र अल्� हें भी� एकेमु त्री हें� जा& उपो साने के� य&gय हें�।

हेंNरत उमुर (रजिNयल्� हु अन्हु) के4 हें�)सा साहें� बी�h र�, :ण्डा 2, किकेत बी हेंज्जा, अध्य य 56 मु# वार्णिर्णZत हें�)सा ने² 675 के� अने�सा र हेंNरत उमुर (रजिNयल्� हें अन्हु) ने� के बी मु# र:� हुए के �� र,गै के� पोत्थर (पोकिवात्री हेंज्र-ए- अ�वा�) के& साम्‍बी&धिधुत केरत� हुए sरमु य =

‘‘मु< जा नेत हूँD किके त� एके पोत्थर हें� जा& किकेसा� के& हें किने अर्थावा � भी नेहेंG पोहु,चा साकेत । यदि� मु<ने� हुजा�र (साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु) के& चा�मुत� हुए नेहेंG ��: हें&त त& मु< भी� त�झु� ने छा�त (और ने हें� चा�मुत )।’’

(इसा हें�)सा सा� यहें पो�र� तरहें स्पेष्ट हें& जा त हें� किके किवाधुर्मिमुZय के4 धु रर्ण और उनेके� द्वा र फ� � ई गैई यहें भ्रु ,कित पो�र्ण0तय किनेर धु र हें� किके मु�सा�मु ने के बी अर्थावा हेंज्र-ए-अ�वा� के4 पो�जा केरत� हें<। किकेसा� वा�त� के& आ�र और साम्‍मु ने के4 दृधिष्ट सा� ��:ने उसाके4 पो�जा केरने नेहेंG हें& साकेत ।) (अने�वा �के)

�&गै ने� के बी� के4 छात पोर :ड़� हें&केर अN ने �)

मुहें ने पो�ग़ैम्‍बीर हेंNरत मु�हेंम्‍मु� (साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु) के� सामुय मु# �&गै के बी� के� ऊँपोर चाJकेर अN ने भी� दि�य केरत� र्था�, अबी Nर उनेसा� पो�लिछाए जा& मु�सा�मु ने पोर के बी� के4 पो�जा के आर&पो �गै त� हें< किके क्य के&ई मु�र्तितZ पो�जाके केभी� अपोने� ��वात के4 पो�जा� जा ने� वा �� मु�र्तितZ के� ऊँपोर :ड़ हें&त हें�?

10. मुक्के मु� ग़ै�र मु�स्लि��मु के& प्रवा�शु के4 अने�मुकित नेहेंG

प्रश्नों= मुक्के और मु�)ने के� पोकिवात्री नेगैर मु# ग़ै�र मु�स्लि��मु के& प्रवा�शु के4 अने�मुकित क्य नेहेंG हें�?

उत्तर= यहें साचा हें� किके केषने�ने� त]र पोर मुक्के और मु�)ने शुर�s के� पोकिवात्री नेगैर मु# ग़ै�र मु�स्लि��मु के& प्रवा�शु केरने� के4 अने�मुकित नेहेंG हें�। किनेम्‍नेलि�खि:त तथ्य द्वा र प्रकितबीन्ध के� पो�छा� के रर्ण और औलिचाCय के स्पेष्ट�केरर्ण किकेय गैय हें�।

सामु�त ने गैरिरके के& केन्टः&न्मु#टः एरिरय (सा�किनेके छा वाने�) मु# जा ने� के4 अने�मुकित नेहेंG हें&त�

मु< भी रत के ने गैरिरके हूँD। पोरन्त� किफर भी� मु�झु� (अपोने� हें� ��शु के� ) के� छा वार्जिजाZत क्षा�त्री मु# जा ने� के4 अने�मुकित नेहेंG हें�। प्रCय�के ��शु मु# के� छा ने के� छा ऐ�सा� क्षा�त्री अवाश्य हें&त� हें< जाहें D सा मु न्य जानेत के& जा ने� के4 इजा Nत नेहेंG हें&त�। जा�सा� सा�किनेके छा वाने� य केन्टः&न्मु#टः एरिरय मु# के� वा� वाहें� �&गै जा साकेत� हें< जा& सा�ने अर्थावा प्रकितरक्षा किवाभी गै सा� साम्‍बी,धिधुत हें। इसा� प्रके र इ�� मु भी� सामु�त मु नेवाजागैत और साम्प�र्ण0 ब्राह्मा ण्डा के� लि�ए एकेमु त्री

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साCयधुमु0 हें�। इ�� मु के� �& नेगैर मुक्के और मु�)ने किकेसा� सा�किनेके छा वाने� के� सामु ने मुहेंCवापो�र्ण0 और पोकिवात्री हें<, इने नेगैर मु# प्रवा�शु केरने� के उन्हें# हें� अधिधुके र हें� जा& इ�� मु मु# किवाश्व सा र:त� हें& और उसाके4 प्रकितरक्षा मु# शुर�के हें। अर्था 0त के� वा� मु�सा�मु ने हें� इने नेगैर मु# जा साकेत� हें<।

सा�किनेके सा,स्था ने और सा�ने के4 छा वाकिनेय मु# प्रवा�शु पोर प्रकितबीन्ध के� किवारुद्ध एके सा मु न्य ने गैरिरके के किवार&धु केरने ग़ै�र केषने�ने� हें&त हें�। अत= ग़ै�र मु�स्लि��मु के� लि�य� भी� यहें उलिचात नेहेंG हें� किके वा� मुक्के और मु�)ने मु# ग़ै�र7मु�स्लि��मु के� प्रवा�शु पोर पो बीन्�) के किवार&धु केर#।

मुक्के और मु�)ने मु# प्रवा�शु के वा�सा

1. जाबी के&ई व्यलिक्त किकेसा� अन्य ��शु के4 य त्री केरत हें� त& उसा� सावा0प्रर्थामु उसा ��शु मु# प्रवा�शु केरने� के अने�मुकित पोत्री ;टःपो#द्ध प्र प्त केरने पोड़त हें�। प्रCय�के ��शु के� अपोने� केषय�� के ने�ने हें&त� हें< जा& उनेके4 Nरूरत और व्यवास्था के� अने�सा र हें&त� हें< तर्था उन्हेंG के� अने�सा र वा�सा जा र� किकेय जा त हें�। जाबी तके उसा ��शु के� के ने�ने के4 साभी� शुतq के& पो�र ने केर दि�य जा ए उसा ��शु के� र जानेधियके केमु0चा र� वा�सा जा र� नेहेंG केरत�।

2. वा�सा जा र� केरने� के� मु मु�� मु# अमुर�के अCय,त केठ&र ��शु हें�, किवाशु�ष रूपो सा� त�सार� दुकिनेय के� ने गैरिरके के& वा�सा ��ने� के� बी र� मु#, अमुर�के4 आवाजा0ने के ने�ने के4 केड़� शुत� हें< जिजान्हें# अमुर�के जा ने� के� इच्छे�के के& पो�र केरने हें&त हें�।

3. जाबी मु< लिंसाZगै पो�र गैय र्था त& वाहें D के� इमु�ग्रं�शुने s मु0 पोर लि�: र्था ‘‘नेशु� के4 वा�त�एD �मुगै� केरने� वा �� के& मुMCय��ण्डा दि�य जा य�गै ।’’ यदि� मु< लिंसाZगै पो�र जा ने चा हूँD त& मु�झु� वाहें D के� के ने�ने के पो �ने केरने हें&गै । मु< यहें नेहेंG केहें साकेत किके उनेके� ��शु मु# मुMCय��ण्डा के किने�0यत पो�र्ण0 और क्र� र प्र वाधु ने क्य हें�। मु�झु� त& के� वा� उसा� अवास्था मु# वाहें D जा ने� के4 अने�मुकित धिमु��गै� जाबी उसा ��शु के� के ने�ने के4 साभी� शुतq के� पो �ने के इकेष्रा र केरू, गै ।

4. मुक्के और मु�)ने के वा�सा अर्थावा वाहें D प्रवा�शु केरने� के4 बी�किनेय �) शुत0 यहें हें� किके मु�: सा� ‘‘� इ� हें इल्�ल्� हु, मु�हेंम्‍मुदुर0सा��ल्� किहें’’ (के&ई ईश्वर नेहेंG, लिसावा य अल्� हें के� (और) मु�हेंम्‍मु� (साल्�²) अल्� हें के� साच्च� सान्��ष्ट हें<), केहेंकेर मुने सा� अल्� हें के� एकेमु त्री हें&ने� के इकेष्रा र किकेय जा ए और हेंNरत मु�हेंम्‍मु� (साल्�²) के& अल्� हें के साच्च रसा�� �वा�के र किकेय जा ए।

11. सा�अर के मु ,सा हेंर मु हें�

प्रश्नों= इ�� मु मु# सा�अर के मु ,सा : ने क्य वार्जिजाZत हें�?

उत्तर= इ�� मु मु# सा�अर के मु Dसा : ने वार्जिजाZत हें&ने� के4 बी त सा� साभी� पोरिरलिचात हें<। किनेम्‍नेलि�खि:त तथ्य द्वा र इसा प्रकितबीन्ध के4 व्य ख्य के4 गैई हें�।

पोकिवात्री क़ुy रआने मु# केमु सा� केमु चा र स्था ने पोर सा�अर के मु ,सा : ने� के4 मुने हें� के4 गैई हें�। पोकिवात्री क़ुy रआने के4 सा�रहें 2, आयत 173, सा�रहें 5, आयत 3, सा�रहें 6, आयत 145, सा�रहें 16, आयत 115 मु# इसा किवाषय पोर स्पेष्ट आ��शु दि�य� गैए हें<:

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‘‘त�मु पोर हेंर मु किकेय गैय मु�र� र (जिNब्हें किकेय� किबीने मुर� हुए जा नेवार) के मु ,सा, सा�अर के मु ,सा और वाहें जा नेवार जा& अल्� हें के� ने मु के� अकितरिरक्त किकेसा� और ने मु पोर जिNब्हें किकेय गैय हें&, जा& गै� घा�टःने� सा�, चा&टः7: केर, ऊँD चा ई सा� किगैरकेर य टःक्केर : केर मुर हें&, य जिजासा� किकेसा� �रिरन्�� ने# फ ड़ हें& लिसावा य उसाके� जिजासा� त�मु ने� जिNन्� पो केर जिNब्हें केर लि�य और वाहें जा& किकेसा� आ�त ने� (पोकिवात्री स्था ने, इ�� मु के� मु�ल्य के� आधु र पोर) पोर जिNब्हें किकेय गैय हें&।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 5:3)

इसा सा,�भी0 मु# पोकिवात्री क़ुy रआने के4 साभी� आयत# मु�सा�मु ने के& सा,त�ष्ट केरने� हें�त� पोय 0प्त हें� किके सा�अर के मु ,सा क्य हेंर मु हें�।

बी इबी� ने� भी� सा�अर के मु ,सा : ने� के4 मुने हें� के4 हें�

सा,भीवात= ईसा ई �&गै अपोने� धुमु0ग्रं,र्था मु# त& किवाश्व सा र:त� हें� हेंगै�। बी इबी� मु# सा�अर के मु ,सा : ने� के4 मुने हें� इसा प्रके र के4 गैई हें�=

‘‘और सा�अर के&, क्यकिके उसाके� पो Dवा अ�गै और लिचार� हुए हें<। पोर वाहें जा�गै �� (पो गै�र) नेहेंG केरत , वाहें भी� त�म्‍हें र� लि�य� अपोकिवात्री हें�, त�मु उनेके मु ,सा ने : ने , उनेके4 � शु के& ने छा�ने , वाहें त�म्‍हें र� लि�ए अपोकिवात्री हें<।’’ (ओल्ड टः��टः मु#टः, अध्य य 11, 7 सा�

के� छा ऐसा� हें� शुब्� के� सा र्था ओल्ड टः��टः मु#टः के4 पो Dचावा� पो��तके मु# सा�अर : ने� सा� मुने किकेय गैय हें�=

‘‘और सा�अर त�म्‍हें र� लि�ए इसा के रर्ण सा� अपोकिवात्री हें� किके इसाके� पो Dवा त& लिचार� हुए हें< पोरन्त� वाहें जा�गै �� नेहेंG केरत , त�मु ने त& उनेके मु Dसा : ने और ने उनेके4 � शु के& हें र्था �गै ने ।’’ (ओल्ड टः��टः मु#टः, अध्य य 14:8)

ऐसा� हें� मुने हें� बी इबी� (ओल्ड टः��टः मु#टः, अध्य य 65, वा क्य 2 त 5) मु# भी� मु]जा�� हें�।

सा�अर के� मु ,सा हें र सा� अने�के र&गै उCपोन्न हें&त� हें<

अबी आईए! ग़ै�र मु�स्लि��मु और ईश्वर के& ने मु नेने� वा � के4 ओर, उन्हें# त& बी]जिद्धके तके0 , �शु0ने और किवाज्ञा ने के� 7द्वा र हें� केषय� किकेय जा साकेत हें�। सा�अर के मु ,सा : ने� सा� केमु सा� केमु 70 किवात्तिभीन्न र&गै �गै साकेत� हें<। एके व्यलिक्त के� उ�र मु# केई प्रके र के� के4टः र्ण� हें& साकेत� हें<, जा�सा� र उण्डा वामु0, किपोने वामु0 और हुके वामु0 इCय दि�। उनेमु# साबीसा� अधिधुके घा तके टः ईकिनेय सा&लि�यमु (Taenia Soliam) केहें� त हें�। सा मु न्य रूपो सा� इसा� टः�पोवामु07भी� केहें जा त हें�। यहें बीहुत �म्‍बी हें&त हें� और आ,त मु# रहेंत हें�। इसाके� अण्डा� (OVA)रक्त प्रवा हें मु# धिमु�केर शुर�र के� किकेसा� भी� भी गै मु# पोहु,चा साकेत� हें<। यदि� यहें मुग्लि�तष्के तके जा पोहु,चा� त& �मुरर्ण शुलिक्त के& बीहुत हें किने पोहु,चा साकेत� हें<। यदि� दि�� मु# प्रवा�शु केर जा ए त& दि�� के �]र पोड़ साकेत हें�। आD: मु# पोहु,चा जा ए त& अ,धु केर साकेत� हें<। जिजागैर मु# घा�साकेर पो�र� जिजागैर के& नेष्ट केर साकेत� हें<। इसा� प्रके र शुर�र के� किकेसा� भी गै के& हें किने पोहु,चा साकेत� हें<। पो�टः मु# पो य जा ने� वा � एके अन्य र&गै र्ण� Trichura Lichurasi हें�।

यहें एके सा मु न्य भ्रु ,कित हें� किके यदि� सा�अर के� मु ,सा के& भी��भी ,कित पोके य जा ए त& इने र&गै र्ण�ओं के� अण्डा� नेष्ट7हें& जा ए,गै�। अमुर�के मु# किकेय� गैए अने�सा,धु ने के� अने�सा र ट्रा ईक्य&र सा� प्रभी किवात 24 व्यलिक्तय मु# 20 ऐसा� र्था� जिजान्हेंने� सा�अर के मु Dसा अच्छे) तरहें पोके केर : य र्था । इसासा� पोत चा� किके सा�अर के मु ,सा अच्छे) तरहें

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पोके ने� पोर सा मु न्य त पोमु ने पोर भी� उसामु# मु]जा�� र&गै र्ण� नेहेंG मुरत� जा& भी&जाने पोके ने� के� लि�ए पोय 0प्त मु ने जा त हें�।

सा�अर के� मु ,सा मु# चाबी� बीJ ने� वा � तCवा हें&त हें�

सा�अर के� मु ,सा मु# ऐसा� तCवा बीहुत केमु हें&त� हें< जा& मु ,सापो�लिशुय के& किवाकेलिसात केरने� के� के मु आत� हें। इसाके� किवापोर�त यहें चाबी� सा� भीरपो�र हें&त हें�। यहें वासा रक्त नेलि�के ओं मु# एकेत्री हें&त� रहेंत� हें� और अ,तत=

अCय धिधुके �बी वा (हें इपोर टः#शुने) ओर हृ�यघा त के के रर्ण बीने साकेत� हें�। अत= इसामु# के&ई आश्चाय0 नेहेंG किके 50 प्रकितशुत सा� अधिधुके अमुर�किकेय के& हें इपोर टः#शुने के र&गै �गै हुआ हें�।

सा�अर सा,सा र के� सामु�त जा नेवार सा� अधिधुके धिघाने]ने जा�वा

सा�अर सा,सा र मु# साबीसा� अधिधुके धिघाने]ने जा नेवार हें�। यहें गै,�गै�, मु�� इCय दि� : केर गै�N र केरत हें�। मु�र� जा नेके र� के� अने�सा र यहें बी�हेंतर�ने साs ई केमु0चा र� हें� जिजासा� ईश्वर ने� पो�� किकेय हें�। वाहें ग्रं मु�र्ण क्षा�त्री जाहें D शु]चा �य आदि� नेहेंG हें&त� और जाहें D �&गै :��� स्था ने पोर मु�मु�त्री Cय गै केरत� हें<, वाहें D के4 अधिधुके ,शु गैन्�गै� यहें सा�अर हें� सा s केरत� हें<।

के� छा �&गै केहें साकेत� हें< किके आ�ट्रा�लि�य जा�सा� उन्नत ��शु मु# सा�अर पो �ने �वाच्छे और �वास्था वा त वारर्ण मु# किकेय जा त हें�। पोरन्त� इतने� सा वाधु ने� के� बी वाजा�� किके जाहें D सा�अर के& बी ड़ मु# अन्य पोशु�ओं सा� अ�गै र: जा त हें�, किकेतने हें� प्रय सा केर लि�य जा ए किके उन्हें# �वाच्छे र: जा साके� किकेन्त� यहें सा�अर अपोने� प्र केM कितके प्रवात्तित्त मु# हें� इतने गैन्� हें� किके उसा� अपोने� सा र्था के� जा नेवार के मु�� : ने� हें� मु# आनेन्� आत हें�।

सा�अर साबीसा� किने�0ज्जा जा नेवार

इसा धुरत� पोर साबीसा� ज़्य � बी�शुमु0 जा नेवार के� वा� सा�अर हें�। सा�अर एकेमु त्री जा नेवार हें� जा& अपोने� मु दि�ने (Mate)के� सा र्था साम्भ&गै मु# अन्य सा�अर के& आमु,कित्रीके केरत हें�। अमुर�के मु# बीहुत सा� �&गै सा�अर : त� हें< अत= वाहें D इसा प्रके र के प्रचा�ने आमु हें� किके ने चा-र,गै के4 अधिधुकेतर पो र्टिटःZय के� पोश्चा त �&गै अपोने� पोत्निCनेय D बी�� ��त� हें<, अर्था 0त वा� केहेंत� हें<‘ ‘‘धिमुत्री! त�मु मु�र� पोCने� और मु< त�म्‍हें र� पोCने� के� सा र्था आनेन्� ��,गै …।’’

यदि� के&ई सा�अर के मु ,सा : एगै त& सा�अर के� सामु ने हें� व्यवाहें र केर�गै , यहें सावा0मु न्य तथ्य हें�।

12. शुर बी के4 मुने हें�

प्रश्नों= इ�� मु मु# शुर बी पो�ने� के4 मुने हें� क्य हें�?

उत्तर= मु नेवा सा,�केM कित के4 �मुMकित और इकितहें सा आर,भी हें&ने� सा� पोहें�� सा� शुर बी मु नेवा सामु जा के� लि�ए अत्तिभीशु पो बीने� हुई हें�। यहें असा,ख्य �&गै के� प्र र्ण �� चा�के4 हें�। यहें क्रमु अभी� चा�त जा रहें हें�। इसा� के� के रर्ण किवाश्व के� केर&ड़ �&गै के जा�वाने नेष्ट हें& रहें हें�। सामु जा के4 अने�के सामु�य ओं के4 बी�किनेय �) वाजाहें के� वा� शुर बी हें�। अपोर धु मु# वाMजिद्ध और किवाश्वभीर मु# केर&ड़ बीरबी � घार ने� शुर बी के4 किवाने शु��� के हें� मु]ने उ� हेंरर्ण हें�।

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पोकिवात्री क़ुy रआने मु# शुर बी के4 मुने हें�

किनेम्‍नेलि�खि:त पोकिवात्री आयत मु# क़ुy रआने हेंमु# शुर बी सा� र&केत हें�।

‘‘हें� �&गै&! जा& ईमु ने � ए हें&! यहें शुर बी, जा�आ और यहें आ�त ने� और पो ,सा�, यहें साबी गैन्�� और शु�त ने� के मु हें<। इनेसा� पोरहें�N केर&, उम्‍मु�� हें� किके त�म्‍हें# भी� ई प्र प्त हें&गै�।’’ (सा�रहें 5, आयत 90)

बी ईबी� मु# मुदि�र सा�वाने के4 मुने हें�

बी ईबी� के4 किनेम्‍नेलि�खि:त आयत मु# शुर बी पो�ने� के4 बी�र ई बीय ने के4 गैई हें�=

‘‘शुर बी हें �य स्पे� और हें,गै मु केरने� वा �� हें�, जा& के&ई इनेसा� धु&: : त हें� (वाहें) बी�जिद्धमु ने नेहेंG।’’ (दृष्ट ,त अध्य य 20, आयत 1)

‘‘और शुर बी के� नेशु� मु# मुतवा �� ने बीने&।’’ (अsलिसाय, अध्य य 5, आयत 18)

मु नेवा मुग्लि�तष्के के एके भी गै ‘‘किनेर&धु� के# द्र’’ (Inhibitory Center) केहें� त हें�। इसाके के मु हें� मुने�ष्य के& ऐसा� किक्रय ओं सा� र&केने जिजान्हें# वाहें �वाय, ग़ै�त सामुझुत हें&। जा�सा� सा मु न्य व्यलिक्त अपोने� बीड़ के� सा मुने� अशु��� भी ष के प्रय&गै नेहेंG केरत । इसा� प्रके र यदि� किकेसा� व्यलिक्त के& शु]चा के4 आवाश्यकेत हें&त� हें� वाहें साबीके� सा मुने� नेहेंG केरत और शु]चा �य के4 ओर रुh केरत हें�।

जाबी के&ई शुर बी पो�त हें� त& उसाके किनेर&धु� के# द्र �वात= हें� के मु केरने बीन्� केर ��त हें�। यहें� के रर्ण हें� किके शुर बी के� नेशु� मु# धु�त हें&केर वाहें व्यलिक्त ऐसा� किक्रय ए, केरत हें� जा& सा मु न्यत= उसाके4 वा �तकिवाके प्रवाMकित सा� मु�� नेहेंG : तG। जा�सा� नेशु� मु# चा�र व्यलिक्त अशु��� भी ष बी&�ने� मु# के&ई शुमु0 मुहेंसा�सा नेहेंG केरत । अपोने� ग़ै�त� भी� नेहेंG मु नेत , चा हें� वाहें अपोने� मु त -किपोत सा� हें� क्य ने बी त केर रहें हें&। शुर बी� अपोने� केपोड़ मु# हें� मु�त्री Cय गै केर ��त� हें<, वा� ने त& ठ�के सा� बी त केर पो त� हें< और ने हें� ठ�के सा� चा� पो त� हें<, यहें D तके किके वा� अभीद्र हेंरकेत# भी� केर गै�Nरत� हें<।

व्यत्तिभीचा र, बी� Cके र, वा साने वाMत्तित्त के4 घाटःने ए, शुर किबीय मु# अधिधुके हें&त� हें<। अमुर�के4 प्रकितरक्षा मु,त्री �य के� ‘‘र ष्ट्र�य अपोर धु प्रभी किवात हें�त� सावाHक्षार्ण ए,वा न्य य सा,स्था ने’’ के� अने�सा र 1996 के� �]र ने अमुर�के मु# बी� Cके र के4 प्रकितदि�ने घाटःने ए, 20,713 र्थाG। यहें तथ्य भी� सा मुने� आय किके अधिधुके ,शु बी� Cके रिरय ने� यहें के� केM Cय नेशु� के4 अवास्था मु# किकेय । छा�ड़छा ड़ के� मु मु� के के रर्ण भी� अधिधुकेतर नेशु हें� हें�।

आ,केड़ के� अने�सा र 8 प्रकितशुत अमुर�के4 इनेसा��टः ;प्�बीमु�जाद्ध सा� ग्रंलिसात हें<। इसाके मुत� बी यहें हुआ किके प्रCय�के 12 अर्थावा 13 मु# सा� एके अमुर�के4 इसा र&गै सा� प्रभी किवात हें�। इन्सा��टः के4 अधिधुके ,शु घाटःने ए, मुदि�र सा�वाने के� के रर्ण घादिटःत हें&त� हें< जिजानेमु# एके य �& �&गै लि�प्त हें& जा त� हें<।

(अ,ग्रं�N� शुब्� प्�बीमु�जा के अने�वा � किकेसा� शुब्�के&क्षा मु# नेहेंG धिमु�त । पोरन्त� इसाके4 व्य ख्य सा� इसा केM Cय के� धिघाने]ने�पोने के अने�मु ने �गै य जा साकेत हें�। ऐसा� किनेकेटः रिरश्त� जिजानेके� बी�चा धुमु0, सामु जा और के ने�ने के� अने�सा र किवावा हें वा र्जिजाZत हें�, उनेसा� शुर�रिरके साम्‍बीन्ध के& प्�बीमु�जा केहें जा त हें�।’’) अने�वा �के

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इसा� प्रके र एडा�सा के� किवाने शुके र� र&गै के� फ� � वा के� के रर्ण मु# एके प्रमु�: के रर्ण मुदि�र सा�वाने हें� हें�।

प्रCय�के शुर बी पो�ने� वा � ‘‘सा मु जिजाके’’ रूपो सा� हें� पो�ने आर,भी केरत हें�

बीहुत सा� �&गै ऐसा� हें< जा& मुदि�र पो ने के� पोक्षा मु# तके0 ��त� हुए �वाय, के& ‘‘सा मु जिजाके पो�ने� वा � ’’ ;��वाबीपो,सा क्तपो� मुतद्ध बीत त� हें< और यहें � वा केरत� हें< किके वा� एके य �& पो�गै हें� लि�य केरत� हें< और उन्हें# �वाय, पोर पो�र्ण0 किनेय,त्रीर्ण रहेंत हें� और वा� केभी� पो�केर उन्मुत्त नेहेंG हें&त�। :&जा सा� पोत चा� हें� किके अधिधुके ,शु घा&र किपोयक्केड़ ने� आर,भी इसा� ‘‘सा मु जिजाके’’ रूपो सा� किकेय र्था । वा �तवा मु# के&ई किपोयक्केड़ ऐसा नेहेंG हें� जिजासाने� शुर बी पो�ने� के आ,रभी इसा इर �� सा� किकेय हें& किके आगै� चा�केर वाहें इसा �त मु# फ, सा जा एगै । इसा� प्रके र के&ई ‘‘सा मु जिजाके पो�ने� वा � ’’ यहें � वा नेहेंG केर साकेत किके वाहें वाषq सा� पो�त आ रहें हें� और यहें किके उसा� �वाय, पोर इतने अधिधुके किनेय,त्रीर्ण हें� किके वाहें पो�केर एके बी र भी� मु�हें&शु नेहेंG हुआ।

यदि� के&ई व्यलिक्त नेशु� मु# एकेबी र के&ई शुमु0ने के हेंरकेत केर बी�ठ� त& वाहें सा र� जिNन्�गै� उसा के� सा र्था रहें�गै�

मु ने ��जिजाए एके ‘‘सा मु जिजाके किपोयक्केड़’’ अपोने� जा�वाने मु# के� वा� एके बी र (नेशु� के4 स्लिस्थाकित मु#) अपोने किनेय,त्रीर्ण :& ��त हें� और उसा स्लिस्थाकित मु# incest के अपोर धु केर बी�ठत हें� त& पोश्त चा पो जा�वाने पोय0न्त उसाके सा र्था नेहेंG छा&ड़त और वाहें अपोर धु बी&धु के4 भी वाने सा� ग्रं�त रहें�गै । अर्था 0त अपोर धु� और उसाके लिशुके र �&ने हें� के जा�वाने इसा g� किने सा� नेष्टप्र य हें&केर रहें जा एगै ।

पोकिवात्री हें�)सा मु# शुर बी के4 मुने हें�

हुजा�र साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु ने� sरमु य =

(के) ‘‘शुर बी तमु मु बी�र ईय के4 मु D हें� और तमु मु बी�र ईय मु# साबीसा� ज़्य � शुमु0ने के हें�।’’ (सा�नेने इब्ने� मु जाहें, जिजाल्� 3, किकेत बी�� hम्र, अध्य य 30, हें�)सा 3371)

(:) ‘‘प्रCय�के वा�त� जिजासाके4 अधिधुके मु त्री नेशु केरत� हें&, उसाके4 र्था&ड़� मु त्री भी� हेंर मु हें�।’’ (सा�नेने इब्ने� मु जाहें, किकेत बी�� hम्र, हें�)सा 3392)

इसा हें�)सा सा� अत्तिभीप्र य यहें सा मुने� आत हें� किके एके घा�,टः अर्थावा के� छा बी�,� के4 भी� गै�,जा ईशु नेहेंG हें�।

(गै) के� वा� शुर बी पो�ने� वा � पोर हें� � नेत नेहेंG के4 गैई, बीग्लिल्के अल्� हें तआ� के� नेN�)के वा� �&गै भी� कितर�केM त हें< जा& शुर बी पो�ने� वा � के� सा र्था प्रCयक्षा अर्थावा अप्रCयक्षा सा,मुबीन्ध र:#। सा�नेने इब्ने� मु जाहें मु# किकेत बी�� hम्र के4 हें�)सा 3380 के� अने�सा र हुजा�र साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु ने� sरमु य =

‘‘अल्� हें के4 � नेत ने जिN� हें&त� हें� उने 10 प्रके र के� सामु�हें पोर जा& शुर बी सा� साम्‍बी,धिधुत हें<। एके वाहें सामु�हें जा& शुर बी बीने ए, और र्दूसार वाहें जिजासाके� लि�ए शुर बी बीने ई जा ए। एके वाहें जा& उसा� किपोय� और र्दूसार वाहें जिजासा7तके शुर बी पोहु,चा ई जा ए, एके वाहें जा& उसा� पोर&सा�। एके वाहें जा& उसाके& बी�चा�, एके वाहें जा& इसाके� द्वा र अर्जिजाZत धुने के उपोय&गै केर�। एके वाहें जा& इसा� hर���। और एके वाहें जा& इसा� किकेसा� र्दूसार� के� लि�य� hर���।’’

शुर बी पो�ने� सा� जा�ड़� बी�मु रिरय D

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वा�ज्ञा किनेके दृधिष्टके&र्ण सा� ��: जा ए त& शुर बी सा� र्दूर रहेंने� के� अने�के बी]जिद्धके के रर्ण धिमु�#गै�। यदि� किवाश्व मु# मुMCय� के के&ई बीड़ के रर्ण त� शु किकेय जा ए त& पोत चा��गै किके शुर बी एके प्रमु�: के रर्ण हें�। प्रCय�के वाष0 � : �&गै शुर बी के4 �त के� के रर्ण मुMCय� के& प्र प्त हें<। मु�झु� इसा जागैहें शुर बी के� बी�र� प्रभी वा के� किवाषय मु# अधिधुके लि�:ने� के4 आवाश्यकेत नेहेंG क्यकिके इने बी त सा� साम्भवात= साभी� पोरिरलिचात हें<। किफर भी� शुर बी के� सा�वाने सा� उCपोन्न र&गै के4 सा,त्तिक्षाप्त सा�चा� अवाश्य �) जा रहें� हें�।

1. जिजागैर (��वार) के4 लिसाके� ड़ने के4 बी�मु र�, शुर बी पो�ने� के� द्वा र अधिधुके हें&त� हें�, यहें सावा0मु न्य हें<।

2. शुर बी पो�ने� सा� आहें र नेलि�के के के< सार, लिसार और गै�0ने के के< सार, तर्था पो के शुय (मु�� ) के के< सार इCय दि� हें&ने आमु बी त हें�।

3. आहें र नेलि�के के4 जा�ने और सा�जाने, मु��� पोर सा�जाने, किपोत्त� के4 hर बी� तर्था हें�किपोटः ईदिटःसा के साम्‍बीन्ध भी� शुर बी के� सा�वाने सा� हें�।

4. हृ�य सा� साम्‍बी,धिधुत सामु�त र&गै, और हृ�यघा त सा� भी� शुर बी के सा�धु साम्‍बीन्ध हें�।

5. �ट्रा&के, एपो&प्��क्सा�, हें ईपोर टः#शुने, किsटः�सा तर्था अन्य प्रके र के� पोक्षा घा त के साम्‍बीन्ध भी� शुर बी सा� हें�।

6. पो�र�s� र� न्य�र&पो�र्था�, के&र्टिटःZके� एटःर&s4 और लिसारबी��र एटःर&s4 जा�सा� �क्षार्ण भी� मुदि�र सा�वाने सा� हें� उCपोन्न7हें&त� हें<।

7. �मुरर्ण शुलिक्त के क्षा�र्ण हें& जा ने , बी&�चा � और �मुMकित मु# के� वा� पो�वा0 के4 घाटःने ओं के� हें� शु�ष रहें जा ने� के के रर्ण र्था ईधिमुने के4 केमु� सा� हें&त हें� जा& शुर बी के� अCय धिधुके सा�वाने सा� उCपोन्न हें&त� हें�।

8. बी�र�-बी�र� और अन्य किवाके र भी� शु र किबीय मु# पो ए जा त� हें<, यहें D तके किके उन्हें# प्� जार भी� हें& जा त हें�।

9. डा���रिरयमु टःर्मिमुZनेसा एके गैम्भ�र र&गै हें� जा& किकेसा� किवाके र के� उभीरने� के� �]र ने आप्र�शुने के� पोश्चा त �गै साकेत हें�। यहें शुर बी पो�ने छा&ड़ने� के� एके प्रभी वा के� रूपो मु# भी� प्रकेटः हें& साकेत हें�। यहें स्लिस्थाकित बीहुत जादिटः� हें� और प्र य= मुMCय� के के रर्ण भी� बीने साकेत� हें�।

10. मु�त्री तर्था गै��q के4 अने�के सामु�य ए, भी� मुदि�र सा�वाने सा� साम्‍बीद्ध हें< जिजानेमु# धिमुक्सा&डा�धिमुय सा� ��केर हें ईपोर7र्था ईर किडाज़्मु और फ़्�&र किडास्लिक्श,गै लिंसाZडार&मु तके शु धिमु� हें<।

11. रक्त पोर मुदि�र सा�वाने के� नेकेर Cमुके प्रभी वा के4 सा�चा� बीहुत �म्‍बी� हें� किकेन्त� s&लि�के एलिसाडा मु# केमु� एके ऐसा प्रत�के हें� जा& अधिधुके मुदि�र सा�वाने के सा मु न्य पोरिरर्ण मु हें� और जा& मु ईक्र& सा इदिटःके एने�धिमुय के� रूपो मु# प्रकेटः हें&त हें�। ज़्य�N लिंसाZडार&मु त�ने र&गै के सा,ग्रंहें हें� जा& किपोयक्केड़ के4 त के मु# रहेंत� हें< जा& किके हें�मु&��दिटःके एने�मुय , जा नेकिडासा (पो�लि�य ) और हें ईपोर � इपो�डा�धिमुय के सा,ग्रंहें हें<।

12. थ्रम्‍बी& सा इटः&पो�किनेय और प्��टःलि�टः�सा के� अन्य किवाके र पो�ने� वा � मु# सा मु न्य हें<।

13. सा मु न्य रूपो सा� उपोय&गै के4 जा ने� वा �� औषधिधु अर्था 0त ‘फ़्��जा�’ (मु�ट्रा&ने�डा N&�) भी� शुर बी के� सा र्था बी�र� प्रभी वा डा �त� हें�।

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14. किकेसा� र&गै के बी र-बी र आक्रमुर्ण केरने , शुर किबीय मु# बीहुत आमु हें�। के रर्ण यहें हें� किके अधिधुके मुदि�र सा�वाने सा� उनेके� शुर�र के4 बी�मु रिरय के� किवारुद्ध अवार&धुके क्षामुत क्षा�र्ण हें& जा त� हें�।

15. छा त� के� किवात्तिभीन्न किवाके र भी� पो�ने� वा � मु# बीहुत यत सा� पो ए जा त� हें<। किनेमु&किनेय , फ� फड़ के4 hर बी� तर्था क्षायर&गै शुर किबीय मु# सा मु न्य रूपो सा� पो ए जा त� हें<।

16. अधिधुके शुर बी पो�केर अधिधुके ,शु शुर बी� वामुने केर �त� हें<, : Dसा� के4 शु र�रिरके प्रकितकिक्रय जा& सा�रक्षा व्यवास्था के के य0 केरत� हें� उसा �]र ने असाफ� हें& जा त� हें� अत= उल्टः) सा� किनेके�ने� वा � द्रव्य साहेंजा मु# फ� फड़ तके जा पोहु,चात हें� और किनेमु&किनेय य फ� फड़ के� किवाके र के के रर्ण बीनेत हें�। केई बी र इसाके पोरिरर्ण मु �मु घा�टःने� तर्था मुMCय� के� रूपो मु# भी� प्रकेटः हें&त हें�।

17. मुकिहें� ओं मु# मुदि�र सा�वाने के� हें किनेके रके प्रभी वा के4 चाचा 0 किवाशु�ष रूपो सा� के4 जा ने� आवाश्यके हें�। पो�रुष7के4 अपो�क्षा मुकिहें� ओं के& मुदि�र सा�वाने सा� अधिधुके हें किने के4 आशु,के हें&त� हें�। गैभी 0वास्था मु# मुदि�र सा�वाने सा� गैभी 0शुय पोर घा तके प्रभी वा पोड़त हें�। मु�किडाके� सा इ,सा मु# ‘‘s� टः� अ�के&हें� लिंसाZडार&मु’’ सा� साम्‍बीद्ध शु,के ए, दि�ने&-दि�ने बीJत� जा रहें� हें�।

18. मुदि�र सा�वाने सा� Cवाचा र&गै के4 पो�र� साम्भ वाने हें�।

19. एगैN�मु , ए�&पो�लिशुय , ने h�ने के4 बीने वाटः किबीगैड़ने , पो�र&ने�लिशुय अर्था 0त ने h�ने के� किकेने र के किवाके र, ए,गै��र �टः&मु टः ईदिटःसा (मु�Dहें के� जा&ड़ मु# जा�ने) वाहें सा मु न्य बी�मु रिरय D हें< जा& शुर किबीय मु# पो ई जा त� हें<।

मुदि�र सा�वाने एके ‘‘बी�मु र�’’ हें�

लिचाकिकेCसा शु �त्री� अबी शुर बी पो�ने� वा � के� किवाषय मु# :��केर किवाचा र व्यक्त केरत� हें<। उनेके केहेंने हें� किके मुदि�र सा�वाने के&ई आ�त य नेशु नेहेंG बीग्लिल्के एके बी�मु र� हें�। इ�� धिमुके रिरसाचा0 s उण्डा�शुने ने मुके सा,स्था ने� एके पो�ग्लि�तके प्रके लिशुत के4 हें� जिजासामु# केहें गैय हें� किके शुर बी एके बी�मु र� हें� जा&=

> बी त� मु# बी�चा� जा त� हें�।

> जिजासाके प्रचा र सामु चा र पोत्री, पोकित्रीके ओं, र�किडाय& और टः).वा�. पोर किकेय जा त हें�।

> जिजासा� फ� � ने� के� लि�ए दुके ने के& � यसा#सा दि�य� जा त� हें<।

> सारके र के� र जा�वा आय के सा धुने हें�

> साड़के पोर भीय,केर दुघा0टःने ओं के के रर्ण बीनेत� हें<

> पो रिरवा रिरके जा�वाने के& नेष्ट केरत� हें� तर्था अपोर धु मु# बीJ]तर� केरत� हें�।

> इसाके के रर्ण के&ई र&गै र्ण� अर्थावा वा यरसा नेहेंG हें�।

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> मुदि�र सा�वाने के&ई र&गै नेहेंG…यहें त& शु�त ने के4 के र�गैर� हें�।

अल्� हें तआ� ने� हेंमु# इसा शु�त ने� के� चाक्र सा� सा वाधु ने किकेय हें�। इ�� मु ‘‘�)ने-ए-किsतरत’’ (प्र केM कितके धुमु0) केहें� त हें�। अर्था 0त ऐसा धुमु0 जा& मु नेवा के� प्रकेM कित के� अने�सा र हें�। इ�� मु के� सामु�त प्र वाधु ने के उद्दा�श्य यहें हें� किके मु नेवा के4 प्रकेM कित के4 सा�रक्षा के4 जा ए। शुर बी और मु �के द्रव्य के सा�वाने प्रकेM कित के� किवापोर�त केM Cय हें� जा& व्यलिक्त और सामु जा मु# किबीगै ड़ के के रर्ण बीने साकेत हें�। शुर बी मुने�ष्य के& उसाके4 व्यलिक्तगैत मु नेवा�य प्रकितष्ठ और आCमु साम्‍मु ने सा� वा,लिचात केर उसा� पो त्तिश्वके �तर तके �� जा त� हें�। इसा�लि�ए इ�� मु मु# शुर बी पो�ने� के4 घा&र मुने हें� हें� और इसा� मुहें पो पो ठहेंर य गैय हें�।

13. गैवा हें के4 सामु नेत

प्रश्नों= क्य के रर्ण हें� किके इ�� मु मु# �& त्नि�त्रीय के4 गैवा हें� एके पो�रुष के� सामु ने ठहेंर ई जा त� हें�?

उत्तर= �& त्नि�त्रीय के4 गैवा हें� एके पो�रुष के4 गैवा हें� के� बीर बीर हेंमु�शु नेहेंG ठहेंर ई जा त�।

(के) जाबी किवार सात के4 वासा�यत के मु मु� हें& त& �& न्य यकिप्रय (य&gय) व्यलिक्तय के4 गैवा हें� आवाश्यके हें�।

पोकिवात्री क़ुy रआने के4 केमु सा� केमु 3 आयत# हें< जिजानेमु# गैवा हें के4 चाचा 0 �त्री� अर्थावा पो�रुष के4 व्य ख्य के� किबीने के4 गैई हें�। जा�सा�=

‘‘हें� �&गै&! जा& ईमु ने � ए हें&, जाबी त�मु मु# सा� किकेसा� के4 मुMCय� के सामुय आ जा ए और वाहें वासा�यत केर रहें हें& त& उसाके� लि�ए सा क्ष्य के किनेयमु यहें हें� किके त�म्‍हें र� जामु अत (सामु�हें) मु# सा� �& न्य यकिप्रय व्यलिक्त गैवा हें बीने ए जा ए,। य यदि� त�मु य त्री के4 स्लिस्थाकित मु# हें& और वाहें D मुMCय� के4 मु�सा�बीत पो�शु आए त& ग़ै�र (बी�गै ने�) �&गै मु# सा� �& गैवा हें बीने ए जा ए,।’’ (सा�रहें अ�-मु य� , आयत 106)

(:) त� के के� मु मु�� मु# �& न्य यकिप्रय �&गै के4 बी त के4 गैई हें�=

‘‘किफर जाबी वा� अपोने� (इद्दात) के4 अवाधिधु के4 सामु प्तिप्त पोर पोहु,चा# त& य त& भी�� तर�के� सा� (अपोने� किनेके हें) मु# र&के र:&, य भी�� तर�के� सा� उनेसा� जा�� हें& जा ओ और �& ऐसा� �&गै के& गैवा हें बीने �& जा& त�मु मु# न्य यकिप्रय7हें और (हें� गैवा हें बीनेने� वा �&!) गैवा हें� ठ�के-ठ�के और अल्� हें के� लि�ए अ� केर&।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने 65:2)

(इसा जागैहें इद्दात के4 अवाधिधु के4 व्य ख्य ग़ै�र मु�स्लि��मु पो ठके के� लि�ए केरने आवाश्यके जा ने पोड़त हें�। इद्दात के प्र वाधु ने इ�� मु� शुर�अत मु# इसा प्रके र हें� किके यदि� पोकित त� केष� �� �� त& पोCने� 3 मु हें 10 दि�ने तके अपोने� घार मु# पोरिरजाने के4 ��:र�: मु# सा�धिमुत रहें�, इसा बी�चा यदि� त� केष� ��ने� वा �� पोकित सा� वाहें गैभी0वात� हें� त& उसाके पोत चा� जा एगै । यदि� पोकित के4 मुMCय� हें& जा त� हें� त& इद्दात के4 अवाधिधु 4 मु हें हें�। यहें इ�� मु के4 किवाशु�ष सा मु जिजाके व्यवास्था हें�। इने अवाधिधुय मु# �त्री� र्दूसार किवावा हें नेहेंG केर साकेत�।) अने�वा �के

(गै) त्नि�त्रीय के� किवारूद्ध बी�चा�ने� के� आर&पो �गै ने� के� साम्‍बीन्ध मु# चा र गैवा हें के प्र वाधु ने किकेय गैय हें�=

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‘‘और जा& �&गै पो के� मुने औरत पोर त&हेंमुत �गै ए, और किफर 4 गैवा हें ��केर ने आए,, उनेके& उसा� के&ड़� सा�7मु र& और उनेके4 गैवा हें� ने �वा�के र केर& और वा� �वाय, हें� झु�ठ� हें<।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने 24:4)

पो�सा� के� ��ने-��ने मु# �& त्नि�त्रीय के4 गैवा हें� एके पो�रुष के4 गैवा हें� के� बीर बीर हें&त� हें�

यहें साचा नेहेंG हें� किके �& गैवा हें त्नि�त्रीय D हेंमु�शु एके पो�रुष के� बीर बीर सामुझु� जा त� हें<। यहें बी त के� वा� के� छा मु मु� के4 हें� तके ठ�के हें�, पोकिवात्री क़ुy रआने मु# ऐसा� �गैभीगै पो Dचा आयत� हें< जिजानेमु# गैवा हें के4 �त्री�-पो�रुष के� भी�� के� किबीने चाचा 0 के4 गैई हें�। इसाके� किवापोर�त पोकिवात्री क़ुy रआने के4 के� वा� एके आयत हें� जा& यहें बीत त� हें� किके �& गैवा हें त्नि�त्रीय D एके पो�रुष के� बीर बीर हें<। यहें पोकिवात्री क़ुy रआने के4 साबीसा� �म्‍बी� आयत भी� हें� जा& व्य पो रिरके ��ने-��ने के� किवाषय मु# सामु�क्षा केरत� हें�। इसा पोकिवात्री आयत मु# अल्� हें तआ� के sरमु ने हें�=

‘‘हें� �&गै&! जा& ईमु ने � ए हें&, जाबी किकेसा� किनेधु 0रिरत अवाधिधु के� लि�य� त�मु आपोसा मु# केष्र्N के ��ने-��ने केर& त&7उसा� लि�: लि�य केर&। �&ने पोक्षा के� बी�चा न्य य के� सा र्था एके व्यलिक्त ��त वा�N लि�:�, जिजासा� अल्� हें ने� लि�:ने� पोJने� के4 य&gयत प्र� ने के4 हें& उसा� लि�:ने� सा� इ,के र नेहेंG केरने चा किहेंए, वाहें लि�:� और वाहें व्यलिक्त इमु� केर ए (बी&�केर लि�:वा ए) जिजासा पोर हेंकेष� आत हें� (अर्था 0त केष्र्N ��ने� वा � ) और उसा� अल्� हें सा�, अपोने� रबी सा� डारने चा किहेंए, जा& मु मु� तय हुआ हें& उसामु# के&ई केमु�-बी�शु� ने केर�, ��किकेर यदि� केष्र्N ��ने� वा � अज्ञा ने य केमुN&र हें& य इमु� ने केर साकेत हें& त& उसाके वा�� (सा,रक्षाके अर्थावा प्रकितकिनेधिधु) न्य य के� सा र्था इमु� केर ए। किफर अपोने� पो�रूष मु# सा� �& के4 गैवा हें� केर �&। ओर यदि� �& पो�रुष ने हें त& एके पो�रुष और �& त्नि�त्रीय D हें त किके एके भी�� जा ए त& र्दूसार� उसा� य � दि�� ��।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , सा�रहें बीकेष्राहें आयत 282)

ध्य ने रहें� किके पोकिवात्री क़ुy रआने के4 यहें आयत के� वा� और के� वा� व्य पो रिरके के र&बी र� (रूपोय� पो�सा� के� ) ��ने-��ने सा� साम्‍बी,धिधुत हें�। ऐसा� मु मु� मु# यहें सा� हें �) गैई हें� किके �& पोक्षा आपोसा मु# लि�खि:त अने�बी,धु केर# और �& गैवा हें भी� सा र्था �# जा& �&ने (वार�यत मु#) पो�रुष हें। यदि� आपो के& �& पो�रुष ने धिमु� साके# त& किफर एके पो�रुष और �& त्नि�त्रीय के4 गैवा हें� सा� भी� के मु चा� जा एगै ।

मु ने �# किके एके व्यलिक्त किकेसा� बी�मु र� के� इ� जा के� लि�ए आप्र�शुने केरवा ने चा हेंत हें�। इसा इ� जा के4 पो�धिष्ट के� लि�ए वाहें चा हें�गै किके �& किवाशु�षज्ञा साजा0ने सा� पोर मुशु0 केर�, मु ने �# किके यदि� उसा� र्दूसार साजा0ने ने धिमु�� त& र्दूसार चायने एके साजा0ने और �& सा मु न्य डा क्टःर (जानेर� प्र�स्लिक्टःशुनेसा0) के4 र य हें&गै� (जा& सा मु न्य एमु.बी�.बी�.एसा) हें।

इसा� प्रके र आर्शिर्थाZके ��ने-��ने मु# भी� �& पो�रुष के& तरजा�हें (प्रमु�:त ) �) जा त� हें�। इ�� मु पो�रुष मु�सा�मु ने सा� अपो�क्षा केरत हें� किके वा� अपोने� पोरिरवा रजाने के केs4� (जिNम्‍मु�� र) हें&। और यहें � धियCवा पो�र केरने� के� लि�ए रुपोय पो�सा केमु ने� के4 जिNम्‍मु�� र� पो�रुष के� के, धु पोर हें�। अत= उसा� त्नि�त्रीय के4 अपो�क्षा आर्शिर्थाZके ��ने-��ने के� बी र� मु# पो�र� जा नेके र� हें&ने� चा किहेंए। र्दूसार� सा धुने के� रुपो मु# एके पो�रुष और �& त्नि�त्रीय के& गैवा हें के� रुपो मु# लि�य जा साकेत हें� त किके यदि� उने त्नि�त्रीय मु# सा� के&ई एके भी�� केर� त& र्दूसार� उसा� य � दि�� ��। पोकिवात्री क़ुy रआने मु# अरबी� शुब्� ‘‘तनेN��’’ के उपोय&गै किकेय गैय हें� जिजासाके अर्था0 ‘केन्sय�N हें& जा ने ’ य ‘ग़ै�त� केरने ’ के� लि�ए किकेय जा त हें�। बीहुत सा� �&गै ने� इसाके ग़ै�त अने�वा � केरके� इसा� ‘‘भी�� जा ने ’’ बीने दि�य हें�, अत= आर्शिर्थाZके ��ने-��ने मु# (इ�� मु मु#) ऐसा के� वा� एके उ� हेंरर्ण हें� जिजासामु# �& त्नि�त्रीय के4 गैवा हें� के& एके पो�रुष के� बीर बीर केष्रा र दि�य गैय हें�।

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हेंCय के� मु मु� मु# भी� �& गैवा हें त्नि�त्रीय D एके पो�रुष गैवा हें के� बीर बीर हें<

तर्थाकिपो के� छा उ��मु के4 र य मु# ने र� के किवाशु�ष और �वा भी किवाके रवा�य किकेसा� हेंCय के� मु मु�� मु# भी� गैवा हें� पोर7प्रभी किवात हें& साकेत हें�। ऐसा� स्लिस्थाकित मु# के&ई �त्री� पो�रुष के4 अपो�क्षा अधिधुके भीयभी�त हें& साकेत� हें�। अत= के� छा व्य ख्य के र के4 दृधिष्ट मु# हेंCय के� मु मु� मु# भी� �& सा क्षा� त्नि�त्रीय D एके पो�रुष सा क्षा� के� बीर बीर मु ने� जा त� हें<। अन्य साभी� मु मु� मु# एके �त्री� के4 गैवा हें� एके पो�रुष के� बीर बीर केर र �) जा त� हें�।

पोकिवात्री क़ुy रआने स्पेष्ट रूपो सा� बीत त हें� किके एके गैवा हें �त्री� एके गैवा हें पो�रुष के� बीर बीर हें�

के� छा उ��मु ऐसा� भी� हें< जा& यहें आग्रंहें केरत� हें< किके �& गैवा हें त्नि�त्रीय के� एके गैवा हें पो�रुष के� बीर बीर हें&ने� के किनेयमु साभी� मु मु� पोर � गै� हें&ने चा किहेंए। इसाके सामुर्था0ने नेहेंG किकेय जा साकेत क्यकिके पोकिवात्री क़ुy रआने ने� सा�रहें ने�र के4 आयत नेम्‍बीर 6 मु# स्पेष्ट रूपो सा� एके गैवा हें औरत के& एके पो�रुष गैवा हें के� बीर बीर केष्रा र दि�य हें�=

‘‘और जा& �&गै अपोने� पोत्निCनेय पोर � ,च्छेने �गै ए,, और उनेके� पो सा लिसावा य �वाय, के� र्दूसार� के&ई गैवा हें ने हें उनेमु# सा� एके व्यलिक्त के4 गैवा हें� (यहें हें� किके) चा र बी र अल्� हें के4 सा]गैन्ध : केर गैवा हें� �� किके वाहें (अपोने� आर&पो मु#) साच्च हें� और पो Dचावा� बी र केहें� किके उसा पोर अल्� हें के4 � नेत हें&, अगैर वाहें (अपोने� आर&पो मु#) झु�ठ हें&। और �त्री� सा� साN इसा तरहें टः� साकेत� हें� किके वाहें चा र बी र अल्� हें के4 सा]गैन्ध : केर गैवा हें� �� किके यहें व्यलिक्त (अपोने� आर&पो मु#) झु�ठ हें�, और पो Dचावा� बी र केहें� किके इसा बीन्�) पोर अल्� हें के ग़ैNबी (प्रके&पो) टः�टः� अगैर वाहें (अपोने� आर&पो मु#) साच्च हें&।’’ (सा�रहें ने�र 6 सा� 9)

हें�)सा के& �वा�के रने� हें�त� हेंNरत आयशु (रजिNयल्� हु अन्हें ) के4 अके� �� गैवा हें� पोय 0प्त हें�

उम्‍मु�� मु&धिमुने�ने (सामु�त मु�सा�मु ने के4 मु त ) हेंNरत आयशु रस्लि�जा. (हेंमु र� मुहें ने पो�ग़ैम्‍बीर साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु के4 पोCने�) के� मु ध्यमु सा� केमु सा� केमु 12,220 हें�)सा# बीत ई गैई हें<। जिजान्हें# के� वा� हेंNरत आयशु रस्लि�जा. एकेमु त्री गैवा हें� के� आधु र पोर प्र मु त्तिर्णके मु ने जा त हें�।

(इसा जागैहें यहें जा ने ��ने अकिनेवा य0 हें� किके यहें बी त उसा स्लिस्थाकित मु# साहें� हें� किके जाबी के&ई पोकिवात्री हें�)सा (पो�ग़ैम्‍बीर हेंNरत मु�हेंम्‍मु� मु��तs साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु के� केर्थाने अर्थावा के य0 के4 चाचा 0 अर्था 0त हें�)सा7के� उसा�� पोर :र� उतरत� हें& (अर्था 0त किकेसाने� किकेसा प्रके र क्य बीत य ) के� किनेयमु के� अने�सा र हें&, अन्यर्था वाहें हें�)सा चा हें� किकेतने� हें� बीड़� साहें बी� (वा� �&गै जिजान्हेंने� सारके र साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु के& ��: सा�ने हें�) के� द्वा र बीत ई गैई हें&, उसा� अप्र मु त्तिर्णके अर्थावा केमुN&र हें�)सा मु# मु ने जा त हें�।) अने�वा �के

यहें इसा बी त के स्पेष्ट साबी�त हें� किके एके �त्री� के4 गैवा हें� भी� �वा�के र के4 जा साकेत� हें�।

अने�के उ��मु तर्था इ�� मु� किवाद्वा ने इसा पोर एकेमुत हें< किके नेय चा D� दि�: ई ��ने� के� मु मु�� मु# एके (मुस्लि��मु) �त्री� के4 सा क्षा� पोय 0प्त हें�। केM पोय ध्य ने �# किके एके �त्री� के4 सा क्षा� (रमुN ने के4 स्लिस्थाकित मु#) जा& किके इ�� मु के एके �तम्भ हें�, के� लि�य� पोय 0प्त ठहेंर ई जा रहें� हें�। अर्था 0त वाहें मु�बी रके और पोकिवात्री मुहें�ने जिजासामु# मु�सा�मु ने र&N� र:त� हें<, गै&य रमुN ने शुर�s के� आगैमुने जा�सा� मुहेंCवापो�र्ण0 मु मु�� मु# �त्री�-पो�रुष उसा� �वा�के र केर रहें� हें<। इसा� प्रके र के� छा फ� केहें (इ�� मु के� धुमु 0चा यq) के केहेंने हें� किके रमुN ने के प्र रम्भ (रमुN ने के चा D�

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दि�: ई ��ने�) के� लि�ए एके गैवा हें, जाबीकिके रमुN ने के� सामु पोने (ईदु�किsत्री के चा D� दि�: ई ��ने�) के� लि�य� �& गैवा हें के हें&ने Nरूर� हें�। यहें D भी� उने गैवा हें के� �त्री� अर्थावा पो�रुष हें&ने� के4 के&ई भी� शुत0 नेहेंG हें�।

के� छा मु�सा�मु ने मु# �त्री� के4 गैवा हें� के& अधिधुके तरजा�हें �) जा त� हें�

के� छा घाटःने ओं मु# के� वा� और के� वा� एके हें� �त्री� के4 गैवा हें� चा किहेंए हें&त� हें� जाबीकिके पो�रुष के& गैवा हें के� रूपो मु#7नेहेंG मु ने जा त । जा�सा� त्नि�त्रीय के4 किवाशु�ष सामु�य ओं के� मु मु�� मु#, अर्थावा किकेसा� मुMतके �त्री� के� नेहें� ने� और केsने ने� आदि� मु# एके �त्री� के गैवा हें हें&ने आवाश्यके हें�।

अ,त मु# इतने बीत ने पोय 0प्त हें� किके आर्शिर्थाZके ��ने-��ने मु# �त्री� और पो�रुष के4 गैवा हें� के� बी�चा सामु नेत के अ,तर7के� वा� इसालि�ए नेहेंG किके इ�� मु मु# पो�रुष और त्नि�त्रीय के� बी�चा सामुत नेहेंG हें�, इसाके� किवापोर�त यहें अ,तर के� वा�7उनेके4 प्र केM कितके प्रवाMत्तित्तय के� के रर्ण हें�। और इन्हेंG के रर्ण सा� इ�� मु ने� सामु जा मु# पो�रूष और त्नि�त्रीय के� लि�य� किवात्तिभीन्न � धियCवा के& सा�किनेत्तिश्चात किकेय हें�।

14. किवार सात

प्रश्नों= इ�� मु� के ने�ने के� अने�सा र किवार सात के4 धुने-साम्पत्तित्त मु# �त्री� के किहें�सा पो�रूष के4 अपो�क्षा आधु क्य हें�?

उत्तर= पोकिवात्री क़ुy रआने मु# किवार सात के4 चाचा 0

पोकिवात्री क़ुy रआने मु# धुने (चा�-अचा� साम्पत्तित्त साकिहेंत) के� हेंकेष्� र उत्तर धिधुके रिरय के� बी�चा बी,टःवा र� के� किवाषय पोर बीहुत स्पेष्ट और किवा�तMत मु गै0�शु0ने किकेय गैय हें�। किवार सात के� साम्‍बीन्ध मु# मु गै0�शु0के किनेयमु किनेम्‍ने वार्णिर्णZत पोकिवात्री आयत मु# बीत ए गैए हें<:‘‘त�मु पोर sN0 (अकिनेवा य0 केत0व्य) किकेय गैय हें� किके जाबी त�मु मु# सा� किकेसा� के4 मुMCय� के सामुय आए और अपोने� पो�छा� मु � छा&ड़ रहें हें&, मु त किपोत और सागै� साम्‍बी,धिधुय के� लि�ए सा मु न्य ढं,गै सा� वासा�यत केर�। यहें केत0व्य हें� मु�C7तके4 �&गै (अल्� हें सा� डारने� वा �) पोर।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, सा�रहें बीकेरहें आयत 180)

‘‘त�मु मु# सा� जा& �&गै मुMCय� के& प्र प्त हें और अपोने� पो�छा� पोत्निCनेय D छा&ड़ रहें� हें, उनेके& चा किहेंए किके अपोने� पोत्निCनेय के� हेंकेष� मु# वासा�यत केर जा ए, किके एके सा � तके उन्हें# ने ने-वा- नेsके: (र&टः), केपोड़ इCय दि�) दि�य जा ए और वा� घार सा� किनेके �� ने जा ए,। किफर यदि� वा� �वाय, हें� किनेके� जा ए, त& अपोने� N त (व्यलिक्तगैत रुपो मु#) के� मु मु�� मु# सा मु न्य ढं,गै सा� वा� जा& के� छा भी� केर#, इसाके4 के&ई जिNम्‍मु�� र� त�मु पोर नेहेंG हें�। अल्� हें साबी पोर ग़ै लि�बी (वाचा0�वा प्र प्त) सात्त धु र� हेंके4मु (ज्ञा ने�) और बी�जिद्धमु ने हें�।’’ (सा�रहें अ� बीकेरहें, आयत 240)

‘‘पो�रुष के� लि�ए उसा मु � मु# किहें�सा हें� जा& मु D-बी पो और किनेकेटःवात� रिरश्त�� र ने� छा&ड़ हें& और औरत के� लि�ए भी� उसा मु � मु# किहें�सा हें� जा& मु D-बी पो और किनेकेटःवात� रिरश्त�� र ने� छा&ड़ हें&। चा हें� र्था&ड़ हें& य बीहुत। और यहें किहें�सा (अल्� हें के4 तरs सा�) मु�केष्र्रर हें�। और जाबी बी,टःवा र� के� अवासार पोर पोरिरवा र के� �&गै यत�मु (अने र्था) और धिमु�के4ने (�रिरद्र, �)ने-हें�ने) आए, त& उसा मु � सा� उन्हें# भी� के� छा �& और उनेके� सा र्था भी��मु ने�सा के4 सा� बी त केर&। �&गै के& इसा बी त के hय � केरके� डारने चा किहेंए किके यदि� वा� �वाय, अपोने�

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पो�छा� बी�बीसा सा,त ने छा&ड़त� त& मु रत� सामुय उन्हें# अपोने� बीच्च के� हेंकेष� मु# के� सा� के� छा आशु,के ए, हें&तG, अत= चा किहेंए किके वा� अल्� हें सा� डार# और साCयत के4 बी त केर#।’’ (सा�रहें अने�-किनेसा , आयत 7 सा� 9)

‘‘हें� �&गै& जा& ईमु ने � ए हें&, त�म्‍हें र� लि�ए यहें हें� � नेहेंG हें� किके Nबीर��त� औरत के� वा रिरसा बीने बी�ठ&, और ने यहें हें� � हें� किके उन्हें# त,गै केरके� उसा मु�हेंर के के� छा किहें�सा उड़ ��ने� के प्रय सा केर& जा& त�मु उन्हें# �� चा�के� हें&। हें D यदि� वाहें के&ई स्पेष्ट बी�चा�ने� केर# (त& अवाश्य त�म्‍हें# त,गै केरने� के हेंकेष� हें�) उनेके� सा र्था भी�� तर�केष��� सा� जिNन्�गै� बीसार केर&। अगैर वाहें त�म्‍हें# ने पोसान्� हें त& हें& साकेत हें� किके एके चा�N त�म्‍हें# पोसान्� ने हें& मुगैर अल्� हें ने� उसा� मु# बीहुत के� छा भी� ई र: �) हें&।’’ (सा�रहें अने�-किनेसा , आयत 19)

‘‘और हेंमुने� उसा तरके� (छा&ड़� हुई धुने-साम्पत्तित्त) के� हेंकेष्� र मु�केष्र्रर केर दि�य� हें< जा& मु त -किपोत और केष्रा�बी� रिरश्त�� र छा&ड़#। अबी रहें� वा� �&गै जिजानेसा� त�म्‍हें र� वाचानेबीद्धत हें& त& उनेके किहें�सा उन्हें# �&। किनेश्चाय हें� अल्� हें हेंर वा�त� पोर किनेगैहेंबी ने हें�।’’ (सा�रहें अने�-किनेसा , आयत 33)

किवार सात मु# किनेकेटःतमु रिरश्त�� र के किवाशु�ष किहें�सा पोकिवात्री क़ुy रआने मु# त�ने आयत# ऐसा� हें< जा& बीड़� साम्प�र्ण0 ढं,गै सा� किवार सात मु# किनेकेटःतमु साम्‍बी,धिधुय के� किहें�सा� पोर र]शुने� डा �त� हें<:

‘‘त�म्‍हें र� सा,त ने के� बी र� मु# अल्� हें त�म्‍हें# किने�Hशु ��त हें� किके पो�रुष के किहें�सा �& त्नि�त्रीय के� बीर बीर हें�। यदि� (मुMतके के� उत्तर धिधुके र�) �& सा� अधिधुके �ड़किकेय D हें त& उन्हें# तरके� के �& कितहें ई दि�य जा ए और अगैर एके हें� �ड़के4 उत्तर धिधुके र� हें& त& आधु तरके उसाके हें�। यदि� मुMतके सा,त ने वा � हें& त& उसाके� मु त -किपोत मु# सा� प्रCय�के के& तरके� के छाठवा D भी गै धिमु�ने चा किहेंए। यदि� वाहें सा,त नेहें�ने हें& और मु त -किपोत हें� उसाके� वा रिरसा हें त& मु त के& त�सार भी गै दि�य जा ए। और यदि� मुMतके के� भी ई-बीहेंने भी� हें त& मु D छाठ� भी गै के4 हेंकेष्� र हें&गै� (यहें साबी किहें�सा� उसा सामुय किनेके �� जा ए,गै�) जाबीकिके वासा�यत जा& मुMतके ने� के4 हें& पो�र� केर �) जा ए और क़ुN0 जा& उसा पोर हें& अ� केर दि�य जा ए। त�मु नेहेंG जा नेत� किके त�म्‍हें र� मु D-बी पो और त�म्‍हें र� सा,त ने मु# सा� के]ने � भी के4 दृधिष्ट सा� त�म्‍हें# अCय धिधुके किनेकेटःतमु हें�, यहें किहें�सा� अल्� हें ने� किनेधु र्रिरZत केर दि�य� हें< और अल्� हें सा र� मु���हेंत के& जा नेने� वा � हें�। और त�म्‍हें र� पोत्निCनेय ने� जा& के� छा छा&ड़ हें& उसाके आधु त�म्‍हें# धिमु��गै । यदि� वाहें सा,त नेहें�ने हें, अन्यर्था सा,त ने हें&ने� के4 स्लिस्थाकित मु# तरके� के एके चा�र्था ई किहें�सा त�म्‍हें र हें�, जाबीकिके वासा�यत जा& उन्हेंने� के4 हें& पो�र� केर �) जा ए और क़ुN0 जा& उन्हेंने� छा&ड़ हें& अ� केर दि�य जा ए। और वाहें त�म्‍हें र� तरके� मु# सा� चा�र्था ई के4 हेंकेष्� र हेंगै�। यदि� त�मु सा,त नेहें�ने हें&, अन्यर्था सा,त ने हें&ने� के4 स्लिस्थाकित मु# उनेके किहें�सा आठवा D हें&गै । इसाके� पोश्चा त किके जा& वासा�यत त�मुने� के4 हें& पो�र� केर �) जा ए और वाहें क़ुN0 जा& त�मुने� छा&ड़ हें& अ� केर दि�य जा ए। और अगैर वाहें पो�रुष अर्थावा �त्री� (जिजासाके� द्वा र छा&ड़� गैई धुने-साम्पकित के किवातरर्ण हें&ने हें�) सा,त नेहें�ने हें& और उसाके� मु त -किपोत जा�किवात ने हें पोरन्त� उसाके एके भी ई अर्थावा एके बीहेंने मु]जा�� हें& त& भी ई और बीहेंने प्रCय�के के& छाठ भी गै धिमु��गै और भी ई बीहेंने एके सा� ज़्य � हें त& के� छा तरके� के� एके कितहें ई मु# साभी� भी गै�� र हेंगै�। जाबीकिके वासा�यत जा& के4 गैई हें& पो�र� केर �) जा ए और क़ुN0 जा& मुMतके ने� छा&ड़ हें& अ� केर दि�य जा ए। बीशुतH किके वाहें हें किनेके रके ने हें&। यहें आ��शु हें� अल्� हें के4 ओर सा� और अल्� हें ज्ञा नेवा ने, दृधिष्टवा ने एवा, किवानेम्र हें�।’’ (सा�रहें अने�-किनेसा , आयत 11 सा� 12 )

‘‘हें� नेबी�! �&गै त�मु सा� के� �= (वाहें मुMतके जिजासाके किपोत हें& ने पो�त्री) के� बी र� मु# मु# sतवा पो�छात� हें<, केहें& अल्� हें त�म्‍हें# sतवा ��त हें�। यदि� के&ई व्यलिक्त सा,त नेहें�ने मुर जाए और उसाके4 एके बीहेंने हें& त& वाहें उसाके� तरके� मु# सा� आधु पो एगै� और यदि� बीहेंने सा,त नेहें�ने मुर� त& भी ई उसाके उत्तर धिधुके र� हें&गै । यदि� मुMतके के4 उत्तर धिधुके र� �& बीहेंने# हें त& वा� तरके� मु# �& कितहें ई के4 हेंक़ु� र हेंगै� और अगैर केई बीहेंने भी ई हें त& त्नि�त्रीय

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के इकेहेंर और पो�रुष के �&हेंर किहें�सा हें&गै त�म्‍हें र� लि�य� अल्� हें आ��शु के4 व्य ख्य केरत हें� त किके त�मु7भीटःकेत� ने किफर& और अल्� हें हेंर चा�N के ज्ञा ने र:त हें�।’’ (सा�रहें अने�-किनेसा , आयत 176)

के� छा अवासार पोर तरके� मु# �त्री� के किहें�सा अपोने� सामुकेक्षा पो�रुष सा� अधिधुके हें&त हें�

अधिधुके ,क्षा पोरिरस्थाकितय मु# एके �त्री� के& किवार सात मु# पो�रुष के4 अपो�क्षा आधु भी गै धिमु�त हें�। किकेन्त� हेंमु�शु ऐसा नेहेंG हें&त । यदि� मुMतके के&ई सागै बी�जाष���गै0 (मु त -किपोत इCय दि� अर्थावा सागै� उत्त र धिधुके र� पो�त्री, पो�त्री� आदि�) ने हें पोरन्त� उसाके� ऐसा� सा]त��� भी ई-बीहेंने हें, मु त के4 ओर सा� सागै� और किपोत के4 ओर सा� सा]त��� हें त& ऐसा� �& बीहेंने-भी ई मु# सा� प्रCय�के के& तरके� के छाठ भी गै धिमु��गै ।

यदि� मुMतके के� बीच्च# ने हें त& उसाके� मु D-बी पो अर्था 0त मु D और बी पो मु# सा� प्रCय�के के& तरके� के छाठ भी गै धिमु��गै । के� छा स्लिस्थाकितय मु# �त्री� के& तरके� मु# पो�रुष सा� �&गै�ने किहें�सा धिमु�त हें�। यदि� मुMतके के&ई �त्री� हें& जिजासासा� बीच्च� ने हें और उसाके के&ई भी ई बीहेंने भी� ने हें& जाबीकिके उसाके� किनेकेटःतमु साम्‍बी,धिधुय मु# उसाके पोकित, मु D और बी पो रहें गैए हें (ऐसा� स्लिस्थाकित मु#) उसा �त्री� के� पोकित के& �त्री� के� तरके� मु# आधु भी गै धिमु��गै ) मु त के& एके कितहें ई, जाबीकिके किपोत के& शु�ष के छाठ भी गै धिमु��गै । ��खि:ए किके इसा मु मु�� मु# �त्री� के4 मु त के किहें�सा उसाके� किपोत सा� �&गै�ने हें&गै ।

तरके� मु# �त्री� के सा मु न्य किहें�सा अपोने� सामुकेक्षा पो�रुष सा� आधु हें&त हें�

एके सा मु न्य किनेयमु के� रूपो मु# यहें साचा हें� किके अधिधुके ,शु मु मु� मु# �त्री� के तरके� मु# किहें�सा पो�रुष सा� आधु हें&त हें�, जा�सा�=

1. किवार सात मु# पो�त्री� के किहें�सा पो�त्री सा� आधु हें&त हें�।

2. यदि� मुMतके के4 सा,त ने हें& त& पोCने� के& आठवा D और पोकित के& चा�र्था ई किहें�सा धिमु��गै ।

3. यदि� मुMतके सा,त नेहें�ने हें& त& पोCने� के& चा�र्था ई और पोकित के& आधु किहें�सा धिमु��गै ।

4. यदि� मुMतके के के&ई (सागै ) बी�जाष���गै0 अर्थावा उत्तर धिधुके र� ने हें& त& उसाके4 बीहेंने के& (उसाके� ) भी ई के� मु�केषबी�� मु# आधु किहें�सा धिमु��गै ।

पोकित के& किवार सात मु# �&गै�ने किहें�सा इसालि�ए धिमु�त हें� किके वाहें पोरिरवा र के� भीरर्ण पो&षर्ण के जिNम्‍मु�� र हें� इ�� मु मु# �त्री� पोर जा�वाने&पो जा0ने के4 के&ई जिNम्‍मु�� र� नेहेंG हें�। जाबीकिके पोरिरवा र के4 आर्शिर्थाZके आवाश्यकेत ओं के4 पो�त� के � धियCवा पो�रुष पोर डा � गैय हें�। किवावा हें सा� पो�वा0 केन्य के� रहेंने� साहेंने�, आवा गैमुने, भी&जाने वा�त्री तर्था सामु�त आर्शिर्थाZके आवाश्यकेत ओं के पो�र केरने उसाके� किपोत अर्थावा भी ई (य भी ईय) के केत0व्य हें�। किवावा हें&पोर ,त �त्री� के4 यहें सामु�त आवाश्यकेत ए, पो�र� केरने� के � धियCवा उसाके� पोकित अर्थावा पो�त्री (पो�त्री) पोर � गै� हें&त हें�। अपोने� पोरिरवा र के4 सामु�त आर्शिर्थाZके आवाश्यकेत ओं के4 पो�र्तितZ के� लि�ए इ�� मु ने� पो�र� तरहें पो�रुष7के& जिNम्‍मु�� र ठहेंर य हें�। इसा � धियCवा के� किनेवा 0हें के� के रर्ण सा� इ�� मु मु# किवार सात मु# पो�रुष के किहें�सा �त्री� सा� �&गै�ने किनेत्तिश्चात किकेय गैय हें�। उ� हेंरर्णत= यदि� के&ई पो�रुष तरके� मु# डा�J � : रुपोए छा&ड़त हें� और उसाके� एके बी�टः) और एके बी�टः हें� त& उसामु# सा� 50 हेंN र बी�टः) के& और एके � : रुपोए बी�टः� के& धिमु�#गै�।

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��:ने� मु# यहें किहें�सा ज़्य � �गैत हें� पोरन्त� बी�टः� पोर घार-पोरिरवा र के4 जिNम्‍मु�� र� भी� हें� जिजान्हें# पो�र केरने� के� लि�ए7(�वा भी किवाके रूपो सा�) एके � : मु# सा� 80 हेंN र रूपोए hचा0 केरने� पोड़ साकेत� हें<। अर्था 0त किवार सात मु# उसाके किहें�सा वा �तवा मु# 20 हेंN र के� �गैभीगै हें� रहें�गै । र्दूसार� ओर यदि� �ड़के4 के& 50 हेंN र रूपोए धिमु�� हें< ��किकेने उसापोर किकेसा� प्रके र के4 जिNम्‍मु�� र� नेहेंG हें� अत= वाहें सामु�त र लिशु उसाके� पो सा बीचा� रहें��गै�। आपोके� किवाचा र मु# क्य चा�N बी�हेंतर हें�। तरके� मु# एके � : ��केर 80 हेंN र hचा0 केर ��ने य 50 हेंN र ��केर पो�र� र लिशु बीचा ��ने ?

15. क्य पोकिवात्री क़ुy रआने अल्� हें के के� मु (ईशु वा क्य) हें�?

किनेश्चाय हें� किवाश्व के� प्रCय�के मु�सा�मु ने के इसा पोर पो�र्ण0 किवाश्व सा हें� पोरन्त� यहें प्रश्नों एके साम्प�र्ण0 पो��तके के4 मु ,गै केरत हें�। इसा प्रश्नों के किवा�त र सा� उत्तर एके पो��तके के� रूपो मु# डा . N किकेर ने यके �� चा�के� , अफसा&सा उसा पो��7तके के4 किहेंन्7�) नेहें� हें& साके4

16. आखिhरत, मुMCय&पोर ,त जा�वाने

प्रश्नों= आपो आखिhरत अर्थावा मुMCय&पोर ,त जा�वाने के4 साCयत के� सा� लिसाद्ध केर#गै�?

उत्तर= आखिhरत पोर किवाश्व सा के आधु र अ,धु� आस्था नेहेंG हें�।

बीहुत सा� �&गै इसा बी त पोर हें�र ने हें&त� हें< किके एके ऐसा व्यलिक्त जा& बी]जिद्धके और वा�ज्ञा किनेके प्रवाMत्तित्त के �वा मु� हें&, वाहें किकेसा प्रके र मुMCय� के� उपोर ,त जा�वाने पोर किवाश्व सा धु रर्ण केर साकेत हें�? �&गै यहें किवाचा र केरत� हें< किके आखिhरत पोर किकेसा� के किवाश्व सा अ,धु� आस्था पोर स्था किपोत हें&त हें�। पोरन्त� आखिhरत पोर मु�र किवाश्व सा बी]जिद्धके7तके0 के� आधु र पोर हें�।

आखिhरत एके बी]जिद्धके आस्था

पोकिवात्री क़ुy रआने मु# एके हेंN र सा� अधिधुके आयत# ऐसा� हें< जिजानेमु# वा�ज्ञा किनेके तथ्य के वार्ण0ने किकेय गैय हें�। (इसाके� लि�ए मु�र� पो��तके ‘‘क़ुy रआने और आधु�किनेके किवाज्ञा ने, सामुन्वाय अर्थावा किवार&धु’’ ��:#) किवागैत शुत खिब्�य7के� �]र ने पोकिवात्री क़ुy रआने मु� वार्णिर्णZत 80 प्रकितशुत तथ्य 100 प्रकितशुत साहें� लिसाद्ध हें& चा�के� हें<। शु�ष 20 प्रकितशुत तथ्य के� किवाषय मु# किवाज्ञा ने ने� के&ई स्पेष्ट किनेष्केष0 नेहेंG घा&किषत किकेय हें� क्यकिके किवाज्ञा ने अभी� तके इतने� उन्नकित नेहेंG केर साके हें� किके पोकिवात्री क़ुy रआने मु# वार्णिर्णZत शु�ष तथ्य के& साहें� अर्थावा ग़ै�त लिसाद्ध केर साके� । इसा सा�धिमुत ज्ञा ने के� सा र्था जा& हेंमु र� पो सा हें�, हेंमु पो�र� किवाश्व सा के� सा र्था के� किपो नेहेंG केहें साकेत� किके इसा 20 प्रकितशुत के भी�7के� वा� एके प्रकितशुत भी गै अर्थावा के&ई एके आयत हें� ग़ै�त हें�। अत= जाबी पोकिवात्री क़ुy रआने के 80 प्रकितशुत भी गै (बी]जिद्धके आधु र पोर) शुत प्रकितशुत साहें� लिसाद्ध हें& चा�के हें� और शु�ष 20 प्रकितशुत ग़ै�त लिसाद्ध नेहेंG किकेय 7जा साके त& किवावा�के यहें� केहेंत हें� किके शु�ष 20 प्रकितशुत भी गै भी� साहें� हें�।

आखिhरत के अग्लि�तCवा जा& पोकिवात्री क़ुy रआने ने� बीय ने किकेय हें� उसा� 20 प्रकितशुत सामुझु मु# ने आने� वा �� भी गै मु#7शु धिमु� हें� जा& बी]जिद्धके रूपो सा� साहें� हें�।

शु ,कित और मु नेवा�य मु�ल्य के4 केल्पोने , आखिhरत के� किवाश्व सा के� किबीने व्यर्था0 हें�

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डाके� त� अच्छे के मु हें� य बी�र ? इसा प्रश्नों के� उत्तर मु# के&ई भी� ने मु0� और �वास्था बी�जिद्ध वा � व्यलिक्त यहें� केहें�गै किके यहें बी�र के मु हें�। किकेन्त� इसा सा� भी� मुहेंCवापो�र्ण0 प्रश्नों यहें हें� किके के&ई ऐसा व्यलिक्त जा& आखिhरत पोर किवाश्व सा ने र:त हें& वाहें किकेसा� शुलिक्तशु �� और प्रभी वाशु �� पोहु,चा र:ने� वा �� व्यलिक्त के& के� सा� केषइ� केर�गै 7किके डा के� डा �ने एके बी�र ई, एके पो पो हें�?

यदि� के&ई मु�र� सा मुने� इसा बी त के� पोक्षा मु# एके बी]जिद्धके तके0 प्र�त�त केर �� (जा& मु�र� लि�ए भी� सामु ने रूपो सा� �वा�के य0 हें&) किके डा के डा �ने बी�र हें� त& मु< त�रन्त यहें के मु छा&ड़ र्दू,गै । इसाके� जावा बी मु# �&गै आमु त]र सा� किनेम्‍नेलि�खि:त तके0 ��त� हें<।

(के) ��टःने� वा �� व्यलिक्त के& केदिठने ईय के सा मुने हें&गै

के� छा �&गै यहें तके0 �� साकेत� हें< किके ��टःने� वा �� व्यलिक्त के& केदिठने ईय के सा मुने हें&गै । किनेश्चाय हें�, मु< इसा बी त पोर साहेंमुत हें&ऊँ, गै किके ��टःने�वा �� के� लि�ए डा के Nने� के के मु बीहुत बी�र हें�। पोरन्त� मु�र� लि�ए त& यहें अच्छे हें�। यदि� मु< 20 हेंN र डा �र के4 डाके� त� मु रू, त& किकेसा� पो Dचा त र हें&टः� मु# मुN� सा� : ने : साकेत हूँD।

(:) के&ई अन्य आपो के& भी� ��टः साकेत हें�

के� छा �&गै यहें केहें साकेत� हें< किके किकेसा� दि�ने के&ई अन्य डा के� आपो के& भी� ��टः साकेत हें�। पोरन्त� मु< त& बीड़� ऊँD चा� पोहु,चा वा � प्रभी वाशु �� अपोर धु� हूँD, और मु�र� सा�केड़ अ,गैरक्षाके हें< त& भी� के&ई मु�झु� के� सा� ��टः साकेत हें�? अर्था 0त मु< त& किकेसा� के& भी� ��टः साकेत हूँD पोरन्त� मु�झु� के&ई नेहेंG ��टः साकेत । डाके� त� किकेसा� सा धु रर्ण व्यलिक्त के� लि�य� hतरने के पो�शु हें& साकेत हें� पोर मु�झु जा�सा� शुलिक्तशु �� और प्रभी वाशु �� व्यलिक्त के� लि�ए नेहेंG।

(गै) आपोके& पो�लि�सा किगैरफ़्त र केर साकेत� हें�

एके तके0 यहें भी� सा मुने� आ साकेत हें� किके किकेसा� ने किकेसा� दि�ने पो�लि�सा आपोके& किगैरफ़्त र केर ��गै�। अर� भीई! पो�लि�सा त& मु�झु� पोकेड़ हें� नेहेंG साकेत�, पो�लि�सा के� छा&टः� सा� बीड़� अधिधुके रिरय और ऊँपोर मु,कित्रीय तके मु�र नेमुके7: ने� वा �� हें<। हें D, यहें मु< मु नेत हूँD किके यदि� के&ई सा धु रर्ण व्यलिक्त डा के डा �� त& वाहें किगैरफ़्त र केर लि�य जा एगै और डाके� त� उसाके� लि�य� बी�र� लिसाद्ध हें&गै�, पोरन्त� मु< त& आसा धु रर्ण रूपो सा� प्रभी वाशु �� और त केष्तवार अपोर धु� हूँD, मु�झु� के&ई बी]जिद्धके तके0 �)जिजाए किके यहें केM Cय बी�र हें�, मु< डा के� मु रने छा&ड़ र्दू,गै ।

(घा) यहें किबीने पोरिरश्रेमु के4 केमु ई हें�

यहें एके तके0 दि�य जा साकेत हें� किके यहें किबीने पोरिरश्रेमु अर्थावा केमु पोरिरश्रेमु सा� केमु ई गैई आमु�ने� हें� जिजासाके4 प्र प्तिप्त हें�त� के&ई अधिधुके मु�हेंनेत नेहेंG के4 गैई हें�। मु< मु नेत हूँD किके डा के मु रने� मु# के� छा : सा पोरिरश्रेमु किकेय� किबीने अच्छे) : सा� रकेष्मु हें र्था �गै जा त� हें�। और यहें� मु�र� डा के मु रने� के बीड़ के रर्ण भी� हें�। यदि� किकेसा� के� सा मुने� अधिधुके धुने केमु ने� के साहेंजा और सा�किवाधु जानेके र �त हें& तर्था वाहें र �त भी� हें& जिजासासा� धुने केमु ने� मु# उसा� बीहुत ज़्य � पोरिरश्रेमु केरने पोड़� त& एके बी�जिद्धमु ने व्यलिक्त �वा भी किवाके रूपो सा� सार� र �त� के& हें� अपोने एगै ।

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(ङः) यहें मु नेवात के� किवारूद्ध हें�

के� छा �&गै यहें भी� केहें साकेत� हें< किके डा के� मु रने अमु नेवा�य केM Cय हें� और यहें किके एके व्यलिक्त के& र्दूसार� मुने�ष्य के� बी र� मु# सा&चाने चा किहेंए। इसा बी त के& नेके रत� हुए मु< यहें प्रश्नों केरू, गै किके ‘‘मु नेवात केहें� ने� वा � यहें के ने�ने किकेसाने� लि�: हें�, मु< इसा के पो �ने किकेसा h�शु� मु# केरूD ?’’ यहें के ने�ने किकेसा� भी वा�के और सा,वा��नेशु�� व्यलिक्त के� लि�ए त& ठ�के हें& साकेत हें� किकेन्त� मु< बी�जिद्धमु ने व्यलिक्त हूँD, मु�झु� र्दूसार� �&गै के4 लिंचाZत केरने� मु# के&ई � भी दि�: ई नेहेंG ��त ।

(चा) यहें �वा र्था� केM Cय हें�

के� छा �&गै डा के Nने� के& �वा र्था� केM Cय केहें साकेत� हें<, यहें किबील्के� � साचा हें� किके डा के� मु रने �वा र्था� केM Cय हें� किकेन्त� मु< �वा र्था� क्य ने बीने�D। इसा� सा� त& मु�झु� जा�वाने के आनेन्� उठ ने� मु# मु�� धिमु�त� हें�।

डा के Nने� के& बी�र के मु लिसाद्ध केरने� के� लि�ए के&ई बी]जिद्धके तके0 नेहेंG

अत= डा के मु रने� के& बी�र के मु लिसाद्ध केरने� हें�त� दि�य� गैए सामु�त तके0 व्यर्था0 रहेंत� हें<। इसा प्रके र के� तकेq सा� एके सा धु रर्ण केमुN&र व्यलिक्त के& त& प्रभी किवात किकेय जा साकेत हें�। किकेन्त� मु�झु जा�सा� शुलिक्तशु �� और असार� र व्यलिक्त के& नेहेंG। इनेमु# सा� किकेसा� एके तके0 के बीचा वा भी� बी�जिद्ध और किवावा�के के� बी� पोर नेहेंG किकेय जा साकेत , अत= इसामु# के&ई हें�र ने� के4 बी त नेहेंG किके सा,सा र मु# बीहुत अपोर धु� प्रवाMकित के� �&गै पो ए जा त� हें<। इसा� प्रके र धु&: धुड़� और बी� Cके र जा�सा� अपोर धु मु�झु जा�सा� किकेसा� व्यलिक्त के� लि�ए अच्छे� हें&ने� के औलिचाCय प्र प्त केर साकेत� हें<। और के&ई बी]जिद्धके तके0 मु�झु सा� इनेके� बी�र� हें&ने� के4 बी त नेहेंG मुनेवा साकेत ।

एके मु�सा�मु ने किकेसा� भी� शुलिक्तशु �� अपोर धु� के& �स्लिज्जात हें&ने� पोर किवावाशु केर साकेत हें�

चालि�ए, अबी हेंमु स्था ने बी�� ��त� हें<। मु ने ��जिजाए किके आपो दुकिनेय के� शुलिक्तशु �� अपोर धु� हें< जिजासाके प्रभी वा पो�लि�सा सा� ��केर सारके र के� बीड़�- बीड़� मु,कित्रीय आदि� पोर भीरपो�र हें�। आपोके� पो सा अपोने� किगैर&हें के� बी�मु शु के4 पो�र� सा�ने हें�। मु< एके मु�सा�मु ने हूँD जा& आपोके& सामुझु ने� के प्रयCने केर रहें हें� किके बी� Cके र, ��टःमु र और धु&: धुड़� इCय दि� बी�र� के मु हें<। यदि� मु< वा�सा� हें� तके0 (जा& पोहें�� दि�य� जा चा�के� हें<) अपोर धु के& बी�र लिसाद्ध केरने� के� लि�ए र्दूD त& अपोर धु� भी� वाहें� जावा बी ��गै जा& उसाने� पोहें�� दि�य� र्था�।

मु< मु नेत हूँD किके अपोर धु� चात�र बी�जिद्ध के व्यलिक्त हें<, और उसाके� सामु�त तके0 उसा� सामुय साटः)के हेंगै� जाबी वाहें सा,सा र के बी�शु �� अपोर धु� हें&।

प्रCय�के मुने�ष्य न्य य चा हेंत हें�

प्रCय�के मुने�ष्य के4 यहें के मुने हें&त� हें� किके उसा� न्य य धिमु��। यहें D तके किके यदि� वाहें र्दूसार के� लि�ए न्य य के इच्छे�के ने भी� हें& त& भी� वाहें अपोने� लि�ए न्य य चा हेंत हें�। के� छा �&गै शुलिक्त और अपोने� असार-रसा�h के� नेशु� मु# इतने� उन्मुत्त हें&त� हें< किके र्दूसार� �&गै के� लि�ए केदिठने ईय D और किवापोत्तित्तय D :ड़� केरत� रहेंत� हें< पोरन्त� यहें� �&गै उसा सामुय केड़� आपोत्तित्त केरत� हें< जाबी �वाय, उनेके� सा र्था अन्य य हें&। र्दूसार के4 ओर सा� असा,वा��नेशु�� और भी वाहें�ने हें&ने� के के रर्ण यहें हें� किके वा� अपोने� शुलिक्त के4 पो�जा केरत� हें< और यहें सा&चात� हें< किके उनेके4 शुलिक्त हें�

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उन्हें# र्दूसार के� सा र्था अन्य य केरने� के� य&gय बीने त� हें� और र्दूसार के& उनेके� किवारुद्ध अन्य य केरने� सा� र&केने� के 7सा धुने हें�।

अल्� हें तआ� साबीसा� शुलिक्तशु �� और न्य य केरने� वा � हें�

एके मु�सा�मु ने के4 हें�लिसायत सा� मु< अपोर धु� के& साबीसा� पोहें�� अल्� हें के� अग्लि�तCवा के& मु नेने� पोर बी ध्य केरू, गै , (इसा बी र� मु# तके0 अ�गै हें<) अल्� हें आपोसा� केहेंG अधिधुके त केष्तवार हें� और सा र्था हें� सा र्था वाहें अCय,त न्य यकिप्रय भी� हें�। पोकिवात्री क़ुy रआने मु# केहें गैय हें�=

‘‘अल्� हें किकेसा� पोर Nर 0 बीर बीर भी� अCचा य र नेहेंG केरत । यदि� के&ई एके ने�के4 केर� त& अल्� हें उसाके& �&गै�ने केरत हें� और अपोने� ओर सा� बीड़ प्रकितफ� प्र� ने केरत हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, 4:40)

अल्� हें मु�झु� �ण्डा क्य नेहेंG ��त ?

और बी�जिद्धमु ने तर्था वा�ज्ञा किनेके प्रवाMत्तित्त वा � व्यलिक्त हें&ने� के� ने त� जाबी उसाके� सामुक्षा पोकिवात्री क़ुy रआने सा� तके0 प्र�त�त किकेय� जा त� हें< त& वाहें उन्हें# �वा�के र केरके� अल्� हें तआ� के� अग्लि�तCवा के& मु ने ��त हें�। वाहें प्रश्नों केर साकेत हें� किके जाबी अल्� हें तआ� साबीसा� त केष्तवार और साबीसा� अधिधुके न्य य केरने� वा � हें� त& मु�झु� �ण्डा क्य नेहेंG धिमु�त ?

अन्य य केरने� वा �� के& �ण्डा धिमु�ने चा किहेंए

प्रCय�के वाहें व्यलिक्त, जिजासाके� सा र्था अन्य य हुआ हें&, किनेश्चाय हें� यहें चा हें�गै किके अन्य य� के& उसाके� धुने, शुलिक्त और सा मु जिजाके रुतबी� के

ध्य ने किकेय� किबीने �ण्डा दि�य जा ने चा किहेंए। प्रCय�के सा मु न्य व्यलिक्त यहें चा हें�गै किके डा के� और बी�के र के& साबीकेष� लिसा: य जा ए। यद्यकिपो बीहुत�र� अपोर धिधुय के& �ण्डा धिमु�त हें� किकेन्त� किफर भी� उनेके4 बीड़� त � � के ने�ने सा� बीचा जा ने� मु# साफ� रहेंत� हें�।। य� �&गै बीड़ आन्�मुय एवा, किवा� लिसात पो�र्ण0 जा�वाने किबीत त� हें< और अधिधुके ,शु आनेन्�पो�वा0के रहेंत� हें<। यदि� किकेसा� शुलिक्तशु �� और असार� र व्यलिक्त के� सा र्था उसासा� अधिधुके शुलिक्तशु �� व्यलिक्त अन्य य केर� त& भी� वाहें चा हें�गै किके उसासा� अधिधुके शुलिक्तशु �� और असार� र व्यलिक्त के& उसाके� अन्य य के �ण्डा दि�य जा ए।

यहें जा�वाने आखिhरत के पोर�क्षा स्था� हें�

दुकिनेय के4 यहें जिNन्�गै� आखिhरत के� लि�ए पोर�क्षा स्था� हें�। पोकिवात्री क़ुy रआने के sरमु ने हें�=

‘‘जिजासाने� मुMCय� और जा�वाने के अकिवाष्के र किकेय त किके त�मु �&गै के& आNमु केर ��:� किके त�मु मु# सा� के]ने सा��केमु0 केरने� वा � हें�, और वाहें Nबी��त भी� हें� और �रगै�Nर (क्षामु ) केरने� वा � भी�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने 67:2)

क़ुय मुत के� दि�ने पो�र्ण0 और किनेत्तिश्चात न्य य हें&गै पोकिवात्री क़ुy रआने मु# केहें गैय हें�=

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‘‘अ,तत= प्रCय�के व्यलिक्त के& मुMCय� के �वा � चा:ने हें�। और त�मु जाबी अपोने� पो�र�-पो�र� अज्र (प्रकितफ�) पो ने� वा ��7हें&, साफ� वा �तवा मु# वाहें हें� जा& �&Nh के4 आगै सा� बीचा जा ए और जान्नत मु# � खिh� केर दि�य जा ए, रहें� यहें दुकिनेय त& यहें एके प्रCयक्षा धु&: (मु य ) हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 3:185)

पो�र्ण0 न्य य किकेष्य मुत के� दि�ने किकेय जा एगै । मुरने� के� बी � हेंर व्यलिक्त के& किहेंसा बी के� दि�ने (किकेय मुत के� दि�ने) एके बी र किफर र्दूसार� तमु मु मुने�ष्य के� सा र्था जिNन्� किकेय जा एगै । यहें सा,भीवा हें� किके एके व्यलिक्त अपोने� साN के एके किहें�सा दुकिनेय हें� मु# भी�गैत ��, किकेन्त� �ण्डा और पो�रु�के र के पो�र s� सा� आखिhरत मु# हें� किकेय जा एगै । सा,भीवा हें� अल्� हें तआ� किकेसा� अपोर धु� के& इसा दुकिनेय मु# साN ने �� ��किकेने किकेष्य मुत के� दि�ने उसा� अपोने� एके-एके केM Cय के किहेंसा बी चा�के ने पोड़�गै । और वाहें आखिhरत अर्था 0त मुMCय&पोर ,त जा�वाने मु# अपोने� एके-एके अपोर धु के4 साN पो एगै ।

मु नेवा�य के ने�ने किहेंटः�र के& क्य साN �� साकेत हें�?

मुहें य�द्ध मु# किहेंटः�र ने� �गैभीगै 60 � : यहूँदि�य के& जा�किवात आगै मु# जा�वा य र्था । मु ने �# किके पो�लि�सा उसा� किगैरफ़्त र भी� केर ��त� त& के ने�ने के� अने�सा र उसा� अधिधुके सा� अधिधु क्य साN �) जा त�? बीहुत सा� बीहुत यहें हें&त किके उसा� किकेसा� गै�सा चा�म्‍बीर मु# डा �केर मु र दि�य जा त , किकेन्त� यहें त& के� वा� एके यहूँ�) के4 हेंCय के �ण्डा हें&त , शु�ष 59 � :, 99 हेंN र, 999 यहूँदि�य के4 हेंCय के �ण्डा उसा� किकेसा प्रके र दि�य जा साकेत र्था ? उसा� एके बी र हें� (�वा भी किवाके रुपो सा�) मुMCय��ण्डा दि�य जा साकेत र्था ।

अल्� हें के� अधिधुके र मु# हें� किके वाहें किहेंटः�र के& जाहेंन्नमु के4 आगै मु# 60 � : सा� अधिधुके बी र जा� ��

पोकिवात्री क़ुy रआने मु# अल्� हें तआ� sरमु त हें�=

‘‘जिजाने �&गै ने� हेंमु र� आयत के& मु नेने� सा� इ,के र केर दि�य हें� उन्हें# हेंमु किनेत्तिश्चाय हें� आगै मु# फ# के# गै� और जाबी उनेके� शुर�र के4 : � गै� जा एगै� त& उसाके4 जागैहें र्दूसार� : � पो�� केर �#गै� त किके वाहें h�बी अN बी (य तने ) के मुN चा:#, अल्� हें बीड़� क्षामुत र:त हें� और अपोने� s� सा� के� किक्रय नेवायने के4 किहेंकेमुत h�बी जा नेत हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 4:56)

अर्था 0त अल्� हें चा हें� त& किहेंटः�र के& जाहेंन्नमु के4 आगै मु# के� वा� 60 � : बी र नेहेंG बीग्लिल्के असा,ख्य बी र जा� साकेत हें�।

आखिhरत के4 पोरिरकेल्पोने के� किबीने मु नेवा�य मु�ल्य और अच्छे ई बी�र ई के4 के&ई केल्पोने नेहेंG

यहें स्पेष्ट हें� किके किकेसा� व्यलिक्त के& आखिhरत के4 केल्पोने अर्थावा मुMCय� के� पोश्चा त जा�वाने के� किवाश्व सा पोर केषय�7किकेय� किबीने उसा� मु नेवा�य मु�ल्य और अच्छे�-बी�र� केमुq के4 केल्पोने पोर केषय� केरने भी� सा,भीवा नेहेंG। किवाशु�ष रूपो सा� जाबी मु मु� शुलिक्तशु �� और बीड़� अधिधुके र र:ने� वा � के हें& जा& अन्य य मु# लि�प्त हें।

17 प्रश्नों= क्य के रर्ण हें� किके मु�सा�मु ने किवात्तिभीन्न सामु�� य और किवाचा धु र ओं मु# किवाभी जिजात हें<?

उत्तर= मु�सा�मु ने के& एकेजा�टः हें&ने चा किहेंए।

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यहें साCय हें� किके आजा के� मु�सा�मु ने आपोसा मु# हें� बी,टः� हुए हें<। दु: के4 बी त यहें हें� किके इसा प्रके र के� अ�गै वा के4 इ�� मु मु# के&ई अने�मुकित नेहेंG हें�। इ�� मु इसा बी त पोर N&र ��त हें� किके उसाके� अने�य धियय मु# पोरस्पेर एकेत के& बीरक़ुर र र: जा ए।

‘‘साबी धिमु�केर अल्� हें के4 र�सा� के& मुNबी�त पोकेड़ �& और अ�गै वा मु# ने पोड़&।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 3:103)

वाहें के]ने सा� र�सा� हें� जिजासाके4 ओर इसा पोकिवात्री आयत मु# अल्� हें तआ� ने� इशु र किकेय हें�। पोकिवात्री क़ुy रआने हें� वाहें र�सा� हें�, यहें� अल्� हें के4 वाहें र�सा� हें� जिजासा� सामु�त मु�सा�मु ने के& मुNबी�त� सा� र्था मु� रहेंने चा किहें। इसा पोकिवात्री आयत मु# �&हेंर आग्रंहें हें�, एके ओर यहें आ��शु दि�य गैय हें� किके अल्� हें के4 र�सा� के& ‘‘मुNबी�त� सा� र्था मु� र:#’’ त& र्दूसार� ओर यहें आ��शु भी� हें� किके अ�गै वा मु# ने पोड़& (एकेजा�टः रहें&)।

पोकिवात्री क़ुy रआने के स्पेष्ट आ��शु हें�=

‘‘हें� �&गै&! जा& ईमु ने � ए हें&, आज्ञा पो �ने केर& अल्� हें के , और आज्ञा पो �ने केर& रसा�� (साल्�²) के , और उने �&गै के जा& त�मु मु# सा किहेंबी-ए-अम्र (अधिधुके रिरके) हें किफर त�म्‍हें र� बी�चा किकेसा� मु मु�� मु# किवावा � हें& जा ए त& उसा� अल्� हें और रसा�� के4 ओर फ� र �&, यदि� त�मु वा �तवा मु# अल्� हें और अ,कितमु दि�ने (किकेष्य मुत) पोर ईमु ने र:त� हें&। यहें� एके सा�धु तर�केष हें� और पोरिरर्ण मु के4 दृधिष्ट सा� भी� उत्तमु हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, 4:59)

साभी� मु�सा�मु ने के& पोकिवात्री क़ुy रआने और प्र मु त्तिर्णके हें�)सा के हें� अने�केरर्ण केरने चा किहेंए और आपोसा मु# फ� टः नेहेंG डा �ने� चा किहेंए।

इ�� मु मु# सामु�� य और अ�गै वा के4 मुने हें� हें�

पोकिवात्री क़ुy रआने के आ��शु हें�=

‘‘जिजाने �&गै ने� अपोने� �)ने के& टः�केड़�-टः�केड़� केर दि�य और किगैर&हें-किगैर&हें बीने गैए, किनेश्चाय हें� त�म्‍हें र उनेसा� के&ई वा �त नेहेंG, उनेके मु मु� त& अल्� हें के� सा�पो��0 हें� और वाहें� उनेके& बीत एगै किके उन्हेंने� क्य के� छा किकेय हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 6�=159)

इसा पोकिवात्री आयत सा� यहें स्पेष्ट हें&त हें� किके अल्� हें तआ� ने� हेंमु# उने �&गै सा� अ�गै रहेंने� के आ��शु दि�य हें� जा& �)ने मु# किवाभी जाने केरत� हें और सामु�� य मु# बी Dटःत� हें। किकेन्त� आजा जाबी किकेसा� मु�सा�मु ने सा� पो�छा जा ए7किके ‘‘त�मु के]ने हें&?’’ त& सा मु न्य रूपो सा� के� छा ऐसा� उत्तर धिमु�त� हें<, ‘‘मु< सा�न्न� हूँD, मु< लिशुय हूँD, ’’इCय दि�। के� छा7�&गै �वाय, के& हेंनेs4, शु sई, मु लि�के4 और हेंम्‍बी�� भी� केहेंत� हें<, के� छा �&गै केहेंत� हें< ‘‘मु< ��वाबीन्�), य बीर��वा� हूँD।’’

हेंमु र� किनेकेटः पो�ग़ैम्‍बीर (साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु) मु�स्लि��मु र्था�

ऐसा� मु�सा�मु ने सा� के&ई पो�छा� किके हेंमु र� प्य र� पो�ग़ैम्‍बीर (साल्�²) के]ने र्था�? क्य वाहें हेंन्s4 य शु sई र्था�। क्य मु लि�के4 य हेंम्‍बी�� र्था�? नेहेंG, वाहें मु�सा�मु ने र्था�। र्दूसार� साभी� पो�ग़ैम्‍बीर के4 तरहें जिजान्हें# अल्� हें तआ� ने� उनेसा� पोहें�� मु गै0�शु0ने हें�त� भी�जा र्था ।

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पोकिवात्री क़ुy रआने के4 सा�रहें 3, आयत 25 मु# स्पेष्ट किकेय गैय हें� किके हेंNरत ईसा अ��किहें�सा� मु भी� मु�सा�मु ने हें� र्था�। इसा� पोकिवात्री सा�रहें के4 67 वाG आयत मु# पोकिवात्री क़ुy रआने बीत त हें� किके हेंNरत इब्रा हें�मु अ��किहें�सा� मु के&ई यहूँ�) य ईसा ई नेहेंG र्था� बीग्लिल्के वाहें ‘‘मु�स्लि��मु’’ र्था�।

पोकिवात्री क़ुy रआने हेंमु� �वाय, के& ‘‘मु�स्लि��मु’’ केहेंने� के आ��शु ��त हें�

यदि� के&ई व्यलिक्त एके मु�सा�मु ने सा� प्रश्नों केर� किके वाहें के]ने हें� त& उत्तर मु# उसा� केहेंने चा किहेंए किके वाहें मु�सा�मु ने हें�, हेंनेs4 अर्थावा शु sई नेहेंG। पोकिवात्री क़ुy रआने मु# अल्� हें तआ� के sरमु ने हें�=

‘‘और उसा व्यलिक्त सा� अच्छे) बी त और किकेसाके4 हें&गै� जिजासाने� अल्� हें के4 तरs बी�� य और ने�के अमु� (सा��केमु0) किकेय और केहें किके मु< मु�सा�मु ने हूँD।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 41:33)

ज्ञा तव्य हें� किके यहें D पोकिवात्री क़ुy रआने केहें रहें हें� किके ‘‘केहें&, मु< उनेमु# सा� हूँD जा& इ�� मु मु# झु�केत� हें<,’’ र्दूसार� शुब्� मु# ‘‘केहें&, मु< एके मु�सा�मु ने हूँD।’’ हुजा�र साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु जाबी ग़ै�र मु�स्लि��मु बी �शु हें के& इ�� मु के किनेमु,त्रीर्ण ��ने� के� लि�ए पोत्री लि�:वा त� र्था� त& उने पोत्री मु# सा�रहें आ� इमुर ने के4 64 वाG आयत भी� लि�:वा त� र्था�=

‘‘हें� नेबी�! केहें&, हें� किकेत बी वा �&, आओ एके ऐसा� बी त के4 ओर जा& हेंमु र� और त�म्‍हें र� बी�चा सामु ने हें�। यहें किके हेंमु अल्� हें के� लिसावा ए किकेसा� के4 बीन्�गै� ने केर#, उसाके� सा र्था किकेसा� के& शुर�के ने ठहेंर ए,, और हेंमुमु# सा� के&ई अल्� हें के� लिसावा ए किकेसा� के& अपोने रबी (उपो �य) ने बीने ��। इसा � वात के& �वा�के र केरने� सा� यदि� वा� मु�Dहें मु&ड़# त& सा s केहें �&, किके गैवा हें रहें&, हेंमु त& मु�स्लि��मु (के� वा� अल्� हें के4 बीन्�गै� केरने� वा ��) हें<।’’

इ�� मु के� साभी� मुहें ने उ��मु के साम्‍मु ने के4जिजाए

हेंमु# इ�� मु के� सामु�त उ��मु के , चा र इमु मु साकिहेंत अकिनेवा य0 रूपो सा� साम्‍मु ने केरने चा किहेंए। इमु मु अबी� हेंने�s (रहेंमुत�ल्� किहें अ��किहें), इमु मु शुsई (रहें²), इमु मु हेंम्‍बी� (रहें²) और ईमु मु मु लि�के (रहें²), य� साभी� हेंमु र� लि�ए सामु ने रूपो सा� आ�र के� पो त्री हें<। य� साभी� मुहें ने उ��मु और किवाद्वा ने र्था� और अल्� हें तआ� उन्हें#7उनेके4 �)ने� सा�वा ओं के मुहें ने प्रकितफ� प्र� ने केर� (आमु�ने) इसा बी त पोर के&ई आपोत्तित्त नेहेंG किके अगैर के&ई व्यलिक्त इने इमु मु मु# सा� किकेसा� एके के4 किवाचा रधु र सा� साहेंमुत हें&। किकेन्त� जाबी पो�छा जा ए किके त�मु के]ने हें&? त&7जावा बी के� वा� ‘‘मु< मु�सा�मु ने हूँD’’ हें� हें&ने चा किहेंए।

के� छा �&गै किsरकेष# (सामु�� य) के� तके0 मु# हुजा�र (साल्�.) के4 एके हें�)सा पो�शु केरत� हें< जा& सा�नेने अबी� � ऊँ� मु#7(हें�)सा ने² 4879) बीय ने के4 गैई हें� जिजासामु# आपो (साल्�²) के यहें केर्थाने बीत य गैय हें� किके ‘‘मु�र� उम्‍मुत 73 किफरके� मु# बी,टः जा एगै�।’’

इसा हें�)सा सा� स्पेष्ट हें&त हें� किके रसा�� अल्� हें (साल्�²) ने� मु�सा�मु ने मु# 73 किफरके� बीनेने� के4 भी किवाष्यवा र्ण� sरमु ई र्था�। ��किकेने आपो (साल्�²) ने� यहें के� किपो नेहेंG sरमु य किके मु�सा�मु ने के& किफरके मु# बी,टः जा ने� मु# सा,�gने हें& जा ने चा किहेंए। पोकिवात्री क़ुy रआने हेंमु# यहें आ��शु ��त हें� किके हेंमु किफरके मु# किवाभी जिजात ने हें। वा� �&गै जा& पोकिवात्री क़ुy रआने और साच्च� हें�)सा के4 लिशुक्षा मु# किवाश्व सा र:त� हें और किफरके� और गै�टः ने बीने ए, वाहें� सा�धु� र �त� पोर हें<।

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कितर्मिमुZN� शुर�s के4 171 वाG हें�)सा के� अने�सा र हुजा�र साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु ने� sरमु य हें� किके ‘‘मु�र� उम्‍मुत 73 किsरकेष# मु# बी,टः जा एगै�, और वा� साबी जाहेंन्नमु के4 आगै मु# जा�#गै�, लिसावा ए एके किफरके� के�…।’’

साहें बी किकेर मु (रजिN.) ने� इसा पोर रसा�� अल्� हें (साल्�²) सा� प्रश्नों किकेय किके वाहें के]ने सा सामु�हें हें&गै (जा& जान्नत मु# जा एगै ) त& आपो (साल्�²) ने� जावा बी दि�य ‘‘के� वा� वाहें जा& मु�र� और मु�र� साहें बी के अने�केरर्ण केर�गै ।’’

पोकिवात्री क़ुy रआने के4 अने�के आयत मु# अल्� हें और अल्� हें के� रसा�� के� आज्ञा पो �ने के आ��शु दि�य गैय हें�। अत= एके साच्च� मु�सा�मु ने के& पोकिवात्री क़ुy रआने और हें�)सा शुर�s के हें� अने�केरर्ण केरने चा किहेंए। वाहें किकेसा� भी� आलि�मु (धु र्मिमुZके किवाद्वा ने) के� दृधिष्टके&र्ण सा� साहेंमुत भी� हें& साकेत हें� जाबी किके उसाके दृधिष्टके&र्ण पोकिवात्री क़ुy रआने और हें�)सा शुर�s के� अने�सा र हें&। यदि� उसा आलि�मु के� किवाचा र पोकिवात्री क़ुy रआने और हें�)सा के� 7किवापोर�त हें त& उनेके के&ई अर्था0 और मुहेंCवा नेहेंG, चा हें� उने किवाचा र के प्र�त�तकेत 0 किकेतने हें� बीड़ किवाद्वा ने क्य ने हें&।

यदि� तमु मु मु�सा�मु ने पोकिवात्री क़ुy रआने के अध्ययने पो�र� तरहें सामुझुकेर हें� केर �# और मु��तने� (प्र मु त्तिर्णके) हें�)सा के अने�केरर्ण केर# त& अल्� हें ने� चा हें त& साभी� पोरस्पेर किवार&धु भी सा सामु प्त हें& जा ए,गै� और एके बी र7किफर मु�स्लि��मु सामु जा एके सा,य�क्त सा,गैदिठत उम्‍मुत बीने जा एगै ।

18.साभी� धुमु0 मुने�ष्य के& साच्च ई के4 लिशुक्षा ��त� हें< त& किफर इ�� मु हें� के अने�केरर्ण क्य किकेय जा ए?

प्रश्नों= साभी� धुमु0 अपोने� अने�य धियय के& अच्छे� के मु के4 लिशुक्षा ��त� हें< त& किफर किकेसा� व्यलिक्त के& इ�� मु के हें� अने�केरर्ण क्य केरने चा किहेंए? क्य वाहें किकेसा� अन्य धुमु0 के अने�केरर्ण नेहेंG केर साकेत ?

उत्तर= इ�� मु और अन्य धुमुq मु# किवाशु�ष अ,तर

यहें ठ�के हें� किके साभी� धुमु0 मु नेवात के& साच्च ई और सा��केमु0 के4 लिशुक्षा ��त� हें# और बी�र ई सा� र&केत� हें< किकेन्त� इ�� मु इसासा� भी� आगै� तके जा त हें�। यहें ने�के4 और साCय के4 प्र प्तिप्त और व्यलिक्तगैत एवा, सा मु�किहेंके जा�वाने सा� बी�र ईय के& र्दूर केरने� के4 दि�शु मु# वा �तकिवाके मु गै0�शु0के भी� हें�। इ�� मु ने के� वा� मु नेवा प्रकेM कित के& मुहेंCवा ��त हें� वारने� मु नेवा जागैत के4 पो�चा��किगैय के4 ओर भी� साजागै रहेंत हें�। इ�� मु एके ऐसा किने�Hशु हें� जा& अल्� हें तआ� के4 ओर सा� आय हें�, यहें� के रर्ण हें� किके इ�� मु के& ‘‘�)ने-ए-किsतरत’’ अर्था 0त ‘प्र केM कितके धुमु0’ भी� केहें जा त हें�।

उ� हेंरर्ण

इ�� मु के� वा� चा&र�-चाके र�, डा के Nने� के& र&केने� के हें� आ��शु नेहेंG ��त बीग्लिल्के इसा� सामु�� सामु प्त केरने� के� व्य वाहें रिरके तर�के� भी� स्पेष्ट केरत हें�।

(के) इ�� मु चा&र�, डा के इCय दि� अपोर धु सामु प्त केरने� के� व्य वाहें रिरके तर�के� सापोष्ट केरत हें�

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साभी� प्रमु�: धुमुq मु# चा&र� चाके र� और ��टः आदि� के& बी�र बीत य जा त हें�। इ�� मु भी� यहें� लिशुक्षा ��त हें� त& किफर अन्य धुमुq और इ�� मु के4 लिशुक्षा मु# क्य अ,तर हुआ? अ,तर इसा तथ्य मु# किनेकिहेंत हें� किके इ�� मु चा&र�, डा के� आदि� अपोर धु के4 के� वा� किनेन्� केरने� पोर हें� सा�धिमुत नेहेंG हें�, वाहें एके ऐसा मु गै0 भी� प्रशु�त केरत हें� जिजासा पोर चा�केर ऐसा सामु जा किवाकेलिसात किकेय जा ए, जिजासा मु# �&गै ऐसा� अपोर धु केर# हें� नेहेंG।

(:) इ�� मु मु# Nके त के प्र वाधु ने हें�

इ�� मु ने� Nके त ��ने� के4 एके किवा�तMत व्यवास्था स्था किपोत के4 हें�। इ�� मु� के ने�ने के� अने�सा र प्रCय�के वाहें व्यलिक्त जिजासाके� पो सा बीचात के4 मु लि�यत (किनेसा बी) अर्था 0त� 85 ग्रं मु सा&ने अर्थावा इतने� मु�ल्य के4 साम्पत्तित्त के� बीर बीर अर्थावा अधिधुके हें&, वाहें सा किहेंबी-ए-किनेसा बी हें�, उसा� प्रकितवाष0 अपोने� बीचात के ढं ई प्रकितशुत भी गै ग़ैर�बी के& ��ने चा किहेंए। यदि� सा,सा र के प्रCय�के साम्पन्न व्यलिक्त ईमु ने� र� सा� Nके त अ� केरने� �गै� त& सा,सा र सा� �रिरद्रत सामु प्त हें& जा एगै� और के&ई भी� मुने�ष्य भी�: नेहेंG मुर�गै ।

(गै) चा&र, डाके� त के& हें र्था के टःने� के4 साN

इ�� मु के स्पेष्ट के ने�ने हें� किके यदि� किकेसा� पोर चा&र� य डा के� के अपोर धु लिसाद्ध हें& त& उसाके� हें र्था के टः दि�य जा ए,गै�। पोकिवात्री क़ुy रआने मु# आ��शु हें�=

‘‘और चा र�, चा हें� �त्री� हें& अर्थावा पो�रुष, �&ने के� हें र्था के टः �&, यहें उनेके4 केमु ई के बी�� हें�, और अल्� हें के4 तरs सा� लिशुक्षा प्र� साN , अल्� हें के4 क़ुy �रत साबी पोर किवाजाय� हें� और वाहें ज्ञा नेवा ने एवा, दृष्ट हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , सा�रहें अ�-मु य� , आयत 38)

ग़ै�र मु�स्लि��मु केहेंत� हें< ‘‘इक्के4सावाG शुत ब्�) मु# हें र्था के टःने� के �ण्डा? इ�� मु त& किने�0यत और क्र� रत के धुमु0 हें�।

(घा) पोरिरर्ण मु तभी� धिमु�त� हें< जाबी इ�� मु� शुर�अत � गै� के4 जा ए

अमुर�के के& किवाश्व के साबीसा� उन्नत ��शु केहें जा त हें�, दुभी 0gय सा� यहें� ��शु हें� जाहें D चा&र� और डाके� त� जा�सा� अपोर धु के अने�पो त किवाश्व मु# साबीसा� अधिधुके हें�। अबी Nर र्था&ड़� ��र के& मु ने �# किके अमुर�के मु# इ�� मु� शुर�अत के ने�ने � गै� हें& जा त हें� अर्था 0त प्रCय�के धुने ढ्य व्यलिक्त जा& सा किहेंबी-ए-किनेसा बी हें& पो बीन्�) सा� अपोने� धुने के4 Nके त अ� केर� (चा D� के� वाष0 के� किहेंसा बी सा�) और चा&र�-डाके� त� के अपोर धु लिसाद्ध हें& जा ने� के� पोश्चा त7अपोर धु� के� हें र्था के टः दि�य� जा ए,, ऐसा� अवास्था मु# क्य अमुर�के मु# अपोर धु के4 �र बीJ�गै� य उसामु# केमु� आएगै� य के&ई sके0 नेहेंG पोड़�गै ? �वा भी किवाके सा� बी त हें� किके अपोर धु �र मु# केमु� आएगै�। यहें भी� हें&गै किके ऐसा� केड़� के ने�ने के� हें&ने� सा� वा� �&गै भी� अपोर धु केरने� सा� डार#गै� जा& अपोर धु� प्रवाMकित के� हें।

मु< यहें सावा�के र केरत हूँD किके आजा किवाश्व मु# चा&र�-डाके� त� के4 घाटःने ए, इतने� अधिधुके हें&त� हें< किके यदि� तमु मु चा र के� हें र्था के टः दि�य� जा ए, त& ऐसा� � : �&गै हेंगै� जिजानेके� हें र्था केटः#गै�। पोरन्त� ध्य ने ��ने� य&gय यहें तथ्य हें� किके जिजासा सामुय आपो यहें के ने�ने � गै� केर#गै�, उसाके� सा र्था हें� चा&र� और डाके� टः) के4 �र मु# केमु� आ जा एगै�। ऐसा� अपोर धु केरने� वा � यहें केM Cय केरने� सा� पोहें�� केई बी र सा&चा�गै क्यकिके उसा� अपोने� हें र्था गैDवा ��ने� के भीय भी� हें&गै । के� वा� साN के4 केल्पोने मु त्री सा� चा&र डा के� हेंत&Cसा किहेंत हेंगै� और बीहुत केमु अपोर धु� अपोर धु के 7सा हेंसा जा�टः पो ए,गै�। अत= के� वा� के� छा �&गै के� हें र्था के टः� जा ने� सा� � : केर&ड़& �&गै चा&र�-डाके� त� सा�

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भीयमु�क्त हें&केर शु ,कित के जा�वाने जा� साके# गै�। इसा प्रके र लिसाद्ध हुआ किके इ�� मु� शुर�अत व्य वाहें रिरके हें� और उसासा� साके र Cमुके पोरिरर्ण मु प्र प्त हें& साकेत� हें<।

उ� हेंरर्ण:

इ�� मु मु# मुकिहें� ओं के अपोमु ने और बी� Cके र हेंर मु हें�। इ�� मु मु# त्नि�त्रीय के� लि�य� किहेंजा बी (पो�H) के आ��शु हें� और व्यत्तिभीचा र (अवा�धु शु र�रिरके साम्‍बीन्ध) के अपोर धु लिसाद्ध हें& जा ने� पोर व्य त्तिभीचा र� के� लि�ए मुMCय��ण्डा के प्र वाधु ने हें�

(के) इ�� मु मु# मुकिहें� ओं के� सा र्था N&र Nबीर��त� और बी� Cके र के& र&केने� के व्य वाहें रिरके तर�के स्पेष्ट किकेय गैय हें�

साभी� प्रमु�: धुमुq मु# �त्री� के� सा र्था बी� Cके र और N&र-Nबीर��त� के& अCय,त धिघाने]ने अपोर धु मु ने गैय हें�। इ�� मु मु# भी� ऐसा हें� हें�। त& किफर इ�� मु और अन्य धुमुq के4 लिशुक्षा मु# क्य अ,तर हें�?

यहें अ,तर इसा यर्था 0र्था मु# किनेकिहेंत हें� किके इ�� मु के� वा� ने र� के� साम्‍मु ने के4 प्रर�र्ण भीर के& पोय 0प्त नेहेंG सामुझुत , इ�� मु N&र Nबीर��त� और बी� Cके र के& अCय,त घाMत्तिर्णत अपोर धु केष्रा र ��केर हें� सा,त�ष्ट नेहेंG हें& जा त बीग्लिल्के वाहें इसाके� सा र्था हें� प्रCयक्षा मु गै0�शु0ने भी� उपो�ब्ध केर त हें� किके सामु जा सा� इने अपोर धु के& के� सा�7धिमुटः य जा ए।

(:) पो�रुष के� लि�ए किहेंजा बी

इ�� मु मु# किहेंजा बी के4 व्यवास्था हें�। पोकिवात्री क़ुy रआने मु# पोहें�� पो�रुष के� लि�ए किहेंजा बी के4 चाचा 0 के4 गैई हें� उसाके� बी � त्नि�त्रीय के� किहेंजा बी पोर बी त के4 गैई हें�। पो�रुष के� लि�ए किहेंजा बी के किनेम्‍नेलि�खि:त आयत मु# आ��शु दि�य गैय हें�=

‘‘हें� नेबी�! (साल्�²) मु&धिमुने पो�रुष सा� केहें& किके अपोने� नेNर# बीचा केर र:# और अपोने� शुमु0गै हें (गै�प्त ,गै) के4 किहेंs Nत केर#। यहें उनेके� लि�ए पो के4N तर�केष हें�। जा& के� छा वा� केरत� हें< अल्� हें उसा सा� बी hबीर रहेंत हें�। (पोकिवात्री क़ुy रआने , 24:30)

जिजासा क्षार्ण किकेसा� पो�रुष के4 दृधिष्ट (ने मुहेंरमु) �त्री� पोर पोड़� और के&ई किवाके र य बी�र किवाचा र मुने मु# उCपोन्न हें& त&7उसा� त�रन्त नेNर ने�चा� केर ��ने� चा किहेंए।

(गै) त्नि�त्रीय के� लि�ए किहेंजा बी

त्नि�त्रीय के� लि�ए किहेंजा बी के4 चाचा 0 किनेम्‍नेलि�खि:त आयत मु# के4 गैई हें�।

‘‘हें� नेबी�! (साल्�²) मु&धिमुने औरत सा� केहें �& किके अपोने� नेNर# ने�चा� र:# और अपोने� शुमु0गै हें के4 किहेंs Nत केर#, अपोने बीने वा लिंसाZघा र ने दि�: ए,, के� वा� उसाके� जा& N किहेंर हें& जा ए और अपोने� सा�ने पोर अपोने� ओJकिनेय के आDचा� डा �� रहें#।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने , 24:31)

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त्नि�त्रीय के� लि�ए किहेंजा बी के4 व्य ख्य यहें हें� किके उनेके शुर�र पो�र� तरहें ढंके हें&ने चा किहेंए। के� वा� चा�हेंर और के� ईय तके। हें र्था वाहें भी गै हें< जा& N किहेंर किकेए जा साकेत� हें< किफर भी� यदि� के&ई मुकिहें� उन्हें# भी� लिछापो ने चा हें� त& वाहें शुर�र के� इने भी गै के& भी� लिछापो साकेत� हें� पोरन्त के� छा उ��मु -ए-�)ने के आग्रंहें हें� किके चा�हेंर भी� ढंके हें&ने चा किहेंए।

(घा) छा�ड़छा ड़ सा� सा�रक्षा , किहेंजा बी

अल्� हें तआ� ने� किहेंजा बी के आ��शु क्य दि�य हें�? इसाके उत्तर पोकिवात्री क़ुy रआने ने� सा�रहें अहेंN बी के4 इसा आयत मु# उपो�ब्ध केर य हें�=

‘‘हें� नेबी�! (साल्�²) अपोने� पोत्निCनेय और पो�कित्रीय और ईमु ने वा � के4 त्नि�त्रीय सा� केहें �& किके अपोने� ऊँपोर अपोने� चा �र के� पोल्�� �टःके लि�य केर#। यहें उलिचात तर�केष हें� त किके वाहें पोहेंचा ने �� जा ए, और सात ई ने जा ए,। अल्� हें क्षामु केरने� वा � और �य वा ने हें�।’’ (पोकिवात्री क़ुy रआने, सा�रहें अहेंN बी, आयत 59)

पोकिवात्री क़ुy रआने केहेंत हें� किके त्नि�त्रीय के& किहेंजा बी केरने इसालि�ए Nरूर� हें� त किके वा� साम्‍मु नेपो�वा0के पोहेंचा ने� जा साके# और यहें किके किहेंजा बी उन्हें# छा�ड़-छा ड़ सा� भी� बीचा त हें�।

(ङः) जा�ड़वा D बीहेंने के उ� हेंरर्ण

जा�सा किके हेंमु पो�छा� भी� बीय ने केर चा�के� हें<, मु ने ��जिजाए किके �& जा�ड़वा D बीहेंने# हें< जा& सामु ने रूपो सा� सा�न्�र भी� हें<। एके दि�ने वा� �&ने एके सा र्था घार सा� किनेके�त� हें<। एके बीहेंने ने� इ�� मु� किहेंजा बी केर रक्: हें� अर्था 0त उसाके पो�र शुर�र ढं,के हुआ हें�। इसाके� किवापोर�त र्दूसार� बीहेंने ने� पोत्तिश्चामु� ढं,गै के धिमुने� �केटः0 पोहेंने हुआ हें� अर्था 0त उसाके� शुर�र के पोय 0प्त भी गै स्पेष्ट दि�: ई �� रहें हें�। गै�� के� ने�क्केड़ पोर एके �s, गै बी�ठ हें� जा& इसा प्रत�क्षा मु# हें� किके के&ई �ड़के4 वाहें D सा� गै�Nर� अ�र वाहें उसाके� सा र्था छा�ड़छा ड़ और शुर रत केर�। सावा � यहें हें� किके7जाबी वा� �&ने बीहेंने# वाहें D पोहुचा�गै� त& वाहें �s, गै किकेसाके& पोहें�� छा�ड़�गै । इ�� मु� किहेंजा बी वा �� के& अर्थावा धिमुने� �केटः0 वा �� के&? इसा प्रके र के� पोरिरधु ने जा& शुर�र के& लिछापो ने� के4 अपो�क्षा अधिधुके प्रकेटः केर# एके प्रके र7सा� छा�ड़-छा ड़ के किनेमु,त्रीर्ण ��त� हें<। पोकिवात्री क़ुy रआने ने� किबील्के� � साहें� sरमु य हें� किके किहेंजा बी �त्री� के& छा�ड़-छा ड़ सा� बीचा त हें�।

(चा) N ने� (के� केमु�) के� लि�ए मुMCय��ण्डा

यदि� किकेसा� (किवावा किहेंत) व्यलिक्त के� किवारुद्ध जिNने (अवा�धु शु र�रिरके साम्‍बीन्ध) के अपोर धु लिसाद्ध हें& जा ए त& इ�� मु� शुर�अत के� अने�सा र उसाके� लि�ए मुMCय��ण्डा हें�, आजा के� य�गै मु# इतने� केठ&र साN ��ने� पोर शु य� ग़ै�र मु�स्लि��मु बी�र� तरहें भीयभी�त हें& जा ए,। बीहुत सा� �&गै इ�� मु पोर किने�0यत और क्र� रत के आर&पो �गै त� हें<। मु<ने� सा<केड़& ग़ै�र मु�स्लि��मु पो�रुष सा� एके सा धु रर्ण सा प्रश्नों किकेय । मु<ने� पो�छा किके h�� ने केर�, के&ई आपोके4 पोCने� य मु D, बीहेंने के� सा र्था बी� Cके र केर� और आपो के& उसा अपोर धु� के& साN ��ने� के� लि�ए जाजा किनेय�क्त किकेय जा ए और अपोर धु� आपोके� सा मुने� � य जा ए त& आपो उसा� क्य साN �#गै�? उने साभी� ने� इसा प्रश्नों के� उत्तर मु# केहें किके ‘‘हेंमु उसा� मु]त के4 साN �#गै�।’’ के� छा �&गै त& इसासा� आगै� बीJकेर बी&��, ‘‘हेंमु उसाके& इतने� य तने ए, �#गै� किके वाहें मुर जा ए।’’

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इसाके मुत�बी यहें हुआ किके यदि� के&ई आपोके4 मु D, बीहेंने य पोत्निCने के� सा र्था बी� Cके र के अपोर धु� हें& त& आपो उसा के� केमु� के& मु र डा �ने चा हेंत� हें<। पोरन्त� यदि� किकेसा� र्दूसार� के4 पोCने�, मु D, बीहेंने के4 इज़्Nत ��टः) गैई7त& मु]त के4 साN क्र� र और अमु नेवा�य हें& गैई। यहें �&हेंर मु ने�ण्डा क्य हें�?

(छा) अमुर�के मु# बी� Cके र के4 �र साबी ��शु सा� अधिधुके हें�

अबी मु< एके बी र किफर किवाश्व के� साबीसा� अधिधुके आधु�किनेके ��शु अमुर�के के उ� हेंरर्ण ��ने चा हूँDगै । एs.बी�.आई के4 रिरपो&टः0 के� अने�सा र 1995 के� �]र ने अमुर�के मु# 10,255 (एके � : �& सा] पोचापोने) बी� Cके र के� मु मु�� �जा0 हुए। रिरपो&टः0 मु# यहें भी� केहें गैय हें� किके बी� Cके र के4 सामु�त घाटःने ओं मु# सा� के� वा� 16 प्रकितशुत के4 हें� रिरपो&टः�0सा �जा0 केर ई गैईं। अत= 1995 मु# अमुर�के मु# बी� Cके र के4 घाटःने ओं के4 साहें� सा,ख्य जा नेने� के� लि�ए �जा0 मु मु� के4 सा,ख्य के& 6.25 सा� गै�र्ण केरने हें&गै । इसा प्रके र पोत चा�त हें� किके बी� Cके र के4 वा �तकिवाके सा,ख्य 640,968 (छा= � :, चा ��सा हेंN र, ने] सा] अड़साठ) हें�।

एके अन्य रिरपो&टः0 मु# बीत य गैय किके अमुर�के मु# प्रकितदि�ने बी� Cके र के4 1900 घाटःने ए, हें&त� हें<। अमुर�के4 प्रकितरक्षा किवाभी गै के� एके उपो सा,स्था ने ‘‘ने�शुने� क्र इ�रमु एण्डा के�टःमु ईN�शुने सावाH, ब्य�र& आs जाप्ति�टःसा’’ द्वा र जा र� किकेए गैए आDकेड़ के� अने�सा र के� वा� 1996 के� �]र ने अमुर�के मु# �जा0 किकेय� गैए बी� Cके र के� मु मु� के4 त � � त�ने � :, सा त हेंN र र्था� जाबीकिके यहें सा,ख्य वा �तकिवाके घाटःने ओं के4 के� वा� 31 प्रकितशुत7र्था�। अर्था 0त साहें� सा,ख्य जा नेने� के� लि�ए हेंमु# इसा त � � के& 3226 सा� गै�र्ण केरने हें&गै । गै�र्ण ने फ� सा� पोत चा�त हें� किके 1996 मु# अमुर�के मु# बी� Cके र के4 वा �तकिवाके सा,ख्य 990,332 (ने] � :, नेब्बी� हेंN र, त�ने सा] बीत्त�सा) र्था�। अर्था 0त� उसा वाष0 अमुर�के मु# प्रकितदि�ने 2713 बी� Cके र के4 वा र� त# हुईं अर्था 0त� प्रकित 32 सा�के� ण्डा एके बी� Cके र के4 घाटःने घाटः)। के� लिचात� अमुर�के के� बी� Cके र� के s4 सा हेंसा� हें& गैए हें<। एफ.बी�.आई के4 1990 वा �� रिरपो&टः0 मु# त& य� भी� बीत य गैय र्था किके के� वा� 10 प्रकितशुत बी� Cके र� हें� किगैरफ़्त र हुए। य ने� वा �तकिवाके वा र� त के� के� वा� 16 प्रकितशुत अपोर धु� हें� के ने�ने के� लिशुके, जा� मु# फ, सा�। जिजानेमु# सा� 50 प्रकितशुत के& मु�के�मु चा� ए किबीने हें� छा&ड़ दि�य गैय । इसाके मुत�बी यहें हुआ किके के� वा� 8 प्रकितशुत बी� Cके रिरय पोर मु�केष्�मु� चा��। र्दूसार� शुब्� मु# यहें� बी त इसा प्रके र भी� केहें साकेत� हें< किके यदि� अमुर�के मु# के&ई व्यलिक्त 125 बी र बी� Cके र के अपोर धु केर� त& सा,भी वाने यहें� हें� किके उसा� के� वा� एके बी र हें� उसाके& साN धिमु� पो एगै�। बीहुत-सा� अपोर धु� इसा� एके अच्छे ‘‘जा�आ’’ सामुझुत� हें<।

यहें� रिरपो&टः0 बीत त� हें� किके मु�क़ु�मु� के सा मुने केरने� वा � मु# 50 प्रकितशुत अपोर धिधुय के& एके वाष0 सा� केमु के र वा सा के4 साN सा�ने ई गैई। यद्यकिपो अमुर�के4 के ने�ने मु# बी� Cके र के� अपोर धु मु# 7 वाष0 साश्रेमु के र वा सा के प्र वाधु ने हें�। यहें ��: गैय हें� किके अमुर�के4 जाजा सा हेंबी ने पोहें�� बी र बी� Cके र के� आर&पो मु# किगैरफ़्त र �&गै के� प्रकित साहें ने�भी�कित के4 भी वाने र:त� हें<। अत= उन्हें# केमु साN सा�ने त� हें<। Nर सा&लिचाए! एके अपोर धु� 125 बी र बी� Cके र के अपोर धु केरत हें� और पोकेड़ भी� जा त हें� तबी भी� उसा� 50 प्रकितशुत सा,त&ष हें&त हें� किके उसा� एके वाष0 सा� केमु के4 साN धिमु��गै�।

(जा) इ�� मु� शुर�अत के ने�ने � गै� केर दि�य जा ए त& पोरिरर्ण मु प्र प्त हें&त� हें<

अबी मु ने ��जिजाए किके अमुर�के मु# इ�� मु� शुर�अत के ने�ने � गै� केर दि�य जा त हें�। जाबी भी� के&ई पो�रुष किकेसा� ने मुहेंरमु मुकिहें� पोर किनेगै हें डा �त हें� और उसाके� मुने मु# के&ई बी�र किवाचा र उCपोन्न हें&त हें� त& वाहें त�रन्त7अपोने� नेNर ने�चा� केर ��त हें�। प्रत���यके �त्री� इ�� मु� के ने�ने के� अने�सा र किहेंजा बी केरत� हें� अर्था 0त अपोने

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सा र शुर�र ढं Dपोकेर र:त� हें�। इसाके� बी � यदि� के&ई बी� Cके र के अपोर धु केरत हें� त& उसा� मुMCय� �ण्डा दि�य जा ए।

प्रश्नों यहें हें� किके यहें के ने�ने अमुर�के मु# � गै� हें& जा ने� पोर बी� Cके र के4 घाटःने ओं मु# वाMजिद्ध हें&गै� अर्थावा केमु� आएगै� य स्लिस्थाकित जासा के4 तसा रहें�गै�?

�वा भी किवाके रूपो सा� इसा प्रश्नों के उत्तर हें&गै किके इसा प्रके र के के ने�ने � गै� हें&ने� सा� बी� Cके र घाटः#गै�। इसा प्रके र इ�� मु� शुर�अत के� � गै� हें&ने� पोर त�रन्त पोरिरर्ण मु प्र प्त हेंगै�।

मु नेवा सामु जा के4 सामु�त सामु�य ओं के व्य वाहें रिरके सामु धु ने इ�� मु मु# मु]जा�� हें�

जा�वाने किबीत ने� के श्रे�ष्ठ उपो य यहें� हें� किके इ�� मु� लिशुक्षा के अने�पो �ने किकेय जा ए क्यकिके इ�� मु के� वा� ईश्वर�य उपो��शु के सा,ग्रंहें मु त्री नेहेंG हें� वारने� यहें मु नेवा सामु जा के4 सामु�त सामु�य ओं के साके र Cमुके सामु धु ने प्र�त�त केरत हें�। इ�� मु व्यलिक्तगैत तर्था सा मु�किहेंके �&ने �तर पोर साके र Cमुके ओर व्य वाहें रिरके मु गै0�शु0ने केरत हें�। इ�� मु किवाश्व के4 श्रे�ष्ठतमु जा�वाने पोद्धकित हें� क्यकिके यहें एके �वा भी किवाके किवाश्वधुमु0 हें� जा& किकेसा� किवाशु�ष जा कित, र,गै अर्थावा क्षा�त्री के� �&गै तके सा�धिमुत नेहेंG हें�।

19. इ�� मु के4 लिशुक्षा और मु�सा�मु ने के� वा �तकिवाके आचारर्ण मु# अCयधिधुके अ,तर हें�

प्रश्नों= यदि� इ�� मु किवाश्व के श्रे�ष्ठ धुमु0 हें� त& किफर क्य के रर्ण हें� किके बीहुत सा� मु�सा�मु ने बी�ईमु ने और किवाश्व साघा त� हें&त� हें<। धु&:�बी N�, घा�साh&र� और नेशु��� पो� र्थाq के� व्य पो र जा�सा� घाMत्तिर्णत के मु मु# लि�प्त हें&त� हें<।

उत्तर= सा,चा र मु ध्यमु ने� इ�� मु के चा�हेंर किबीगै ड़ दि�य हें�

(के) किनेसान्��हें, इ�� मु हें� श्रे�ष्ठतमु धुमु0 हें� किकेन्त� किवाश्व सा,चा र मु ध्यमु (Media) पोत्तिश्चामु के� हें र्था मु# हें� जा& इ�� मु सा� भीयभी�त हें�। यहें मु�किडाय हें� हें� जा& इ�� मु के� किवारुद्ध दुर ग्रंहें पो�र्ण0 प्रचा र-प्रसा र मु# व्य�त रहेंत हें�। यहें सा,चा र मु ध्यमु इ�� मु के� किवाषय मु# ग़ै�त जा नेके र� फ� � त� हें<। ग़ै�त ढं,गै सा� इ�� मु के सा,�भी0 ��त� हें<। अर्थावा इ�� मु� दृधिष्टके&र्ण के& उसाके� वा �तकिवाके अर्था0 सा� अ�गै केरके� प्र�त�त केरत� हें<।

(:) जाहें D केहेंG के&ई बीमु किवास्फो&टः हें&त हें� और जिजाने �&गै के& सावा0प्रर्थामु आर&किपोत किकेय जा त हें� वा� मु�सा�मु ने हें� हें&त� हें<। यहें� बी त अhबी र� सा�र्ख़िhZय मु# आ जा त� हें� पोरन्त� यदि� बी � मु# उसा घाटःने के अपोर धु�7के&ई ग़ै�र मु�स्लि��मु लिसाद्ध हें& जा ए त& उसा बी त के& मुहेंCवाहें�ने hबीर मु नेकेर टः � दि�य जा त हें�।

(गै) यदि� के&ई 50 वाष�य मु�सा�मु ने पो�रुष एके 15 वाष�य य�वात� सा� उसाके4 साहेंमुकित सा� किवावा हें केर �� त& यहें hबीर अhबी र के� पोहें�� पोMष्ठ के सामु चा र बीने जा त� हें�। पोरन्त� यदि� के&ई 50 वार्तिषZय ग़ै�र मु�स्लि��मु पो�रुष छा= वाष�य बी लि�के सा� बी�Cके र केरत पोकेड़ जा ए त& उसा hबीर के& अhबी र के� अन्�रूने� पो�जा मु# सा,त्तिक्षाप्त hबीर मु# डा � दि�य जा त हें�। अमुर�के मु# प्रकितदि�ने बी� Cके र के4 �गैभीगै 2,713 घाटःने ए, हें&�त� हें< पोरन्त� यहें7बी त# hबीर मु# इसालि�ए नेहेंG आतG किके यहें साबी अमुर�के4 सामु जा के सा मु न्य चा�ने हें� बीने चा�के हें�।

प्रCय�के सामु जा मु# के �� भी�ड़# (Black Sheep's) हें&त� हें<

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मु< के� छा ऐसा� मु�सा�मु ने सा� पोरिरलिचात हूँD जा& बी�ईमु ने हें<, धु&:�बी N हें<, भीर&सा� के� य&gय नेहेंG हें<। पोरन्त� मु�किडाय इसा प्रके र मु�स्लि��मु सामु जा के लिचात्रीर्ण केरत हें� जा�सा� के� वा� मु�सा�मु ने हें� बी�र ईय मु# लि�प्त हें<। के �� भी�ड़# अर्था 0त� के� केमु� प्रCय�के सामु जा मु# हें&त� हें<। मु< ऐसा� �&गै के& भी� जा नेत हूँD जा& �वाय, के& मु�सा�मु ने केहेंत� हें< और :���आमु अर्थावा लिछापोकेर शुर बी भी� पो� ��त� हें<।

के� � धिमु� केर मु�सा�मु ने श्रे�ष्ठतमु हें< मु�स्लि��मु सामु जा मु# इने के �� भी�ड़ के� बी वाजा�� यदि� मु�सा�मु ने के के� � धिमु� केर आके�ने किकेय जा ए त& वाहें किवाश्व के साबीसा� अच्छे सामु जा लिसाद्ध हेंगै�। जा�सा� मु�सा�मु ने हें� किवाश्व के47साबीसा� बीड़� जामु अत हें� जा& शुर बी सा� पोरहें�N केरत� हें<। इसा� प्रके र मु�सा�मु ने हें� हें< जा& किवाश्व मु# सावा 0धिधुके � ने ��त� हें<। किवाश्व के के&ई सामु जा ऐसा नेहेंG जा& मु नेवा�य आ�शुq (साकिहेंष्र्ण�त , सा� चा र और ने�कितकेत ) के� सा,�भी0 मु# मु�स्लि��मु सामु जा सा� बीJकेर के&ई उ� हेंरर्ण प्र�त�त केर साके# ।

के र के s� सा� ड्रा ईवार सा� ने के4जिजाए मु ने ��जिजाए किके आपोने� एके नेए मु डा� के4 मुसा0डा�N के र के� गै�र्ण-�&ष जा नेने� के� लि�ए एके ऐसा� व्यलिक्त के& र्थामु ��त� हें< जा& गै ड़� ड्रा इवा केरने नेहेंG जा नेत । N किहेंर हें� किके व्यलिक्त7य त& गै ड़� चा� हें� नेहेंG साके� गै य एक्सा�डा#टः केर ��गै । प्रश्नों यहें उठत हें� किके क्य ड्रा ईवार के4 अय&gयत मु# उसा गै ड़� के के&ई �&ष हें�? क्य यहें ठ�के हें&गै किके ऐसा� दुघा0टःने के4 स्लिस्थाकित मु# हेंमु उसा अने ड़� ड्रा ईवार के& �&ष ��ने� के� बीजा ए यहें केहेंने� �गै# किके वाहें गै ड़� हें� ठ�के नेहेंG हें�? अत= किकेसा� के र के4 अच्छे ईय D जा नेने� के� लि�ए किकेसा� व्यलिक्त के& चा किहेंए किके उसाके� ड्रा ईवार के& ने ��:� बीग्लिल्के यहें जा यN �� किके �वाय, उसा के र के4 बीने वाटः और के रके�0गै� इCय �) के� सा� हें�। जा�सा� वाहें किकेतने� गैकित सा� चा� साकेत� हें�। औसातने किकेतने ईंधुने ��त� हें�। उसामु# सा�रक्षा के� प्रबीन्ध के� सा� हें<, इCय दि�।

यदि� मु< के� वा� तके0 के� रूपो मु# यहें मु ने भी� ��D किके सा र� मु�सा�मु ने बी�र� हें< तबी भी� इ�� मु के उसाके� अने�य धियय के� आधु र पोर s� सा� नेहेंG केर साकेत�। यदि� आपो वा �तवा मु# इ�� मु के किवाश्ले�षर्ण केरने चा हेंत� हें< और उसाके� बी र� मु# ईमु ने� र ने र य बीने ने चा हेंत� हें< त& आपो इ�� मु के� किवाषय मु# के� वा� पोकिवात्री क़ुy रआने और प्र मु त्तिर्णके हें�)सा के� आधु र पोर हें� के&ई र य स्था किपोत केर साकेत� हें<।

इ�� मु के किवाश्ले�षर्ण उसाके� श्रे�ष्ठतमु पो�र&के र अर्था 0त हेंNरत मु�हेंम्‍मु� साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु के� द्वा र के4जिजाए

यदि� आपो पो�र्ण0 रूपो सा� जा नेने चा हेंत� हें< किके के&ई के र किकेतने� अच्छे) हें� त& उसाके साहें� तर�केष यहें हें&गै किके वाहें के र किकेसा� के� शु� ड्रा ईवार के� हेंवा �� केर#। इसा� प्रके र इ�� मु के� श्रे�ष्ठतमु पो�र&के र और इ�� मु के4 अच्छे ईय के& जा Dचाने� के साबीसा� अच्छे) केसा]टः) के� वा� एके हें� हें�त� हें� जा& अल्� हें के� आखिhर� पो�ग़ैम्‍बीर हेंNरत मु�हेंम्‍मु� मु��तs साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु के� अकितरिरक्त के&ई और नेहेंG हें�। मु�सा�मु ने के� अकितरिरक्त ऐसा� ईमु ने� र और किनेष्पोक्षा इकितहें साके र भी� हें< जिजान्हेंने� हेंNरत मु�हेंम्‍मु� साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु के& श्रे�ष्ठतमु मुहें पो�रुष �वा�के र किकेय हें�। ‘‘इकितहें सा के� 100 मुहें पो�रुष’’ ने मुके पो��तके के� ��:के मु ईके� हें टः0 ने� अपोने� पो��तके मु# आपो (साल्�²) के& मु नेवा इकितहें सा के4 मुहें नेतमु किवाभी�कित मु नेत� हुए पोहें�� नेम्‍बीर पोर �जा0 किकेय हें�। (पो��तके अ,ग्रं�N� वार्ण0मु � के� अने�सा र हें� पोरन्त� ��:के ने� हुजा�ष्रा (साल्�²) के4 मुहें नेत �शु 0ने� के� लि�ए वार्ण0मु � के� क्रमु सा� अ�गै र:केर साबीसा� पोहें�� बीय ने किकेय हें�) ��:के ने� इसा किवाषय मु# लि�: हें� किके ‘‘हेंNरत मु�हेंम्‍मु� (साल्�²) के व्यलिक्तCवा इतने प्रभी वाशु �� और मुहें ने हें� किके उनेके स्था ने शु�ष साभी� किवाभी�कितय सा� बीहुत ऊँD चा हें� इसालि�ए मु< वार्ण0मु � के� क्रमु के& नेNरअ,� N केरके� उनेके4 चाचा 07पोहें�� केर रहें हूँD।’’

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इसा� प्रके र अने�के ग़ै�र मु�स्लि��मु इकितहें साके र ने� हेंNरत मु�हेंम्‍मु� मु��तs साल्�ल्� हु अ��किहें वासाल्�मु के4 प्रशु,सा के4 हें� इने मु# र्था मुसा के र� य� और � मुर्टिटःZने इCय दि� के� ने मु शु धिमु� हें<।

20. प्रश्नों= मु�सा�मु ने ग़ै�र मु�स्लि��मु के अपोमु ने केरत� हुए उन्हें# ‘‘के किsर’’ क्य केहेंत� हें<?

उत्तर= शुब्� ‘‘के किsर’’ वा �तवा मु# अरबी� शुब्� ‘‘के� फ्ऱी’’ सा� बीने हें�। इसाके अर्था0 हें� ‘‘लिछापो ने , नेके रने य रद्दा केरने ’’। इ�� मु� शुब्� वा�� मु# ‘‘के किsर’’ सा� आश्य ऐसा� व्यलिक्त सा� हें� जा& इ�� मु के4 साCयत के& लिछापो ए7(अर्था 0त �&गै के& ने बीत ए) य किफर इ�� मु के4 साच्च ई सा� इ,के र केर�। ऐसा के&ई व्यलिक्त जा& इ�� मु के& नेके रत हें& उसा� उर्दू0 मु# ग़ै�र मु�स्लि��मु और अ,ग्रं�N� मु# Non-Muslim केहेंत� हें<।

यदि� के&ई ग़ै�र-मु�स्लि��मु �वाय, के& ग़ै�र मु�स्लि��मु य के किsर केहें� ने पोसान्� नेहेंG केरत जा& वा �तवा मु# एके हें� बी त हें� त& उसाके� अपोमु ने के� आभी सा के के रर्ण इ�� मु के� किवाषय मु# ग़ै�तsहेंमु� य अज्ञा नेत हें�। उसा� इ�� मु� शुब्� वा�� के& सामुझुने� के� लि�ए साहें� सा धुने तके पोहुDचाने चा किहेंए। उसाके� पोश्चा त ने के� वा� अपोमु ने के आभी सा सामु प्त हें& जा एगै बीग्लिल्के वाहें इ�� मु के� दृधिष्टके&र्ण के& भी� साहें� त]र पोर सामुझु जा एगै ।

(इकित)